मानसून की भारी बारिश ने गुजरात में संकट पैदा हो गया है. गुजरात के कई क्षेत्रों में बारिश कि सिलसिला जारी है. इससे नदियों में बाढ़ आ गई है और शहरों में पानी भर गया है. भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने गुजरात के सौराष्ट्र और कच्छ में गुरुवार को भी भारी बारिश जारी रहने की भविष्यवाणी की है. मौसम विभाग ने हिमाचल प्रदेश के 12 में से 10 जिलों में भी अलग-अलग स्थानों पर गुरुवार को आंधी और बिजली की चमक के साथ भारी बारिश होने का अनुमान जताया है. इन जिलों के लिए येलो अलर्ट जारी किया गया है. दिल्ली में बुधवार-गुरुवार की मध्य रात्रि से बारिश का सिलसिला शुरू हो गया है.
भारतीय मौसम विज्ञान विभाग ने कहा है कि गुजरात के सौराष्ट्र और कच्छ के ऊपर बना गहरा दबाव धीरे-धीरे पश्चिम-दक्षिण-पश्चिम की ओर बढ़ता रहेगा और 29 अगस्त तक पूर्वोत्तर अरब सागर से सटे सौराष्ट्र और कच्छ तट तक पहुंच जाएगा. सौराष्ट्र और कच्छ के अलग-अलग स्थानों पर 29 अगस्त को अत्यधिक भारी बारिश जारी रहने की संभावना है.
आईएमडी ने कहा है कि, अगले 24 घंटों के दौरान उत्तर और उससे सटे मध्य बंगाल की खाड़ी में एक नया कम दबाव का क्षेत्र बनने की संभावना है. ओडिशा, उत्तरी तटीय आंध्र प्रदेश, दक्षिण छत्तीसगढ़, विदर्भ और तेलंगाना में 30 और 31 अगस्त को भारी वर्षा होने की संभावना है.
सौराष्ट्र और कच्छ में असाधारण बारिश
आईएमडी ने कहा है कि बुधवार को समाप्त 24 घंटों के दौरान सौराष्ट्र और कच्छ में असाधारण रूप से भारी बारिश हुई. इसके अलावा उत्तराखंड, पूर्वी उत्तर प्रदेश, नागालैंड, मणिपुर, मिजोरम, त्रिपुरा, मध्य महाराष्ट्र में अलग-अलग स्थानों पर भारी वर्षा हुई. पश्चिमी उत्तर प्रदेश, पूर्वी राजस्थान, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह, झारखंड, ओडिशा, अरुणाचल प्रदेश, असम, मेघालय, कोंकण, गोवा, तटीय कर्नाटक, दक्षिण आंतरिक कर्नाटक में भी अलग-अलग स्थानों पर भारी बारिश हुई है.
दिल्ली में आधी रात में शुरू हुई बारिश
राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में आधी रात में कई इलाकों में बारिश शुरू हो गई. गुरुद्वारा रकाब गंज साहिब के पास से आई तस्वीरों में बारिश की बूंदाबांदी दिख रही है. इससे पहले बुधवार को दिल्ली और एनसीआर (राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र) में आंधी और बिजली के साथ बारिश हुई थी. मंगलवार को दिल्ली के कई इलाकों में हल्की से मध्यम दर्जे की बारिश हुई थी. बुधवार को पूरे दिन आसमान में बादल छाए रहे.
#WATCH | Delhi: Rain lashes parts of the National Capital. Visuals from RK Puram Sector-9. pic.twitter.com/EjNN4auBWZ
— ANI (@ANI) August 28, 2024
गुजरात में बारिश से 19 और लोगों की मौत, 17,800 लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया
गुजरात में 19 लोगों की मौत
गुजरात में बारिश से संबंधित घटनाओं में 19 और लोगों की मौत हो गई है. इससे ऐसी घटनाओं में तीन दिन में जान गंवाने वाले लोगों की संख्या बढ़कर 26 हो गई है. भारी बारिश से वडोदरा शहर में भयंकर बाढ़ आ गई है. वडोदरा से होकर बहने वाली विश्वामित्री नदी के अपने तटों को तोड़कर आवासीय इलाकों में प्रवेश कर जाने से निचले इलाकों में जलजमाव हो गया है और इमारतें, सड़कें और वाहन पानी में डूब गए हैं. सेना राहत कार्यों में जुटी है. शहर के 6,000 से अधिक लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है. बाढ़ में फंसे लगभग 1,200 लोगों को बचाया गया है.
