मुंबई क्रूज ड्रग्स केस (Mumbai Cruise Drugs Case) में सुपरस्टार शाहरुख खान (Shahrukh Khan) के बेटे आर्यन खान (Aryan Khan Case) ऑर्थर रोड जेल से रिहा हो गए हैं. काफी लंबी कानूनी प्रक्रिया के बाद आर्यन खान 27 दिन के बाद अपने घर लौटे हैं. वो 2 अक्टूबर से क्रूज ड्रग्स केस में जेल में बंद थे. 2 अक्टूबर को मुंबई से गोवा जा रहे क्रूज पर एनसीबी (NCB) ने छापेमारी करके शुरुआती चरण में 8 लोगों को हिरासत में लिया था. एनसीबी ने छापेमारी (NCB Raid) करके बताया था कि क्रूज शिप पर ड्रग्स पार्टी चल रही थी, जिसमें एनसीबी के अधिकारियों ने शाहरुख खान (Shahrukh Khan) के बेटे आर्यन खान समेत कुल आठ लोगों को हिरासत में लिया था.
NCB ने 16 लोगों से की पूछताछ
एनसीबी के अधिकारियों ने बताया था कि आठ आरोपियों के पास से चरस, MDMA, MD और कोकेन समेत अन्य ड्रग्स बरामद किये गए थे. इसके बाद एनसीबी ने इस केस में कार्रवाई तेज करते हुए 16 लोगों को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया. इस मामले में अभिनेता शाहरुख खान के बेटे आर्यन खान, अरबाज मर्चेंट के साथ मॉडल मुनमुन धमेचा जैसी सेलिब्रिटी और कुछ ड्रग्स पैडलर और ड्रग्स लेने वाले यात्री शामिल थे.
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14 दिन की मिली थी न्यायिक हिरासत
मामले में एनसीबी ने कार्रवाई करते हुए 5 अक्टूबर को चार आरोपियों को कोर्ट में पेश किया, जिसमें 2 ड्रग्स पैडलर और 2 यात्री थे. इसके ठीक अगले दिन एक इवेंट मैनेजमेंट कंपनी के चारों लोगों को कोर्ट में पेश किया गया. अदालत ने चारों को 11 अक्टूबर तक NCB की हिरासत दी, जबकि आर्यन खान सहित बाकी के 8 आरोपियों को 7 अक्टूबर तक की रिमांड मिली. इसके बाद आर्यन खान समेत अन्य आरोपियों को कोर्ट ने 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया.
व्हाट्सएप चैट को लेकर सामने आया नया मोड़
एनसीबी ने कोर्ट में आर्यन खान को लेकर कहा कि आर्यन के ड्रग्स से सम्बंधित वॉट्सऐप चैट ( Whatsapp Chat) में एक डेब्यू ऐक्ट्रेस के साथ भी ड्रग्स को लेकर बातचीत है. व्हाट्सएप चैट में बड़ी मात्रा में ड्रग्स का उल्लेख था, प्रथम दृष्टया यह दर्शाता है कि आर्यन खान प्रतिबंधित नशीले पदार्थों में काम करने वाले व्यक्तियों के संपर्क में था. रिकॉर्ड पर साक्ष्य से पता चलता है कि आरोपी एक बड़े नेटवर्क का हिस्सा है. चूंकि आरोपी साजिश का हिस्सा है, इसलिए जब्त की गई दवाओं की पूरी मात्रा के लिए उत्तरदायी भी हैं. सभी आरोपियों के मामले को एक दूसरे से अलग नहीं किया जा सकता है. आगे पूछताछ के दौरान, उन्होंने उन लोगों के नामों का खुलासा किया जिन्होंने उन्हें प्रतिबंधित सामग्री की आपूर्ति की थी."
जमानत याचिका को लेकर लंबी लड़ाई
इसके बाद, 21 अक्टूबर को इस मामले में मुंबई की स्पेशल एनडीपीएस अदालत ने आर्यन खान समेत 8 आरोपियों की न्यायिक हिरासत 30 अक्टूबर तक बढ़ा दी. इससे पहले 20 अक्टूबर को इसी अदालत ने मामले में आर्यन खान और दो अन्य सह-आरोपियों की जमानत याचिका खारिज कर दी थी. आर्यन खान की जमानत के लिए शाहरुख खान ने शहर के सबसे बड़े दो वकीलों को आर्यन खान का केस सौंपा है, जिसमें सतीश मानशिंदे और अमित देसाई हैं. इन दोनों वरिष्ठ वकीलों की तरफ से आर्यन खान की जमानत को लेकर मजिस्ट्रेट कोर्ट से 8 अक्टूबर से याचिका की प्रक्रिया शुरू की गई. लेकिन मजिस्ट्रेट कोर्ट ने ये कहकर याचिका खारिज कर दिया कि जमानत देने का अधिकार कोर्ट के पास नहीं है.
