विज्ञापन
Story ProgressBack

पुरूषों की तुलना में महिलाएं क्यों कम करती हैं ब्लड डोनेट, जानिए इसका कारण

World Blood Donor Day: एक रिपोर्ट के मुताबिक उत्तर प्रदेश की राजधानी में रक्तदान करने वालों में महिलाओं की हिस्सेदारी महज दो फीसदी है. आइए जानते हैं कि इसकी वजह क्या है.

Read Time: 4 mins
पुरूषों की तुलना में महिलाएं क्यों कम करती हैं ब्लड डोनेट, जानिए इसका कारण
महिलाएं कम ब्लड डोनेट करती हैं.

14 जून को वर्ल्ड ब्लड डोनर (World Blood Donor Day) मनाया जाता है. दूसरों की जिंदगी बचाने के लिए रक्त दान करना जरूरी होता है. कई ऐसी परिस्थितियां पड़ जाती हैं जब ब्लड डोनेशन की जरूरत पड़ती है. क्या आपको पता है कि हर कोई ब्लड डोनेट नहीं कर सकता है. ब्लड डोनेट करने से पहले कई चीजों का खास ख्याल रखा जाता है. जैसे कि ब्लड देने वाला व्यक्ति हेल्दी और फिट है कि नहीं. उसे किसी तरह की कोई बीमारी या रिएक्शन तो नहीं है. वहीं एक रिपोर्ट के मुताबिक पुरुषों को तुलना में वुमेन ब्लड डोनर कम होती है. एक रिपोर्ट के मुताबिक उत्तर प्रदेश की राजधानी में रक्तदान करने वालों में महिलाओं की हिस्सेदारी महज दो फीसदी है. आइए जानते हैं कि इसकी वजह क्या है.

पुरूषों की तुलना में महिलाएं क्यों कम करती हैं ब्लड डोनेट 

Types of Blood Donations: कितने तरह का होता है ब्लड डोनेशन, किन हालातों में पड़ती है इनकी जरूरत, यहां जानें

ऐसा इस कारण है क्योंकि एनीमिया के कारण कई महिलाओं में हीमोग्लोबिन का लेवल कम होता है. आयरन की कमी और एनीमिया महिलाओं में एक आम स्वास्थ्य समस्या है. जो 10 में से 4 महिलाओं में पाई जा सकती है.

किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी (केजीएमयू) में रक्त और ट्रांसफ्यूजन मेडिसिन विभाग की प्रमुख प्रोफेसर तुलिका चंद्रा ने कहा, ''उनके विभाग में लगभग 300 यूनिट रक्तदान किया गया है. उनमें से केवल 5-6 यूनिट महिलाओं से आए हैं.''

इसी तरह आरएमएलआईएमएस में रोजाना 70-80 ब्लड डोन्शन में से बमुश्किल 1-2 रक्तदान महिलाओं का होता है. आईएमए ब्लड बैंक में भी स्थिति कुछ ऐसी ही है. उन्होंने कहा कि रक्तदान में महिलाओं की कम भागीदारी के पीछे कुछ प्रमुख कारण हैं, जिन्हें पहचानने की आवश्यकता है.

क्‍यों पुरुषों को नहीं चढ़ाना चाहिए महिलाओं का खून, Blood Transfusion के समय ध्‍यान रखने वाली बातें...

केजीएमयू में रक्तदान के लिए आने वाली लगभग 90 प्रतिशत महिलाओं में हीमोग्लोबिन की कमी होती है. महिलाओं में एनीमिया एक आम स्वास्थ्य समस्या है, जो 64 प्रतिशत तक पाई जाती है. इसके पीछे एक प्रमुख कारण यह भी है कि महिलाएं ज्यादा चलती-फिरती नहीं हैं. तीसरा कारण है कि उनके मन में रक्तदान को लेकर काफी आशंकाएं बनी रहती हैं.

उन्होंने बताया कि रक्तदान के लिए फिट पाई जाने वाली महिलाओं में प्लेयर या एनसीसी में शामिल महिलाएं ही शामिल हैं. उन्होंने आगे कहा, "ऐसा इसलिए है क्योंकि एक्सरसाइज और अच्छी डाइट के कारण उनका हीमोग्लोबिन बना रहता है."

आरएमएलआईएमएस ब्लड बैंक के प्रभारी डॉ. विजय शर्मा ने कहा, ''इस समस्या से निपटने के लिए पोषण में सुधार और एनीमिया की रोकथाम पर ध्यान दिया जाना चाहिए. भले ही शहर में लोगों को रक्तदान करने के लिए प्रोत्साहित करने का अभियान चलाए जा रहे हैं, लेकिन इसमें महिलाओं की भागीदारी काफी कम है.'' अधिकांश ब्लड बैंक ऐसी प्रणाली (एक्सचेंज डोनेशन) पर निर्भर हैं, जहां किसी व्यक्ति को एक यूनिट ब्लड तभी मिलता है, जब वह या उसका कोई परिचित पहले एक यूनिट ब्लड डोनेट करता है.

प्रोफेसर तुलिका चंद्रा ने कहा, ''हर साल जमा 78,000 यूनिट में से केवल 30 प्रतिशत ब्लड अच्छे डोनर्स से आता है और यह ज्यादातर ऑर्गेनाइज्ड ब्लड डोनेशन कैंप से होता है.''

केजीएमयू, एसजीपीजीआईएमएस, बलरामपुर, सिविल और लोक बंधु जैसे बड़े सरकारी अस्पताल भी इसी समस्या से जूझ रहे हैं. बलरामपुर अस्पताल में हर दिन 4,000 मरीज आते हैं, लेकिन वहां खुद से ब्लड डोनेट करने वालों की संख्या बहुत कम है, वहीं, आईएमए ब्लड बैंक और लोक बंधु अस्पताल में भी कुछ ऐसा ही हाल है.

(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
डार्क मोड/लाइट मोड पर जाएं
Our Offerings: NDTV
  • मध्य प्रदेश
  • राजस्थान
  • इंडिया
  • मराठी
  • 24X7
Choose Your Destination
Previous Article
World music day 2024: क्या आप भी हैं म्यूजिक प्रेमी? जानिए कैसे हुई इस खास दिन की शुरुआत, क्या है इतिहास 
पुरूषों की तुलना में महिलाएं क्यों कम करती हैं ब्लड डोनेट, जानिए इसका कारण
पिछले एक साल में 46 प्रतिशत ग्रामीण, 53 प्रतिशत शहरी लोगों ने आयुष चिकित्सा पद्धति से कराया अपना इलाज
Next Article
पिछले एक साल में 46 प्रतिशत ग्रामीण, 53 प्रतिशत शहरी लोगों ने आयुष चिकित्सा पद्धति से कराया अपना इलाज
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com
;