हिमाचल प्रदेश में भारतीय जनता पार्टी (BJP) दोबारा सत्ता पाने के लिए प्रयासरत है, और आगामी विधानसभा चुनाव में ज़ोर-शोर से प्रचार में जुटी हुई है, लेकिन उसके लिए समस्याएं भी कम नहीं हैं. उन्हें न सिर्फ एन्टी-इन्कम्बेंसी फैक्टर और विपक्षी दलों से लड़ना पड़ रहा है, बल्कि टिकट वितरण से नाराज़ पूर्व विधायकों और पार्टी नेताओं के बागी हो जाने से निपटने में भी मशक्कत करनी पड़ रही है. ऐसे ही एक बागी हैं पार्टी के पूर्व सांसद कृपाल परमार, जो हिमाचल प्रदेश की फतेहपुर विधानसभा सीट से निर्दलीय के रूप में चुनाव मैदान में उतरे हैं.
राज्य के वरिष्ठ नेताओं में शुमार होने वाले कृपाल परमार का रिश्ता प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी ढाई दशक पुराना है, और वह उस समय से PM से परिचित हैं, जब वह PM नहीं बने थे, और हिमाचल प्रदेश के प्रभारी के रूप में राज्य का दौरा किया करते थे. इस पूरे घटनाक्रम में सबसे अहम बात यह है कि कृपाल परमार को बागी के तौर पर चुनाव लड़ने से पीछे हटने के लिए प्रधानमंत्री ने खुद फोन कर आग्रह किया, और कृपाल परमार पर अपना हक जताते हुए मैदान से हटने का अनुरोध किया, लेकिन नामांकन वापसी की अंतिम तिथि निकल जाने की बात कहकर कृपाल परमार ने इंकार कर दिया.
अब कृपाल परमार ने NDTV से EXCLUSIVE बातचीत में कहा, "(PM नरेंद्र) मोदी जी देवतुल्य हैं, और उनका कॉल आना भगवान के आदेश समान है... लेकिन नामांकन वापसी की तारीख निकल जाने की वजह से मेरा नाम बैलट में आ चुका है, और अब अगर मुझे 10-20 वोट भी मिल गए, तो हमेशा के लिए कलंक लग जाएगा, इसलिए चुनाव लड़ने के अलावा अब मेरे पास कोई विकल्प नहीं रहा है..."
उन्होंने कहा, "मोदी जी का फोन 30 अक्टूबर को आया था, और नामांकन वापसी की अंतिम तारीख 29 थी... अगर उनका फोन एक दिन पहले भी आ गया होता, तो मैं एक सेकंड भी नहीं लगाता, उनका आदेश मान जाने में..."
कृपाल परमार अब चुनाव तो लड़ रहे हैं, लेकिन उन्होंने यह फैसला क्यों किया, इसका खुलासा भी उन्होंने बातचीत में साफ-साफ किया. उन्होंने BJP के मौजूदा राष्ट्रीय अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा पर उन्हें सालों तक ज़लील करने का आरोप लगाया, और कहा कि PM नरेंद्र मोदी को उनके निर्दलीय के रूप में चुनाव लड़ने की जानकारी भी नामांकन वापसी के बाद ही दी गई, जो एक साज़िश है. उनका कहना है कि उन्हें कई साल से बेइज़्ज़त किया जा रहा था, और वह कैसे मर-मरकर जी रहे थे, यह वही जानते हैं.
कृपाल परमार अब फतेहपुर विधानसभा सीट से चुनाव मैदान में हैं, और उनका दावा है कि BJP का आधिकारिक प्रत्याशी मुकाबले में कहीं नहीं ठहरने वाला है, और उन्हीं का मुख्य मुकाबला कांग्रेस से हो रहा है.
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