मेहमान दक्षिण अफ्रीकी टीम के भारत का 2-0 से सफाया करने में उसके ऑफ स्पिनर साइमन हार्मर तुरुप का पत्ता शामिल हुए. किसी ने भी नहीं सोचा था कि यह 36 साल का ऑफ स्पिनर भारतीय बल्लेबाजों के लिए जी का जंजाल बन जाएगा. हार्मर 2 टेस्ट मैचों में 17 विकेट चटकाकर सबसे सफल बॉलर रहे. उनके बाद सबसे ज्यादा 12 विकेट पेसर जानसेन के थे. वैसे हार्मर ने सबसे ज्यादा विकेट ही नहीं चटकाए, उन्होंने वो कारनामे कर डाले, जिसके बारे में जिसने भी सुना, वह हैरान रह गया. चलिए सीरीज में किए हॉर्मर के दो बड़े कारनामों के बारे में जान लीजिए.
यह औसत बहुत ही हाहाकारी है!
दक्षिण अफ्रीकी ऑफ स्पिनर ने खत्म हुई सीरीज में 15.03 का औसत निकाला. मतलब हर विकेट 15.03 रनों के अंतराल पर आया. और भारत की धरती पर कम से कम 20 विकेटों के पैमाने पैमाने पर हार्मर सभी 109 बॉलरों में इस मामले में सर्वश्रेष्ठ हैं. इससे आप समझ सकते हैं कि हार्मर ने भारतीय बल्लेबाजों को कितना रुलाया है. कुल मिलाकर हॉर्मर ने भारत में खेले 4 टेस्ट मैच में 15.03 के औसत से 27 विकेट चटकाए हैं.
यह औसत सुपर से ऊपर है!
वहीं, दो टेस्ट की सीरीज में हार्मर का इकॉनमी रन-रेट (प्रति रन ओवर दर) 8.94 की रही. टेस्ट इतिहास में पांच सौ से भी ज्यादा ऐसा हुआ है, जब विदेशी जमीं पर बॉलरों ने दूसरे विश्व युद्ध के बाद सीरीज में 15 विकेट चटकाए हैं. इसमें विंडीज के कर्टनी वॉल्श इकलौते ऐसे बॉलर रहे, जिन्होंने न्यूजीलैंड में 1994/95 में 8.25 प्रति ओवर की दर से 16 विकेट लिए. मतलब उन्होंने बेहतर औसत निकाला. कोई भी भारतीय या विदेशी गेंदबाज भारत की धरती पर इससे बेहतर औसत से हार्मर से ज्यादा विकेट नहीं ले सका है.
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