जंगल में अक्सर तमाम तरह के जीव देखने को मिलते रहते हैं. इनमें से कुछ काफी प्यारे, तो कुछ काफी खूंखार और खतरनाक होते हैं. दुनियाभर में ऐसे कई तरह के जीव मौजूद है, जिनके बारे में आज भी कई लोग अंजान है. हाल ही में एक ऐसे ही विचित्र जीव की तस्वीर सोशल मीडिया पर छाई हुई है. शरीर पर अनानास फल की तरह डिजाइन और कुछ हद तक नेवले जैसा लगने वाले इस विचित्र जीव को देखकर लोग धोखा खा रहे हैं, जिसकी एक तस्वीर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर शेयर कर आईएफएस परवीन कासवान लोगों से इसका नाम पूछ रहे हैं, जिस पर यूजर्स बढ़चढ़ कर रिएक्शन दे रहे हैं.
जंगल और जानवरों में रुचि रखने वाले लोगों ने झट से बता दिया कि यह तो पैंगोलिन है. खास बात यह है कि ये एक दुर्लभ किस्म का जीव है, जिसे टाइगर भी नहीं खा सकता, लेकिन इंसान इसका सबसे बड़ा दुश्मन है. बता दें कि पैंगोलिन को हिंदी में वज्रशल्क भी कहते हैं, जो हाल ही में मध्यप्रदेश के टीकमगढ़ मे मिला था. बताया जा रहा है कि, महंगा होने की वजह से बड़े पैमाने पर अंतरराष्ट्रीय बाजार में इसकी तस्करी की जाती है. इसे भारत में सल्लू सांप, चीटींखोर भी कहा जाता है.
यहां देंखें पोस्ट
Second most trafficked mammal on planet. Do you know what it is ? pic.twitter.com/5XwOm0qgKC
— Parveen Kaswan, IFS (@ParveenKaswan) January 15, 2023
क्या आप जानते हैं आगे की ओर निकले मुंह वाले इस काली आंखों वाले जीव का नाम? बताया जा रहा है कि, दुनिया में सबसे ज्यादा तस्करी वाले स्तनपायी जीवों में इसका दूसरा स्थान है. सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ट्विटर पर इसकी तस्वीर शेयर करते हुए आईएफएस अधिकारी परवीन कासवान (IFS Parveen Kaswan) ने लोगों से इसका नाम पूछा है. उनके इस पोस्ट पर यूजर्स बढ़चढ़ कर जवाब दे रहे हैं. इस पोस्ट को अब तक 3.3 मिलियन बार देखा जा चुका है, जबकि 19 हजार से ज्यादा लोग इस पोस्ट को लाइक कर चुके हैं. तस्वीर को शेयर करते हुए कैप्शन में लिखा गया है, 'ग्रह पर दूसरा सबसे अधिक तस्करी किया जाने वाला स्तनपायी. आपको पता है कि यह क्या है?'
एक यूजर ने लिखा कि, 'पैंगोलिन की इतनी ज्यादा तस्करी होती है कि चीन में पुरुषों और महिलाओं की समस्याओं के लिए दवा बनाने में इसका इस्तेमाल होता है. बताते हैं कि प्रसव के बाद चीनी महिलाओं को इसका मांस खिलाया जाता है.' एक अन्य यूजर ने लिखा, 'इस बात का कोई वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है कि इससे सच में कोई फायदा होता है.' इंटरनेशनल यूनियन फॉर कंजर्वेशन ऑफ नेचर (IUCN) की माने तो दुनियाभर में वन्य जीवों की अवैध तस्करी के मामले में अकेले ही 20 फीसदी योगदान पैंगोलिन का है.
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