व्हाइट हाउस के प्रेस सचिव सीन स्पाइसर से तीखे सवाल पूछकर श्री चौहान सुर्खियों में हैं (फाइल फोटो)
वाशिंगटन:
भारतीय मूल की एक अमेरिकी महिला ने एक स्थानीय एप्पल स्टोर पर व्हाइट हाउस के प्रेस सचिव सीन स्पाइसर से कई सवाल किए और उनसे बार-बार पूछा कि उन्हें एक ‘फासीवादी’ के लिए काम करना कैसा लगता है? इसके जवाब में अमेरिका के इस शीर्ष अधिकारी ने एक ‘नस्ली’ टिप्पणी कर दी. श्री चौहान (33) ने शनिवार को स्पाइसर से सवाल करते हुए बनाए गए वीडियो को ट्विटर पर डाल दिया, जिसमें श्री के सवालों पर उनकी प्रतिक्रिया दिखाई दे रही है. इनमें से कुछ सवाल इस प्रकार थे- ‘एक फासीवादी (fascist) के लिए काम करते हुए कैसा लगता है?’ और ‘देश को बर्बाद करने के बारे में आप क्या सोचते हैं?’ चौहान ने स्पाइसर से रूस के बारे में भी सवाल पूछे और राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप पर देशद्रोह करने का आरोप लगाया. वीडियो को चौहान ने सोशल मीडिया के कई मंचों पर डाला और वह वायरल हो गया. इसमें स्पाइसर यह कहते हुए सुने जा रहे हैं कि अमेरिका ‘इतना महान देश है कि वह आपको यहां रहने की अनुमति देता है.’
चौहान इस टिप्पणी को नस्ली टिप्पणी बताती हैं. उन्होंने कहा, ‘यह नस्लवाद है और एक तरह की धमकी है. जरा श्रीमान स्पाइसर के उस दुस्साहस के बारे में सोचिए कि वह यह जानने के बावजूद कि यह सब वीडियो पर रिकॉर्ड हो रहा है और यह जानने के बावजूद कि वह हमारी सरकार में एक ताकतवर पद पर आसीन हैं, उन्होंने मेरे मुंह पर मुस्कुराते हुए यह बात कह दी.’ चौहान ने स्पाइसर के इस जवाब को अपनी नागरिकता के संदर्भ में दी गई धमकी बताया. श्री ने कहा, ‘मैं अब भी उस दुस्साहस से स्तब्ध हूं जिसके तहत कैमरे के सामने मेरी नागरिकता को धमकी दी गई. मैं विनम्र नहीं थी लेकिन विनम्र न होने का यह अर्थ कब से हो गया कि मुझे अमेरिका से बाहर फेंक दिया जाना चाहिए. यह वह देश है, जहां मैं जन्मी, जहां पली-बढ़ी. यह वह देश है, जिसे मैं उसकी खामियों के बावजूद प्यार करती हूं.’ इस घटना पर प्रतिक्रिया देते हुए कल अपने दैनिक संवाददाता सम्मेलन में स्पाइसर ने कहा कि अमेरिका एक आजाद देश है और लोग अपनी मर्जी से जो करना चाहें, उन्हें वह करने का अधिकार है. श्री चौहान के अनुसार वह इस स्टोर में आईफोन ठीक करवाने गई थीं। तभी उन्हें वहां स्पाइसर मिल गए.
