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कौन हैं अबुल सरकार? जिनके लिए फिर बांग्लादेश की सड़कों पर उतरे छात्र

बांग्लादेशी मीडिया के अखबार प्रोथोम आलो ने चश्मदीदों के हवाले से बताया कि डेमोक्रेटिक स्टूडेंट अलायंस के नेताओं और दूसरे सदस्यों पर तब हमला हुआ जब वे बैनर लेकर सड़कों पर उतरे. इस दौरान उनसे बैनर छीनकर आग लगा दी गई.

कौन हैं अबुल सरकार? जिनके लिए फिर बांग्लादेश की सड़कों पर उतरे छात्र
  • बांग्लादेश में छात्र अबुल सरकार की रिहाई की मांग को लेकर सड़कों पर प्रदर्शन कर रहे हैं
  • खुलना शहर में छात्र प्रदर्शनकारियों पर हमले की घटना हुई जिसमें बैनर छीनकर आग भी लगा दी गई थी
  • डेमोक्रेटिक स्टूडेंट्स अलायंस ने बाउल कलाकारों पर हमलों और धार्मिक स्थलों में तोड़फोड़ के खिलाफ विरोध जताया है
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ढाका:

बांग्लादेश में एक बार फिर छात्र सड़कों पर हैं. हर बीतते दिन के साथ स्थिति एक बार फिर तनावपूर्ण बने हुए हैं. बांग्लादेश के कई इलाकों से अब छिटपुट हिंसा की भी खबर आ रही है. कहा जा रहा है कि छात्र बाउल कलाकार अबुल सरकार के लिए सड़कों पर हैं. ये छात्र डेमोक्रेटिक स्टूडेंट्स अलायंस के बैनर तले विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं.  प्रदर्शन कर रहे छात्रों की मांग है कि बांग्लादेश की मौजूदा सरकार अबुल सरकार को जिल से रिहा करे. अबुल सरकार की रिहाई की मांग को लेकर बांग्लादेश में डेमोक्रेटिक स्टूडेंट्स गठबंधन के कई सदस्यों ने मानव श्रृंखला बनाई. इसी दौरान कई लोग घायल भी हो गए। मामला बुधवार की शाम का है, जब खुलना शहर के शिबारी चौराहे पर 'स्टूडेंट्स-पीपुल' के बैनर तले एक अलग समूह ने धर्म का अपमान करने का आरोप लगाते हुए विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया.

बांग्लादेशी मीडिया के अखबार प्रोथोम आलो ने चश्मदीदों के हवाले से बताया कि डेमोक्रेटिक स्टूडेंट अलायंस के नेताओं और दूसरे सदस्यों पर तब हमला हुआ जब वे बैनर लेकर सड़कों पर उतरे. इस दौरान उनसे बैनर छीनकर आग लगा दी गई.इस घटना की पुष्टि करते हुए, खुलना मेट्रोपॉलिटन पुलिस के सोनाडांगा मॉडल पुलिस स्टेशन के ऑफिसर-इन-चार्ज (ओसी) कबीर हुसैन ने कहा कि डेमोक्रेटिक वामपंथी छात्रों की मानव श्रृंखला पर "स्टूडेंट्स और आम जनता" ने हमला किया.वहीं, दूसरी ओर डेमोक्रेटिक स्टूडेंट्स अलायंस का कहना है कि उनका विरोध प्रदर्शन देश भर में बाउल कलाकारों पर हमलों, धार्मिक स्थलों और मंदिरों में तोड़फोड़ और अलग-अलग धर्मों के लोगों के खिलाफ हिंसा की निंदा करने के लिए किए जा रहे प्रोग्राम के तहत किया गया था.

छात्र संघ की जिला समिति के जनरल सेक्रेटरी सजीब खान ने कहा कि हमने दोपहर करीब 3 बजे शिब्बारी में पोजीशन ली. हालांकि पुलिस मौजूद थी, फिर भी शाम करीब 5 बजे हमारे ऊपर हमला किया गया. उन्होंने आरोप लगाया कि दूसरा समूह छात्र और आम जनता के नाम पर आए जरूर थे, लेकिन वह यूनाइटेड पीपल्स बांग्लादेश (यूपीबी) और इस्लामी छात्र शिबिर के सदस्य थे. यूपीबी रेडिकल इस्लामी पार्टी जमात-ए-इस्लामी की छात्र विंग है. ढाका यूनिवर्सिटी में वामपंथी छात्र संगठन ने खुलना में डेमोक्रेटिक स्टूडेंट्स अलायंस प्रोग्राम पर हमले और देश भर में बाउल प्रेमियों पर हाल ही में हुए हमलों का जमकर विरोध किया। वामपंथी छात्र संगठन ने ढाका यूनिवर्सिटी में बुधवार रात एक टॉर्च जुलूस निकाला.

इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने नारे लगाए. इन नारों में उन्होंने कहा कि लालोन साई के बंगाल में कट्टरपंथ के लिए कोई जगह नहीं है, अबुल सरकार मेरा भाई है, हम अब उसकी रिहाई की मांग करते हैं, ठाकुरगांव में किसने हमला किया? सांप्रदायिक आतंकवादियों ने, अबुल सरकार को क्यों गिरफ्तार किया गया? हमें जवाब चाहिए और वाह यूनुस कमाल है, आतंकवादियों का रखवाला.ढाका यूनिवर्सिटी यूनिट के छात्र संघ के प्रेसिडेंट मेघमल्लर बसु ने प्रदर्शनकारियों पर हुए हमले की निंदा की और आरोप लगाया कि इस घटना में छात्र शिबिर, यूपीबी, और नेशनल सिटीजन पार्टी के सदस्य शामिल थे.

वहीं, बांग्लादेशी अखबार, द बिजनेस स्टैंडर्ड ने छात्र नेता के हवाले से कहा कि हम एक ऐसे मोड़ पर पहुंच गए हैं जहां डेमोक्रेटिक ताकतें भी खुद को आजादी से जाहिर नहीं कर पा रही हैं. मुहम्मद यूनुस के नेतृत्व में बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों,सांस्कृतिक संस्थानों और कई धार्मिक जगहों के खिलाफ हिंसा बढ़ी है. इससे दुनिया भर के लोगों और कई मानवाधिकार संगठनों में गुस्सा है.

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