अमरनाथ यात्रा के लिए रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है (फाइल फोटो)
नई दिल्ली:
अगर आप इस साल बाबा बर्फ़ानी के दर्शन करना चाहते हैं, तो कम से कम एक महीने तक शराब से दूर रहना पड़ेगा और लगातार व्यायाम करना पड़ेगा. अमरनाथ श्राइन बोर्ड ने यात्रा को लेकर यह एडवाइजरी की है. इसमें कहा गया है कि चूंकि अमरनाथ की गुफा काफी ऊंचाई पर है, इसीलिए दर्शन करने वालों को एक महीने तक पांच किलोमीटर हर रोज़ चलने की आदत डालनी चाहिए.एडवाइजरी में लिखा गया है कि टहलने की आदत के साथ-साथ श्वसन प्रक्रिया पर भी ध्यान देने की जरूरत है, इसीलिए दर्शन के इच्छुक सभी लोगों को श्वसन संबंधी व्यायाम भी करना चाहिए.
इस साल अमरनाथ यात्रा 29 जून से शुरू होकर 7 अगस्त तक चलेगी. पवित्र गुफा 14000 फुट की ऊंचाई पर स्थित है, जिसके चलते यात्रियों को सांस लेने में कठिनाई का सामना करना पड़ सकता है. इसलिए उन्हें इसलिए उन्हें ऑक्सीजन का छोटा सिलिंडर साथ में रखना चाहिए. ऊंचाई संबंधी दिक्कत होने पर समय से इलाज न मिलने से लकवा मारने, आंखों की रोशनी जाने का डर होता है और कुछ ही घंटे में यह जानलेवा साबित हो सकता है. यात्रा के दौरान शराब, धूम्रपान और कैफीनयुक्त पेय पदार्थ नहीं पीने की भी हिदायत दी गई है.
यात्रा के लिए रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है. अमरनाथ यात्रा की सुरक्षा इस साल एजेंसियों के लिए एक बड़ी चुनौती होगी. पिछले साल तमाम वादों के बावजूद घाटी में अमरनाथ यात्रियों के वाहनों पर पथराव किया गया था। साथ ही घाटी में जरूरी सामान ले जाने वाले ट्रक चालकों पर भी हमले किए. पिछले साल आतंकी बुरहान वानी के मारे जाने के बाद दो दिन तक यात्रा को रोक दिया गया था. इसके बाद यात्रा बहाल तो जरूर हुई, लेकिन यात्रा पर इसका निरंतर असर दिखा. यही कारण था कि यात्रा 2 लाख 20 हजार श्रद्धालुओं के आंकड़े तक सिमट गई. इस साल बाबा बर्फानी का आकार बड़ा होने की उम्मीद है.
इस साल अमरनाथ यात्रा 29 जून से शुरू होकर 7 अगस्त तक चलेगी. पवित्र गुफा 14000 फुट की ऊंचाई पर स्थित है, जिसके चलते यात्रियों को सांस लेने में कठिनाई का सामना करना पड़ सकता है. इसलिए उन्हें इसलिए उन्हें ऑक्सीजन का छोटा सिलिंडर साथ में रखना चाहिए. ऊंचाई संबंधी दिक्कत होने पर समय से इलाज न मिलने से लकवा मारने, आंखों की रोशनी जाने का डर होता है और कुछ ही घंटे में यह जानलेवा साबित हो सकता है. यात्रा के दौरान शराब, धूम्रपान और कैफीनयुक्त पेय पदार्थ नहीं पीने की भी हिदायत दी गई है.
यात्रा के लिए रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है. अमरनाथ यात्रा की सुरक्षा इस साल एजेंसियों के लिए एक बड़ी चुनौती होगी. पिछले साल तमाम वादों के बावजूद घाटी में अमरनाथ यात्रियों के वाहनों पर पथराव किया गया था। साथ ही घाटी में जरूरी सामान ले जाने वाले ट्रक चालकों पर भी हमले किए. पिछले साल आतंकी बुरहान वानी के मारे जाने के बाद दो दिन तक यात्रा को रोक दिया गया था. इसके बाद यात्रा बहाल तो जरूर हुई, लेकिन यात्रा पर इसका निरंतर असर दिखा. यही कारण था कि यात्रा 2 लाख 20 हजार श्रद्धालुओं के आंकड़े तक सिमट गई. इस साल बाबा बर्फानी का आकार बड़ा होने की उम्मीद है.
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