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कप्यूटर पर रोज करते हैं 8 घंटे काम, हेल्दी रहने के लिए खाते हैं ज्वार, जान लें इसे पचाने में कितना समय लेगा शरीर

How Long Does Millet Take to Digest: अगर आप कंप्यूटर पर रोज 8 घंटे काम करते हैं और हेल्दी रहना चाहते हैं, तो ज्वार को अपने डाइट में जरूर शामिल करें. यह न केवल पोषण देता है, बल्कि शरीर को अंदर से मजबूत बनाता है. लेकिन, ये जरूर जान लें ये पचने में कितना समय लेता है.

कप्यूटर पर रोज करते हैं 8 घंटे काम, हेल्दी रहने के लिए खाते हैं ज्वार, जान लें इसे पचाने में कितना समय लेगा शरीर
Millet Digestion Time: ज्वार को पचाने में कितना समय लगता है?

Millet Digestion Time: डिजिटल दुनिया में ज्यादातर लोग दिनभर कम्यूटर या लैपटॉप पर काम करते हैं. ऑफिस हो या घर स्किन के सामने 8 घंटे बैठना अब आम बात हो गई है. लेकिन, लगातार बैठने से शरीर में एक्टिविटी कम हो जाती है, जिससे पाचन तंत्र पर असर पड़ता है और मोटापा, थकाम, गैस जैसी समस्याएं बढ़ने लगती हैं. ऐसे में अगर आप हेल्दी रहना चाहते हैं, तो खानपान में ऐसे अनाज को शामिल करना चाहिए जो न केवल पोषण दे, बल्कि आसानी से पच भी जाए.

इसी कड़ी में ज्वार एक बेहतरीन ऑप्शन है. यह एक ऐसा सुपरफूड है, जो शरीर को एनर्जी देने और कई बीमारियों से बचाने में मदद करता है.  लेकिन सवाल ये है जब हम दिनभर बैठे रहते हैं, तो क्या ज्वार पचाना आसान होता है? और शरीर इसे कितनी देर में पचाता है? चलिए यहां जानते हैं सब कुछ.

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ज्वार क्या है और क्यों है फायदेमंद?

ज्वार एक मोटा अनाज है, जिसे भारत में सदियों से खाया जा रहा है. इसमें फाइबर, प्रोटीन, आयरन, मैग्नीशियम और विटामिन B भरपूर मात्रा में होते हैं. यह ग्लूटन-फ्री होता है, यानी पेट के लिए हल्का और एलर्जी से बचाने वाला. ज्वार खाने से पाचन सुधरता है, ब्लड शुगर कंट्रोल में रहता है और वजन भी कंट्रोल रहता है.

शरीर को ज्वार पचाने में कितना समय लगता है?

ज्वार एक फाइबर-रिच अनाज है, इसलिए इसे पचाने में शरीर को थोड़ा ज्यादा समय लगता है. आमतौर पर ज्वार को पचाने में 3 से 4 घंटे लगते हैं, लेकिन यह इस बात पर निर्भर करता है कि आपने इसे कैसे पकाया और कितना खाया. अगर ज्वार को अच्छी तरह से पकाया गया है (जैसे ज्वार की रोटी या खिचड़ी), तो यह आसानी से पच जाता है. अगर आप दिनभर बैठे रहते हैं, तो ज्वार को सुबह या दोपहर में खाना बेहतर होता है, ताकि शरीर को पचाने का समय मिल सके.

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ज्वार खाने के सही तरीके (Right Way to Eat Jowar)

सुबह का नाश्ता: ज्वार का उपमा या दलिया बनाकर खाएं.
दोपहर का भोजन: ज्वार की रोटी सब्जी के साथ लें.
खिचड़ी: ज्वार और मूंग दाल की खिचड़ी हल्की और पचने में आसान होती है.
ज्वार का आटा: गेहूं के आटे में मिलाकर रोटी बनाएं, जिससे स्वाद और पोषण दोनों मिलेंगे.

कंप्यूटर यूजर्स के लिए क्यों है ज्वार फायदेमंद? (Why is Jowar Beneficial for Computer Users?)

  • लंबे समय तक बैठने से मेटाबॉलिज्म धीमा हो जाता है, ज्वार उसे एक्टिव करता है.
  • यह दिमाग को ऊर्जा देता है, जिससे काम में फोकस बना रहता है.
  • ज्वार में मौजूद फाइबर पेट को लंबे समय तक भरा रखता है, जिससे बार-बार खाने की जरूरत नहीं पड़ती.
  • यह कब्ज, गैस और एसिडिटी जैसी समस्याओं से राहत देता है.

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इन बातों का रखें ख्याल

  • ज्वार को ज्यादा मात्रा में न खाएं, वरना पेट भारी लग सकता है.
  • रात में ज्वार खाने से बचें, क्योंकि शरीर की पाचन क्रिया धीमी होती है.
  • ज्वार को हमेशा अच्छी तरह पकाकर ही खाएं.

अगर आप कंप्यूटर पर रोज 8 घंटे काम करते हैं और हेल्दी रहना चाहते हैं, तो ज्वार को अपने डाइट में जरूर शामिल करें. यह न केवल पोषण देता है, बल्कि शरीर को अंदर से मजबूत बनाता है.

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(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)

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