
किकेट की कहानियां बहुत ही रोचक होती हैं, उदाहरणीय होती है, किसी परिकथा जैसी होती है. और भारतीय लेग स्पिनर वरुण चक्रवर्ती (Varun Chakravarthy) की कहानी भी चैंपियंस ट्रॉफी (Champions Trophy 2025) में कुछ ऐसी ही रही है. वरुण को मेगा इवेंट के लिए घोषित मूल भारतीय टीम में नहीं चुना गया था. लेकिन उसी वरुण ने रविवार को न्यूजीलैंड के खिलाफ (Ind vs Nz) बड़ा खेला करते हुए पांच विकेट चटकाकर आखिरी समय में अपने बुलावे को एकदम सही तो साबित किया ही, तो वहीं भारतीय मैनेजमेंट के सामने एक बड़ा सिर दर्द और चैलेंज खड़ा कर दिया है. वरुण ने कीवी बल्लेबाजों को स्पिन के सामने आईना दिखाते हुए कोटे के 10 ओवरों में 42 रन देकर पांच विकेट लिए. दो राय नहीं कि अगर भारत को मैच में लड़ने लायक स्कोर दिलाने में श्रेयस अय्यर की पारी का योगदान रहा था, तो उन सहित तमाम बल्लेबाजों की मेहनत को "फिनिशिंग टच" देने का काम वरुण चक्रवर्ती ने किया. इस प्रदर्शन के लिए वरुण को प्लेयर ऑफ द मैच चुना गया. साथ ही, यादगार प्रदर्शन के साथ ही इस "मिस्टीरियस स्पिनर" इसी के साथ ने वरुण ने दो बड़े रिकॉर्ड भी बना दिए.
चैंपिंयस ट्रॉफी डेब्यू मैच में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने वाले दूसरे बॉलर
जब बात इस रिकॉर्ड की आती है, तो यह कारनामा ऑस्ट्रेलिया के जोश हेजलवुड के नाम पर है. तब उन्होंने साल 2017 में अपने पहले ही चैंपियंस ट्रॉफी मैच में न्यूजीलैंड के खिलाफ एजबस्टन में 52 रन देकर 6 विकेट चटकाए थे. अब हेजलवुड के बाद दूसरे नंबर पर वरुण का नाम सुनहरे अक्षरों में दर्ज हो गया है. तीसरे नंबर पर भारत के मोहम्मद शमी हैं, जिन्होंने इसी साल दुबई में बांग्लादेश के खिलाफ 53 रन देकर पांच विकेट चटकाए थे.

इतनी जल्द ही "कारनामा" करने वाले पहले भारतीय गेंदबाज बने
वरुण ने भारत के लिए वनडे में पांच विकेट चटकाने का कारनामा सिर्फ दूसरे ही वनडे में कर डाला. वह जल्द से जल्द यह उपलब्धि हासिल करने वाले भारतीय वनडे इतिहास में सिर्फ दूसरे गेंदबाज बन गए. उनसे पहले यह रिकॉर्ड स्टुअर्ट बिन्नी के नाम पर था, जिन्होंने अपने करियर के सिर्फ तीसरे ही वनडे में बांग्लादेश के खिलाफ साल 2014 में मीरपुर में 4 रन देकर छह विकेट लिए थे, लेकिन अब वरुण ने उन्हें एक मैच से पीछे छोड़ते हुए इस बड़े रिकॉर्ड पर अपना नाम लिखवा दिया है.
टीम मैनेजमेंट के सामने बड़ा चैलेंज
वरुण ने न्यूजीलैंड के खिलाफ पांच विकेट लेकर मैनेजमेंट को स्वीट पेन दे दिया है. अब गौतम के सामने गंभीर समस्या यह हो चली है कि वह सेमीफाइनल या फाइनल में क्या संयोजन खिलाएं? क्या वह न्यूजीलैंड के खिलाफ मैच से पहले तक खेले हर्षित राणा को XI में खिलाएं या फिर वरुण को बरकरार रखें. हालांकि, बहुत हद तक यह फैसला इस पर निर्भर करेगा कि सेमीफाइनल या फाइनल में पिच कैसी रहती है, लेकिन इससे इनकार तो नहीं ही किया जा सकता कि वरुण के प्रदर्शन ने भारतीय मैनेजमेंट के सामने गंभीर सवाल खड़ा कर दिया है.
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