लिहाजा, आर्यन खान के वकीलों ने उनकी जमानत को लेकर सेशंस कोर्ट का दरवाजा खटखटाया. मुंबई के सेशंस कोर्ट में आर्यन खान की जमानत को लेकर 13 अक्टूबर को याचिका डाली गई, जिसके बाद कई चरण में उनकी जमानत याचिका को लेकर सुनवाई चली. लेकिन 20 अक्टूबर को मुंबई के सेशंस कोर्ट ने उनकी जमानत याचिका को खारिज कर दिया, जिसके बाद 21 अक्टूबर को उनके वकीलों ने बॉम्बे हाईकोर्ट का रुख किया.
इस बीच मामले में नया मोड़ सामने तब आया, जब पूर्व अटार्नी जनरल और वरिष्ठ अधिवक्ता मुकुल रोहतगी ने आर्यन का केस लिया. हालांकि हाईकोर्ट ने सुनवाई के लिए 26 अक्टूबर का समय दिया. लेकिन 26 अक्टूबर और 27 अक्टूबर को हाईकोर्ट में सुनवाई प्रक्रिया पूरी नहीं हो सकी. कोर्ट में मुकुल रोहतगी ने आर्यन को जमानत दिए जाने की वकालत करते हुए कहा, "वो ग्राहक नहीं था और न ही उसके पास से कोई ड्रग्स बरामद हुआ. ड्रग्स का सेवन भी उसने नहीं किया था, इसलिए गिरफ्तारी ही गलत थी."
हाईकोर्ट में आर्यन की ओर से हलफनामा
सुनवाई के पहले आर्यन की ओर से एक हलफनामा दाखिल किया गया. इसमें कहा गया कि ड्रग्स केस में गवाह द्वारा एनसीबी अधिकारियों पर लेनदेन के आरोपों से उसका कोई लेना-देना नहीं है. उसकी ओर से ऐसा कोई आरोप एनसीबी अफसरों पर नहीं लगाया गया है. वहीं, एनसीबी ने आर्यन खान की जमानत का विरोध किया और हलफनामा दायर किया. जांच एजेंसी ने कहा कि आर्यन खान के पिता शाहरुख खान की मैनेजर पूजा डडलानी गवाहों को प्रभावित करने की कोशिश कर रही थीं. हालांकि आर्यन खान ने इसका खंडन किया.
मुकुल रोहतगी ने कहा, 'आर्यन खान का कोई मेडिकल टेस्ट भी नहीं हुआ. अरबाज मर्चेंट के पास 6 ग्राम चरस थी जो उसके जूते से बरामद की गई थी. मर्चेंट इससे इनकार कर रहा है. मुझे कोई चिंता नहीं है, सिवाय इसके कि वह मेरा दोस्त हैं. किसी के जूते में क्या था या कहीं भी मेरी चिंता नहीं है. फिर भी छह ग्राम चरस हिरासत में रखने का मामला नहीं है.'
वहीं, अमित देसाई ने कहा, 'हम सब जांच के लिए उपलब्ध है. जांच की गई है और आगे कुछ भी बरामद नहीं हुआ है. हमें जमानत दी जानी चाहिए, जब मुझे अरेस्ट किया गया था तो कोई साजिश नहीं थी, कोई रिकवरी नहीं हुई थी. रिकवरी बाद में अन्य लोगों से की गई जो बाद में गिरफ्तार हुए. यह कड़ा कानून है. यह संवैधानिक गारंटी का सीधा उल्लंघन है.'
सुनवाई के दौरान आगे दलील देते हुए मुकुल रोहतगी ने कहा, 'आर्यन खान का अरेस्ट मेमो देखिए.एक जैसा है. इसमें जो आइटम हैं वो मुझसे बरामद नहीं हुए हैं जबकि कानून कहता है कि आपको इसके लिए सही और सही आधार देना चाहिए'
आखिरकार हाईकोर्ट से मिली जमानत
बॉम्बे हाई कोर्ट में तीन दिन की लंबी सुनवाई प्रक्रिया के बाद 28 अक्टूबर को क्रूज ड्रग्स केस मामले में आर्यन खान समेत अरबाज मर्चेंट और मॉडल मुनमुन धमेचा को जमानत मिल गई. हालांकि कोर्ट का आदेश देर शाम आने और कागजी प्रक्रिया में देरी के चलते वो शुक्रवार को ऑर्थर रोड जेल से रिहा नहीं हो सके.
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