राज्य के कुछ हिस्सों में बुधवार को लगातार चौथे दिन भी भारी बारिश जारी रही. बाढ़ प्रभावित इलाकों में से 17,800 लोगों को निकालकर सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है. जान गंवाने वालों में वे सात लोग भी शामिल हैं जो रविवार को मोरबी जिले के हलवद तालुका के धवना गांव के पास एक पुल को पार करते समय एक ट्रैक्टर ट्रॉली के बह जाने के बाद लापता हो गए थे. इस पुल से होकर पानी बह रहा था. उनके शव बरामद कर लिए गए हैं.
सौराष्ट्र क्षेत्र के देवभूमि द्वारका, जामनगर, राजकोट और पोरबंदर आदि जिलों में बुधवार को शाम 6 बजे तक 12 घंटे की अवधि में 50 मिलीमीटर से लेकर 200 मिलीमीटर तक बारिश हुई. इस अवधि के दौरान देवभूमि द्वारका जिले के भानवद तालुका में 185 मिलीमीटर बारिश हुई, जो राज्य में सबसे अधिक है.
वडोदरा में 1200 लोगों को बचाया गया
वडोदरा में अपने घरों और छतों पर फंसे लोगों को एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और सेना के जवानों ने निकालकर सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया. मंत्री ऋषिकेश पटेल ने बताया कि वडोदरा में अब तक 5,000 से अधिक लोगों को निकाला गया और 1,200 अन्य लोगों को बचाया गया है.
Gujarat: A pregnant woman stranded in floodwaters at Mokampura village in Nadiad was safely taken to the hospital by the SDRF pic.twitter.com/c6rLN1xP13
— IANS (@ians_india) August 28, 2024
एनडीआरएफ और एसडीआरएफ के अलावा सेना, भारतीय वायुसेना और तटरक्षक बारिश से तबाह हुए इलाकों में बचाव और राहत अभियान चला रहे हैं. बारिश से जुड़ी घटनाओं में 26 लोगों की मौत हो चुकी है. यह मौतें राजकोट, आणंद, महिसागर, खेड़ा, अहमदाबाद, मोरबी, जूनागढ़ और भरूच जिलों में हुई हैं.
राज्य में 140 जलाशय और बांध तथा 24 नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं. बारिश के कारण यातायात और रेलगाड़ियों की आवाजाही भी बाधित हुई है, क्योंकि सड़कें और रेलवे लाइन जलमग्न हो गई हैं. राज्य के 206 बांधों में से 122 को उनके जलस्तर में तेज वृद्धि के कारण हाई अलर्ट पर रखा गया है.
हिमाचल में गुरुवार को भारी बारिश की संभावना
मौसम विभाग ने गुरुवार को किन्नौर और लाहौल-स्पीति को छोड़कर हिमाचल प्रदेश के 12 में से 10 जिलों में अलग-अलग स्थानों पर भारी बारिश की संभावना जताई है. इसे लेकर येलो अलर्ट जारी किया गया है. बुधवार को राज्य के कई हिस्सों में मध्यम बारिश हुई. मनाली में 42 मिलीमीटर, नारकंडा में 41.5 मिमी, कुफरी में 39.6 मिमी, जुब्बरहट्टी में 39 मिमी, खदराला में 36.4 मिमी, शिमला में 36.2 मिमी, कसौली में 22.6 मिमी और सराहन में 22 मिमी बारिश दर्ज की गई.
हिमाचल प्रदेश में 27 जून को मानसून के आगमन के बाद से अब तक वर्षा में 23 प्रतिशत की कमी दर्ज की गई है तथा राज्य में 598.4 मिमी औसत बारिश के मुकाबले 461.1 मिमी वर्षा हुई है.
(इनपुट एजेंसियों से भी)
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