विज्ञापन

मैंने कभी नहीं कहा सब मोह माया है... 2 लाख रुपये के लग्जरी बैग को लेकर हुए विवाद पर बोलीं जया किशोरी

जया किशोरी ने कहा, "जिन लोगों मेरी कथा अटेंड की होगी, उन्हें याद होगा कि मैं कभी ये बात नहीं कहती कि सब मोह माया है. मैंने कभी नहीं कहा कि आप पैसे मत कमाइए. मैंने कभी नहीं कहा कि सब मोह माया है. इसलिए सब त्याग दो. जब हमने खुद नहीं त्यागा, तो मैं कैसे लोगों से ये बात कह सकती हूं. मैंने पहले दिन से एक बात साफ कर दी है कि मैं कोई संत, साधु या साध्वी नहीं हूं. मैं एक नाॉर्मल लड़की हूं."

नई दिल्ली:

जानी मानी भागवत कथा वाचक और मोटिवेशनल स्पीकर जया किशोरी को इन दिनों सोशल मीडिया पर कड़ी आलोचना का सामना करना पड़ रहा है. बीते दिनों जया किशोरी एयरपोर्ट पर एक ब्रांडेड लग्जरी बैग के साथ स्पॉट हुईं. बैग Dior ब्रांड का था. यूजर्स ने सोशल मीडिया पर दावा किया है कि उस बैग की कीमत 2 लाख रुपये से ज्यादा है. उसे बनाने के लिए गाय की चमड़ी का इस्तेमाल होता है. अब जया किशोरी ने अपने ब्रांडेड बैग को लेकर सफाई दी है. जया किशोरी ने कहा कि उनका बैग एक कस्टमाइज बैग है. इसमें कहीं भी लेदर का इस्तेमाल नहीं हुआ है. उन्होंने इस दौरान यह भी कहा कि वो कोई संत, साधु या साध्वी नहीं हैं. उन्होंने कभी नहीं कहा कि सब मोह माया है. 

न्यूज एजेंसी ANI के मुताबिक जया किशोरी ने कहा, "मेरे बैग को लेकर बहुत कंट्रोवर्सी हो रही है. मैं इसे साफ कर देना चाहती हूं. वो बैग एक कस्टमाइज बैग है. कस्टमाइज का मतलब आप अपनी मर्जी और अपने हिसाब से बैग को डिजाइन करा सकते हैं. इसमें कहीं भी लेदर का इस्तेमाल नहीं हुआ है. इसीलिए बैग में मेरा नाम तक लिखा हुआ है. मैंने कथा करने से पहले और न कथा करने के दौरान और न ही बाद में कभी लेदर का इस्तेमाल किया. मैं आगे भी लेदर का इस्तेमाल नहीं करूंगी. मैं बस अपनी गारंटी ले सकती हूं, लेकिन किसी कंपनी की गांरटी नहीं ले सकती."

जिंदगी में बहुत परेशान हैं और कुछ समझ नहीं आ रहा तो मोटिवेशनल जया किशोरी की यह बात बदल देगी आपकी लाइफ

साधु-संत या साध्वी नहीं हूं
जया किशोरी ने कहा, "जिन लोगों मेरी कथा अटेंड की होगी, उन्हें याद होगा कि मैं कभी ये बात नहीं कहती कि सब मोह माया है. मैंने कभी नहीं कहा कि आप पैसे मत कमाइए. मैंने कभी नहीं कहा कि सब मोह माया है. इसलिए सब त्याग दो. जब हमने खुद नहीं त्यागा, तो मैं कैसे लोगों से ये बात कह सकती हूं. मैंने पहले दिन से एक बात साफ कर दी है कि मैं कोई संत, साधु या साध्वी नहीं हूं."