श्री ने मीडियम डॉट कॉम पर डाले गए पोस्ट में लिखा, ‘मुझे महसूस हुआ कि आम तौर पर स्पाइसर को दी जाने वाली सुरक्षाओं के बिना आज जवाब पाने का यह कितना बड़ा अवसर है. वास्तव में मैं बहुत घबराई हुई थी और कहीं अधिक ठोस सवाल पूछना चाहती थी लेकिन ऐसा करने का समय ही नहीं था.’ श्री ने कहा कि वह लगभग एक दशक से वाशिंगटन डीसी में रह रही हैं और इस दौरान वह सार्वजनिक स्थलों पर कई अति विशिष्ट लोगों से मिली हैं लेकिन कभी उनसे बात नहीं की. उन्होंने कहा, ‘हालांकि, जो कुछ स्पाइसर और उनके बॉस (डोनाल्ड ट्रंप) इस देश में कर रहे हैं, मुझे नहीं लगता कि वे इन शर्तों और परंपराओं के प्रति प्रतिबद्ध हैं. ट्रंप और उनके साथी कानून, हमारे संविधान और लोकतंत्र की खुले तौर पर धज्जियां उड़ा रहे हैं.’ वीडियो के अनुसार, उन्होंने स्पाइसर से पूछा, ‘क्या आपने रूस की मदद की है? क्या आपने राष्ट्रपति की तरह, कभी देशद्रोह भी किया है? आप मुझे रूस के बारे में क्या बता सकते हैं? और सीन, आप अपने देश को तबाह करने के बारे में क्या सोचते हैं?’ संवाददाता सम्मेलन में स्पाइसर ने कहा कि यदि लोगों के पास सवाल हैं तो उन्हें उनसे सवाल पूछने चाहिए. उन्होंने कहा, ‘पूछ लीजिए. मैं दिनभर लोगों से बात करता हूं. इनमें से 99 प्रतिशत लोगों से बात करना अच्छा रहता है. इनमें वे लोग भी होते हैं, जो हमारी सोच, कार्यक्रम आदि से सहमत नहीं हो सकते’
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
चौहान इस टिप्पणी को नस्ली टिप्पणी बताती हैं. उन्होंने कहा, ‘यह नस्लवाद है और एक तरह की धमकी है. जरा श्रीमान स्पाइसर के उस दुस्साहस के बारे में सोचिए कि वह यह जानने के बावजूद कि यह सब वीडियो पर रिकॉर्ड हो रहा है और यह जानने के बावजूद कि वह हमारी सरकार में एक ताकतवर पद पर आसीन हैं, उन्होंने मेरे मुंह पर मुस्कुराते हुए यह बात कह दी.’ चौहान ने स्पाइसर के इस जवाब को अपनी नागरिकता के संदर्भ में दी गई धमकी बताया. श्री ने कहा, ‘मैं अब भी उस दुस्साहस से स्तब्ध हूं जिसके तहत कैमरे के सामने मेरी नागरिकता को धमकी दी गई. मैं विनम्र नहीं थी लेकिन विनम्र न होने का यह अर्थ कब से हो गया कि मुझे अमेरिका से बाहर फेंक दिया जाना चाहिए. यह वह देश है, जहां मैं जन्मी, जहां पली-बढ़ी. यह वह देश है, जिसे मैं उसकी खामियों के बावजूद प्यार करती हूं.’ इस घटना पर प्रतिक्रिया देते हुए कल अपने दैनिक संवाददाता सम्मेलन में स्पाइसर ने कहा कि अमेरिका एक आजाद देश है और लोग अपनी मर्जी से जो करना चाहें, उन्हें वह करने का अधिकार है. श्री चौहान के अनुसार वह इस स्टोर में आईफोन ठीक करवाने गई थीं। तभी उन्हें वहां स्पाइसर मिल गए.
श्री ने मीडियम डॉट कॉम पर डाले गए पोस्ट में लिखा, ‘मुझे महसूस हुआ कि आम तौर पर स्पाइसर को दी जाने वाली सुरक्षाओं के बिना आज जवाब पाने का यह कितना बड़ा अवसर है. वास्तव में मैं बहुत घबराई हुई थी और कहीं अधिक ठोस सवाल पूछना चाहती थी लेकिन ऐसा करने का समय ही नहीं था.’ श्री ने कहा कि वह लगभग एक दशक से वाशिंगटन डीसी में रह रही हैं और इस दौरान वह सार्वजनिक स्थलों पर कई अति विशिष्ट लोगों से मिली हैं लेकिन कभी उनसे बात नहीं की. उन्होंने कहा, ‘हालांकि, जो कुछ स्पाइसर और उनके बॉस (डोनाल्ड ट्रंप) इस देश में कर रहे हैं, मुझे नहीं लगता कि वे इन शर्तों और परंपराओं के प्रति प्रतिबद्ध हैं. ट्रंप और उनके साथी कानून, हमारे संविधान और लोकतंत्र की खुले तौर पर धज्जियां उड़ा रहे हैं.’ वीडियो के अनुसार, उन्होंने स्पाइसर से पूछा, ‘क्या आपने रूस की मदद की है? क्या आपने राष्ट्रपति की तरह, कभी देशद्रोह भी किया है? आप मुझे रूस के बारे में क्या बता सकते हैं? और सीन, आप अपने देश को तबाह करने के बारे में क्या सोचते हैं?’ संवाददाता सम्मेलन में स्पाइसर ने कहा कि यदि लोगों के पास सवाल हैं तो उन्हें उनसे सवाल पूछने चाहिए. उन्होंने कहा, ‘पूछ लीजिए. मैं दिनभर लोगों से बात करता हूं. इनमें से 99 प्रतिशत लोगों से बात करना अच्छा रहता है. इनमें वे लोग भी होते हैं, जो हमारी सोच, कार्यक्रम आदि से सहमत नहीं हो सकते’
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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