
- CM नीतीश ने तारामंडल में विज्ञान और तकनीकी शिक्षा के क्षेत्र में कई परियोजनाओं का उद्घाटन किया
- राज्य में भ्रमणशील विज्ञान प्रदर्शनी बस सेवा शुरू की गई जो सभी जिलों में विज्ञान की जानकारी देगी
- तारामंडल में एस्ट्रा पार्क निर्माण, स्मारिका बिक्री केंद्र और एम.टेक. पाठ्यक्रम का भी शुभारंभ
बिहार में विज्ञान और तकनीकी शिक्षा के क्षेत्र में एक नया अध्याय जुड़ गया है. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पटना स्थित तारामंडल में आयोजित एक भव्य समारोह में कई महत्वाकांक्षी परियोजनाओं का उद्घाटन किया. इस मौके पर उन्होंने न केवल अत्याधुनिक वर्चुअल रियलिटी थियेटर का शुभारंभ किया, बल्कि राज्य में भ्रमणशील विज्ञान प्रदर्शनी बस को भी हरी झंडी दिखाकर रवाना किया.
विज्ञान प्रदर्शनी बस सेवा का शुभारंभ
कार्यक्रम की शुरुआत मुख्यमंत्री द्वारा विज्ञान प्रदर्शनी बस को हरी झंडी दिखाकर की गई. यह बस राज्य के सभी जिलों में जाकर स्कूली और महाविद्यालयीन छात्र-छात्राओं को विज्ञान से जुड़े रोचक प्रयोगों और जानकारियों से अवगत कराएगी. इस पहल का उद्देश्य ग्रामीण और दूरदराज़ इलाकों तक विज्ञान शिक्षा का प्रसार करना है. मुख्यमंत्री ने कहा कि इस सेवा से विद्यार्थियों को विज्ञान के व्यावहारिक पहलुओं की जानकारी मिलेगी और उनमें नवाचार की भावना विकसित होगी.
तकनीकी शिक्षा और नई योजनाओं का उद्घाटन
मुख्यमंत्री ने विज्ञान, प्रावैधिकी एवं तकनीकी शिक्षा विभाग की विभिन्न योजनाओं का रिमोट के माध्यम से शिलापट्ट अनावरण कर उद्घाटन किया. इसके तहत तारामंडल, पटना में एस्ट्रा पार्क के निर्माण कार्य का शुभारंभ किया गया. स्मारिका बिक्री केंद्र का उद्घाटन किया गया. बिहार अभियंत्रण विश्वविद्यालय और बिहार काउंसिल ऑन साइंस एंड टेक्नोलॉजी के संयुक्त तत्वावधान में सिविल इंजीनियरिंग विभाग अंतर्गत एम.टेक. (Geoinformatics) पाठ्यक्रम की शुरुआत बिहार रिमोट सेंसिंग एप्लीकेशन सेंटर, पटना में की गई.
इसके अलावा, तारामंडल पटना में टेलीस्कोप सहित ऑब्जर्वेटरी डोम निर्माण के लिए बिहार काउंसिल ऑन साइंस एंड टेक्नोलॉजी और राष्ट्रीय विज्ञान संग्रहालय परिसर के बीच एक महत्वपूर्ण समझौता ज्ञापन (MoU) भी संपन्न हुआ. मुख्यमंत्री ने कहा कि इन पहलों से बिहार में वैज्ञानिक शोध और शिक्षा को नई दिशा मिलेगी.
इंटर्नशिप पोर्टल और वर्चुअल रियलिटी थियेटर
कार्यक्रम में तारामंडल पटना में इंटर्नशिप पोर्टल का भी शुभारंभ किया गया. यह पोर्टल छात्रों को उद्योग और शोध संस्थानों से जोड़ने में मदद करेगा. इसके बाद मुख्यमंत्री ने 5.6 करोड़ रुपये की लागत से निर्मित वर्चुअल रियलिटी थियेटर का उद्घाटन किया. उन्होंने स्वयं थिएटर में बैठकर इसका अनुभव लिया और कहा कि यह थिएटर अत्यंत उत्कृष्ट है. यहां आने वाले विद्यार्थियों और आम जनता को विज्ञान के साथ-साथ नई तकनीक और विभिन्न क्षेत्रों की रोचक जानकारियां मिलेंगी.
होनहार छात्रों को सम्मान
समारोह में मुख्यमंत्री ने बिहार अभियंत्रण विश्वविद्यालय के इंजीनियरिंग पास-आउट छात्रों को डिग्री और पुरस्कार प्रदान किए. विशेष रूप से विश्वविद्यालय में सर्वोच्च स्थान प्राप्त करने वाले सुमन कुमार (मैकेनिकल इंजीनियरिंग, मोतिहारी कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग) को ₹50,001 का चेक, स्वर्ण पदक, लैपटॉप, प्रशस्ति पत्र और बी.टेक. की उपाधि दी गई. मुख्यमंत्री ने छात्रों की उपलब्धियों की सराहना करते हुए कहा कि ये युवा भविष्य में बिहार और देश का नाम रोशन करेंगे.
- सिविल इंजीनियरिंग में वैष्णवी प्रिया (बीसीई, भागलपुर),
- इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग में सलोनी कुमारी (जीईसी, नवादा),
- इलेक्ट्रॉनिक्स कम्युनिकेशन एंड इंजीनियरिंग में ऋतिक राज (बीसीई, भागलपुर),
- कंप्यूटर साइंस एंड इंजीनियरिंग में प्रमित कुमार (बीसीई, भागलपुर) और
- इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी में रानी कुमारी (एमआईटी, मुजफ्फरपुर) को लैपटॉप, स्वर्ण पदक, प्रशस्ति पत्र और उपाधि देकर सम्मानित किया गया।
गणमान्य लोगों की उपस्थिति
इस अवसर पर उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी, विज्ञान, प्रावैधिकी एवं तकनीकी शिक्षा मंत्री सुमित कुमार सिंह, शिक्षा मंत्री सुनील कुमार, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव दीपक कुमार, विकास आयुक्त डॉ. एस. सिद्धार्थ, विज्ञान विभाग की सचिव डॉ. प्रतिमा एस. वर्मा, मुख्यमंत्री के सचिव अनुपम कुमार एवं कुमार रवि, विशेष कार्य पदाधिकार गोपाल सिंह, पटना जिलाधिकारी डॉ. त्यागराजन एस.एम., वरीय पुलिस अधीक्षक कार्तिकेय के. शर्मा तथा बिहार अभियंत्रण विश्वविद्यालय के कुलपति एस.के. वर्मा सहित बड़ी संख्या में वरीय अधिकारी एवं छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे.
आज के इस आयोजन ने स्पष्ट कर दिया कि बिहार विज्ञान और तकनीकी शिक्षा के क्षेत्र में लगातार प्रगति की ओर बढ़ रहा है. वर्चुअल रियलिटी थियेटर, विज्ञान प्रदर्शनी बस, ऑब्जर्वेटरी डोम और नए शैक्षिक पाठ्यक्रम जैसी पहलें राज्य के छात्रों को वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धी बनाने में मदद करेंगी. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की यह पहल न केवल शिक्षा व्यवस्था को मजबूत बनाएगी, बल्कि आने वाली पीढ़ियों में वैज्ञानिक सोच को भी बढ़ावा देगी.
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