मध्य प्रदेश के कूनो नेशनल पार्क से एक बार फिर खबर है. शुक्रवार को एक और नर चीते की मौत हो गई. इसका नाम सूरज था. अधिकारियों का कहना है कि अभी तक उसकी मौत का कारण साफ नहीं हो पाया है. पिछले 4 महीने में कूनो नेशनल पार्क में यह आठवें चीते की मौत है. इस हफ्ते दो चीतों की जान गई है. इससे पहले मंगलवार को नर चीते तेजस की मौत हुई थी. उसकी गर्दन पर चोट के निशान मिले थे.
रिपोर्ट के मुताबिक, दक्षिण अफ्रीका के नामीबिया से लाए गये चीतों में से अब तक 5 चीतों और 3 शावकों की मौत हो चुकी है. इसमें से छह साल का चीता 'उदय' भी शामिल है, जिसने अप्रैल में दम तोड़ा था. इससे पहले चीते 'साशा' की भी मौत हो गई थी.
17 सितंबर 2022 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने जन्मदिन पर नामीबिया से आए 8 चीतों को कूनो नेशनल पार्क में रिलीज किया था. इस साल 18 फरवरी को साउथ अफ्रीका से 12 और चीतों को कूनो में छोड़ा गया था. यानी कुल मिलाकर नामीबिया और साउथ अफ्रीका से 20 चीते लाए गए.
दक्षिण अफ्रीका और नामीबिया से लाए गए कुल 20 चीतों में से अब तक 5 दम तोड़ चुके हैं. नामीबिया से लाई गई मादा चीता ज्वाला ने चार शावकों को जन्म दिया था. इनमें से तीन शावकों की मौत हो गई है. चौथा शावक बीमार चल रहा है. कूनो नेशनल पार्क में सबसे पहले मादा चीता शासा की मौत हुई थी. शासा कूनो नेशनल पार्क मौसम में ढल नहीं पाई और बीमारी की वजह से उसकी मौत हो गई. अब सिर्फ 15 चीते ही बचे हैं.
चीता प्राजेक्ट में पहले से ही कहा गया है कि पहले साल आए 20 चीतों में से अगर 10 यानी 50% भी सर्वाइव कर जाते हैं तो यह प्रोजेक्ट सफल माना जाएगा.
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