प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पीएम किसान सम्मान निधि योजना की अगली किस्त शुक्रवार को किसानों के खाते में डाल दी. इस दौरान, पीएम मोदी ने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि कॉन्ट्रैक्ट फार्मिंग को लेकर भ्रम फैलाया जा रहा है. अरुणाचल प्रदेश के एक किसान से बात करते हुए उन्होंने कहा कि कुछ लोग यह भ्रम फैला रहे हैं कि अगर कोई किसान अपनी फसल का कॉन्ट्रैक्ट करेगा तो उसकी जमीन चली जाएगी. प्रधानमंत्री ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से बटन दबाकर 9 करोड़ से अधिक किसान लाभार्थियों के खातों में 18,000 करोड़ रुपये हस्तांतरित की. इस दौरान, पीएम मोदी किसानों से संवाद कर रहे हैं.
किसानों को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा, कृषि सुधार के सूत्रधार एक प्रकार से अटल बिहारी वाजपेयी भी थे. वह योजनाओं में भ्रष्टाचार को राष्ट्रीय रोग मानते थे. पूर्व प्रधानमंत्री वाजपेयी ने कहा था कि दिल्ली से जो पैसा चलता है वो घिसता है. अब रुपया किसी के हाथ नहीं लगता है. जो दिल्ली से रुपया निकलता है वह सीधे बैंक खातों में जाता है. प्रधानमंत्री किसान योजना निधि इसका उत्तम उदाहरण है.
प्रधानमंत्री ने ममता बनर्जी पर निशाधा साधते हुए कहा कि बंगाल की सरकार की वजह से राज्य के किसानों को पीएम किसान निधि के तहत पैसे नहीं मिल रहे हैं जबकि सारा पैसा भारत सरकार की तरफ से दिया जा रहा है. बंगाल के कई किसानों ने भारत सरकार को चिट्ठी लिखी है. पश्चिम बंगाल सरकार पैसे अटका कर बैठ गई है.
स्वार्थ की राजनीति करने वालों को जनता बहुत बारीकी से देख रही है. जो दल पश्चिम बंगाल में किसानों के अहित पर कुछ नहीं बोलते वो दल यहां किसान के नाम पर दिल्ली के नागरिकों को परेशान करने में लगे हुए हैं. देश की अर्थनीति को बर्बाद करने में लगे हुए हैं.
उन्होंने कहा, "मैं इन दलों से पूछता हूं कि यहां (दिल्ली आंदोलन) फोटो निकालने के कार्यक्रम करते हो, जरा केरल में आंदोलन करके वहां तो APMC चालू करवाओं. पंजाब के किसानों को गुमराह करने के लिए आपके पास समय है, केरल में यह व्यवस्था शुरू कराने के लिए आपके पास समय नहीं है. क्यों आप लोग दोगली नीति लेकर चल रहे हो?
किसान सम्मान निधि योजना के तहत, अब तक 1.10 लाख करोड़ से ज्यादा किसानों के खातों में सीधे पैसे भेजे गए हैं. कृषि कानूनों को लेकर पीएम मोदी ने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि कुछ लोग यह भ्रम फैला रहे हैं कि अगर कोई किसान अपनी फसल का कॉन्ट्रैक्ट करेगा तो उसकी जमीन चली जाएगी.
यह भ्रम फैलाया जा रहा है कि एमएसपी व्यवस्था खत्म की जाएगी, अफवाह फैलाया जा रहा है कि मंडी बंद होगा. नए कृषि कानून पिछले कई महीने से लागू है... क्या आपने देश के किसी भी हिस्से में किसी मंडी के बंद होने की खबर सुनी है? एमएसपी समाप्त करने और मंडी बंद किए जाने का भ्रम फैलाया जा रहा है. जहां तक एमएसपी का सवाल है, सरकार ने सुधारों के बाद एमएसपी बढ़ाई है.
2014 में सरकार बनने के बाद हमारी सरकार ने नई अप्रोच के साथ काम करना शुरू किया. हमने देश के किसान की छोटी-छोटी दिक्कतों, कृषि के आधुनिकीकरण और उसे भविष्य की ज़रूरतों के लिए तैयार करने पर ध्यान दिया. ये वही लोग हैं जो वर्षों तक सत्ता में रहें. इनकी नीतियों की वजह से देश की कृषि और किसान का उतना विकास नहीं हो पाया जितना उसमें सामर्थ्य था. पहले की सरकारों की नीतियों की वजह से सबसे ज्यादा बर्बाद छोटा किसान हुआ.
किसानों के जीवन मे खुशी, हम सभी के जीवन में खुशी बढ़ा देती है. आज का दिवस तो बहुत ही पावन भी है. किसानों को आज जो सम्मान निधि मिली है, उसके साथ ही आज का दिन कई अवसरों का संगम बनकर भी आया है.
उत्तर प्रदेश के किसान से बात करते हुए पीएम मोदी ने कहा, "झूठ फैलाया जा रहा है. आप जैसे किसानों के कहने पर सच सामने आता है." प्रधानमंत्री ने कहा कि पहले फसल बर्बाद होती थी अब फसल की बिक्री होती है.
महाराष्ट्र के एक किसान ने कहा कि इस कानून के आने से हमें नया विकल्प मिला है. अब हम मंडी के अलावा बाहर भी उपज बेच सकते हैं. किसान ने पीएम मोदी से निवेदन किया कि जंगली जानवरों से किसान बहुत परेशान हैं. प्रधानमंत्री ने कहा कि हमें मिलकर समाधान निकालना होगा.