कथावाचक जया किशोरी के चमकते चेहरे का राज है ये आसान फेस पैक, रोज रात में करती हैं अप्लाई

मैं एक नॉर्मल लड़की की जीती हूं जिंदगी
कथावाचक किशोरी ने कहा, "मैं एक नाॉर्मल लड़की हूं और घर में रहती हूं. मैं अपने परिवार के साथ रहती हूं. मैं गृहस्थ जीवन भी पूर्ण रूप से जीना चाहती हूं. मेरा परिवार है. दोस्त और रिश्तेदार भी है. कोई खुशखबरी आती है, तो हम उसे सेलिब्रेट भी करते हैं. मैं घूमने भी जाती हूं. मैं एक नॉर्मल लाइफ जीती हूं. मैं कभी नहीं कहा कि मैंने वैराग्य ले लिया है. मैं युवाओं से भी यही कहती हूं कि आप मेहनत करें, पैसा कमाएं, खुद को एक अच्छी जिंदगी दें और अपने सपने पूरे करें."

सोशल मीडिया पर किशोरी पर लग रहे आरोप
जया किशोरी का एक वीडियो 24 अक्टूबर को वायरल हो रहा था. इसमें वो एक लग्जरी हैंड बैग और ट्रॉली के साथ एयरपोर्ट पर स्पॉट हुई थीं. वायरल वीडियो में जया किशोरी के हाथ में लग्जरी ब्रांड क्रिश्चियन डायर का कैरी बैग था. इस बैग की कीमत 2 लाख 10 हजार के आसपास है. इस वीडियो के आने के बाद लोगों ने उन्हें ट्रोल करना शुरू कर दिया. सोशल मीडिया यूजर्स किशोरी पर आरोप लगा रहे है कि पूरी दुनिया को भौतिकवाद से दूर रहने, वैराग्य और भगवत गीता का पाठ पढ़ाने वाली उपदेशक खुद 2 लाख रुपये से ज्यादा की कीमत वाले और गाय की चमड़ी के इस्तेमाल से बनने वाली बैग का इस्तेमाल कर रही हैं.

जया किशोरी से जानिए बच्चों को काबिल बनाने के लिए मां बाप क्या करें

एक यूजर ने लिखा, "इतने महंगे झोला में ज्यादा सामान आवे है का? हमारे यहां इतने बड़े थैले में इत्ता सामान आराम से आ जाएगा, कीमत केवल 10 रुपये है." वहीं एक अन्य यूजर ने कहा, "मोह माया का त्याग करने से पहले एक अच्छे बैग का इंतजाम तो कर ही लूं!" हालांकि, कुछ लोग कथावाचक का समर्थन भी कर रहे हैं और उनका कहना है कि महंगे बैग इस्तेमाल करना गलत नहीं है. बवाल बढ़ने के बाद जया किशोरी ने अपना वह वीडियो सोशल मीडिया से हटा दिया है.


जया किशोरी को जानिए
जया किशोरी का असली नाम जया शर्मा है. उनका जन्म 13 जुलाई 1995 को राजस्थान के सुजानगढ़ गांव में एक गौड़ ब्राह्मण परिवार में हुआ. उन्होंने बहुत कम उम्र में ही आध्यात्म अपना लिया था. उन्होंने 6-7 साल की उम्र में अपने दादाजी से भगवान कृष्ण की कहानियां सुनना शुरू किया. 

9 साल की उम्र में याद कर लिए थे महत्वपूर्ण स्तोत्र
9 साल की उम्र में ही जया किशोरी ने लिंगाष्टकम, शिव तांडव स्त्रोत, और मधुराष्टकम याद कर लिए थे. श्रीकृष्ण के प्रति उनकी भक्ति और समर्पण को देखते हुए उनके गुरु गोविंद राम मिश्रा ने उन्हें 'किशोरी' की उपाधि दी थी. 

मोटिवेशनल जया किशोरी ने बताया अपनी ग्लोइंग स्किन का राज, ये 3 चीजें लगाती हैं वह चेहरे पर

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com