Bhanu saptami Kab hai : भानु सप्तमी हर महीने शुक्ल पक्ष की सप्तमी को मनाया जाता है. ऐसे में इस बार पंचांग के अनुसार 25 जून को पड़ रही है. इस दिन सूर्य देव की पूजा अर्चना की जाती है. ऐसी मान्यता है कि सूर्य देव ने इसी दिन संसार को प्रकाशित किया था. इस दिन सूर्य देव की पूजा पाठ करने से घर में सुख शांति और समृद्धि आती है. इस सप्तमी को रथ सपत्मी भी कहते हैं. इसके अलावा अचला सप्तमी, सूर्यरथ सप्तमी,आरोग्य सप्तमी के नाम से भी जानते हैं.
भानु सप्तमी का महत्व
1- हिन्दू धर्म में रविवार का दिन भगवान सूर्य को समर्पित है. इस दिन जो लोग सूर्य की उपासना करते हैं उन्हें चर्म रोग से निजात मिल सकती है. वहीं, ज्योतिषी भी कुंडली में अगर सूर्य कमजोर स्थिति में हैं तो उन्हें मजबूत करने के लिए पूजा पाठ करने की बात कहते हैं. इस दिन श्राद्धा के साथ सूर्य की पूजा करनी चाहिए.
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2- इस दिन आपको ब्रह्म मुहूर्त में उठकर सूर्य देव को प्रणाम करना चाहिए. इसके अलावा गंगाजल मिलाकर पानी से स्नान करना चाहिए. फिर सूर्य देव कोस्नान करने के बाद तांबे के लोटे में जल भरकर अर्घ्य देना चाहिए, साथ ही सूर्य मंत्र का भी जाप करना चाहिए- ॐ ऐहि सूर्य सहस्त्रांशों तेजो राशे जगत्पते, अनुकंपयेमां भक्त्या, गृहाणार्घय दिवाकर:।
3- वहीं, सूर्य देव को जल सूर्योदय होने के एक घंटे के अंदर ही दे देना चाहिए. ऐसा करना फलदायी होता है. वहीं, सूर्य देव को अर्घ्य देने के बाद तीन बार परिक्रमा करें, फिर धरती को प्रणाम करें. सूर्य को जल चढ़ाने वाले जल में फूल और चंदन मिलाएं.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. एनडीटीवी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)
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