समाजवादी पार्टी की नजर में राहुल गांधी और प्रियंका के अलावा बाकी कांग्रेसी बेकार!

समाजवादी पार्टी की नजर में राहुल गांधी और प्रियंका के अलावा बाकी कांग्रेसी बेकार!

कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी और प्रियंका गांधी...

लखनऊ:

उत्तर प्रदेश में दो चरणों की वोटिंग हो चुकी है और पांच चरणों की वोटिंग बाकी है. इन चरणों के लिए पार्टियों को कद्दावर नेता रैलियों को संबोधित कर रहे हैं और ज्यादा से ज्यादा मतदाताओं को प्रभावित करने का प्रयास कर रहे हैं. छोटे कार्यकर्ता स्थानीय नेताओं के साथ जनसंपर्क के कार्यक्रमों में लगे हुए हैं और वोटरों को पार्टी नीतियां समझाने में लगे हुए हैं. जहां इस चुनाव में सत्ताधारी दल समाजवादी पार्टी और कांग्रेस का गठबंधन जीत के दावे कर रहा है, वहीं बीजेपी को इस बार मोदी लहर दिखाई दे रही है और वह भी सत्ता में वापसी की उम्मीद लिए बैठे हैं. इस चुनाव में तीसरी सबसे बड़ी ताकत बहुजन समाज पार्टी की दिखाई दे रही है जिसकी मुखिया मायावती रोज रैलियों को माध्यम से वोटरों को पार्टी के लिए वोट करने को कह रही है.

इस पूरे चुनावी माहौल के बीच सबसे आश्चर्य करने वाली बात यह दिखाई दे रही है कि कांग्रेस पार्टी की ओर से राहुल गांधी ही सबसे ज्यादा रैलियों को संबोधित कर रहे हैं. समाजवादी पार्टी से गठबंधन के बाद भी सपा नेताओं के लिए वोट मांगने के लिए सपा की ओर से किसी कांग्रेस नेता को बुलाया नहीं गया. सूत्रों का कहना है कि स्टार प्रचारकों में कांग्रेस पार्टी ने भले ही कई पार्टियों की सूची चुनाव आयोग को दी हो, लेकिन सहयोगी दल समाजवादी पार्टी के प्रत्याशियों की ओर से केवल राहुल गांधी, सोनिया गांधी और प्रियंका गांधी को चुनाव प्रचार के लिए मांगा गया है.

कांग्रेस पार्टी के सुत्रों का कहना है कि प्रियंका वाड्रा (गांधी) और सोनिया गांधी के चुनाव प्रचार को लेकर अभी कुछ तय नहीं है. वहीं कांग्रेस में दूसरी कतार के नेताओं के चुनाव प्रचार को लेकर समाजवादी पार्टी उत्साहित नहीं है. माना जा रहा है कि समाजवादी पार्टी के नेता इसलिए भी कांग्रेस पार्टी के नेताओं से दूरी बनाए हुए हैं क्योंकि कांग्रेस पार्टी के नेतृत्व में केंद्र में यूपीए कार्यकाल में कई घोटाले हुए थे. इस समय समाजवादी पार्टी कांग्रेस के दागी नेताओं से दूर रहना चाहती है.

माना जा रहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी संसद से लेकर चुनावी सभाओं में यूपीए सरकार के समय हुए घोटालों को निशाना बना रहे हैं और यहां तक की पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह भी निशाने पर हैं. इसलिए कांग्रेस के घोटालों का खामियाजा समाजवादी पार्टी के नेता नहीं भुगतना चाहते हैं. अभी तक यह देखा गया है कि राहुल गांधी के बाद कांग्रेस की ओर से राजबब्बर ही चुनाव प्रचार में ज्यादा सक्रिय हैं.

अभी तक यह भी देखा गया है कि समाजवादी पार्टी के नेता तो कांग्रेस उम्मीदवारों के लिए वोट मांग रहे हैं लेकिन कांग्रेस के उम्मीदवारों के लिए सिर्फ कांग्रेस नेता ही वोट मांग रहे हैं और सपा नेताओं ने उनकी जरूरत महसूस नहीं की है. कांग्रेस की ओर से फर्रुखाबाद में सलमान खुर्शीद और कानपुर में श्रीप्रकाश जायसवाल अपने उम्मीदवारों के लिए प्रचार कर रहे हैं. वहीं, सबसे आश्चर्य की बात तो यह है कि उत्तर प्रदेश में कांग्रेस के प्रभारी गुलाम नबी आजाद भी सपा उम्मीदवारों के लिए प्रचार नहीं कर रहे हैं. यह अलग बात है कि समाजवादी पार्टी की ओर प्रियंका गांधी को चुनाव प्रचार के लिए आग्रह किया गया था लेकिन प्रियंका गांधी अभी तक अपने तय कार्यक्रमों के हिसाब से वोट की अपील करने के लिए राज्य में नहीं गई है. इस असमंजस को लेकर  समाजवादी पार्टी के नेता नाराज बताए जा रहे है.

बता दें कि कांग्रेस में दूसरी कतार के नेताओं पी चिदंबरम, कपिल सिब्बल, अहमद पटेल, जयराम रमेश, आनंद शर्मा, शकील अहमद, शीला दीक्षित, सचिन पायलट, ज्योतिरादित्य सिंधिया, दिग्विजय सिंह, मनीष तिवारी जैसे नेताओं के प्रचार को लेकर सपा की तरफ से कोई मांग नहीं है.


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