Israel-Hamas War: इजरायल का गाजा पट्टी पर हमला लगातार जारी है. आसमान और समंदर से रॉकेट और मिसाइल दागे जा रहे हैं. इजरायल और उसे बार्डर के पास छिपे आतंकियों के खिलाफ इजरायल काउंटर टेरेरिस्ट ऑपरेशन लगभग खत्म कर चुका है. इसके बावजूद हमास भी अपनी जवाबी कार्रवाई करने से बाज नही आ रहा है. इजरायल के टैक और तोप भी गाजा पट्टी के सामने आ गये है. इजरायली सेना (Israeli army) के तीन लाख से ज्यादा जवान गाजा सीमा पर डटे हैं. जानकार बताते है कि इजरायल जब जमीन पर गाजा पट्टी में घुसेगी तो उसे असली चुनौती का सामना करना पड़ेगा .
गाजा पट्टी पर जमीनी कार्रवाई का सीधा मतलब है घर-घर जाकर तलाशी लेना और तंग गलियों और सड़कों पर लड़ाई लड़ना. यह बहुत ही मुश्किल काम है. यही वजह है कि अब तक इजरायल की जमीन फोर्स गाजा पट्टी में दाखिल नही हो पाई है. इजरायली एयरफोर्स के लड़ाकू विमान हमास के बुनियादी ढ़ांचे को तहस नहस करने में लगे हैं. लेकिन काम इतना आसान नही है... हमास ने गाजा पट्टी में बारुदी सुरंगों का जाल बिछा रखा है. सुरंगे कहां से शुरु होती हैं और कहां जाकर खत्म...इसका अंदाज हमास को छोड़कर औरकिसी को नही है.
हमास ने विस्फोटकों का जाल बिछा ऱखा है. हमास के पास रॉकेटों और मिसाइलों का जखीरा भी है. खबर है कि इन्ही सुरंगों में हमास ने करीब 200 लोगों को बंधक बना रखा है. ऐसे में अगर इजरायल ज़मीनी हमला करता है. तो उसे खासा नुकसान उठाना पड़ेगा. 2104 में गाजा पट्टी पर जमीनी हमले में इजरायल को खासा नुकसान उठाना पड़ा था. इस बार भी इजरायल को इस बात का एहसास है. उधर हमास को हिजबुल्लाह का साथ मिला है जो लेबनान से इजरायल की परेशानी बढ़ा रहा है. गाज़ा पट्टी पर हमलों में हो रहे भारी नुकसान की वजह से इज़रायल को दुनिया के एक बड़े तबके की तरफ से भारी विरोध का सामना करना पड़ रहा है.
सरहद पर उसके सामने हमास और हिज्बुल्ला हैं तो सरहद के उस तरफ कई देश हैं जो लगातार इज़रायल पर हमले रोकने का दबाव बना रहे हैं. यानि इजरायल एक साथ कई मोर्चों पर लड़ रहा है, वो भले ही अपने लिये हर मोर्च पर जीतना ज़रूरी मान रहा हो पर ये आसान काम नहीं है.
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