मुंबई हमलों के मास्टरमाइंड हाफिज सईद की फाइल फोटो
लाहौर:
जमात-उद-दावा के सरगना और मुंबई के हमले का मास्टरमाइंड हाफिज सईद ने आज कश्मीर मुद्दे पर इस्लामाबाद में एक मार्च का नेतृत्व किया और उसके संगठन ने पाकिस्तान के कई शहरों में रैलियां निकालीं।
पठानकोट की तर्ज पर और हमलों की चेतावनी देने के एक दिन बाद जेयूडी के लोगों ने लाहौर, फैसलाबाद, इस्लामाबाद, कराची, पेशावर और मुजफ्फराबाद शहरों में 'कश्मीर एकजुटता दिवस' के मौके पर रैलियां निकालीं। जेयूडी के सरगना ने इस्लामाबाद में रैली का नेतृत्व किया, जबकि उसके रिश्तेदार हाफिज अब्दुल रहमान मक्की ने लाहौर में अपने समर्थकों को संबोधित किया।
सत्तारूढ़ पीएमएल-एन, जमात-ए-इस्लामी और दूसरे राजनीतिक दलों एवं धार्मिक समूहों ने भी कश्मीरियों के प्रति एकजुटता प्रकट करते हुए रैलियां निकालीं। जेयूडी ने लाहौर में भी कई शिविरों का आयोजन किया जहां बड़े पर्दे लगाकर कश्मीर में होने वाले 'अत्याचारों' के बारे में वीडियो दिखाए गए।
इससे पहले गुरुवार को मीरपुर में 'एकजुटता कश्मीरी सम्मेलन' को संबोधित करते हुए सईद ने कहा था कि पाकिस्तान को कश्मीरी चरमपंथी नेता सैयद सलाहुद्दीन का आभारी होना चाहिए जो यूनाइटेड जिहाद काउंसिल (यूजेसी) का प्रमुख है। इसने दो जनवरी के पठानकोट वायुसेना ठिकाने पर हमले की जिम्मेदारी ली थी।
लश्कर-ए-तैयबा के संस्थापक ने कहा, 'सैयद सलाहुद्दीन पाकिस्तान का बड़ा शुभचिंतक है। उन्होंने पठानकोट वायु ठिकाने पर हमले की जिम्मेदारी स्वीकार करके पाकिस्तान को परेशानी से बाहर निकाला है। पाकिस्तान को उनका आभारी होना चाहिए।' सईद ने चेतावनी दी कि अगर कश्मीर में 'युद्ध' आगे चलता है तो इसकी भारत को भारी कीमत चुकानी पड़ेगी।
संयुक्त राष्ट्र ने जेयूडी को एक आतंकी संगठन घोषित कर रखा है और सईद को दिसंबर 2008 में एक आतंकवादी भी घोषित किया था। अमेरिका ने उसके सिर पर एक करोड़ डॉलर का ईनाम रखा हुआ है। उसने नवंबर 2008 के मुंबई हमलों की साजिश रची थी जिसमें 166 लोग मारे गए थे। पर, वह पाकिस्तान में खुला घूम रहा है।
पठानकोट की तर्ज पर और हमलों की चेतावनी देने के एक दिन बाद जेयूडी के लोगों ने लाहौर, फैसलाबाद, इस्लामाबाद, कराची, पेशावर और मुजफ्फराबाद शहरों में 'कश्मीर एकजुटता दिवस' के मौके पर रैलियां निकालीं। जेयूडी के सरगना ने इस्लामाबाद में रैली का नेतृत्व किया, जबकि उसके रिश्तेदार हाफिज अब्दुल रहमान मक्की ने लाहौर में अपने समर्थकों को संबोधित किया।
सत्तारूढ़ पीएमएल-एन, जमात-ए-इस्लामी और दूसरे राजनीतिक दलों एवं धार्मिक समूहों ने भी कश्मीरियों के प्रति एकजुटता प्रकट करते हुए रैलियां निकालीं। जेयूडी ने लाहौर में भी कई शिविरों का आयोजन किया जहां बड़े पर्दे लगाकर कश्मीर में होने वाले 'अत्याचारों' के बारे में वीडियो दिखाए गए।
इससे पहले गुरुवार को मीरपुर में 'एकजुटता कश्मीरी सम्मेलन' को संबोधित करते हुए सईद ने कहा था कि पाकिस्तान को कश्मीरी चरमपंथी नेता सैयद सलाहुद्दीन का आभारी होना चाहिए जो यूनाइटेड जिहाद काउंसिल (यूजेसी) का प्रमुख है। इसने दो जनवरी के पठानकोट वायुसेना ठिकाने पर हमले की जिम्मेदारी ली थी।
लश्कर-ए-तैयबा के संस्थापक ने कहा, 'सैयद सलाहुद्दीन पाकिस्तान का बड़ा शुभचिंतक है। उन्होंने पठानकोट वायु ठिकाने पर हमले की जिम्मेदारी स्वीकार करके पाकिस्तान को परेशानी से बाहर निकाला है। पाकिस्तान को उनका आभारी होना चाहिए।' सईद ने चेतावनी दी कि अगर कश्मीर में 'युद्ध' आगे चलता है तो इसकी भारत को भारी कीमत चुकानी पड़ेगी।
संयुक्त राष्ट्र ने जेयूडी को एक आतंकी संगठन घोषित कर रखा है और सईद को दिसंबर 2008 में एक आतंकवादी भी घोषित किया था। अमेरिका ने उसके सिर पर एक करोड़ डॉलर का ईनाम रखा हुआ है। उसने नवंबर 2008 के मुंबई हमलों की साजिश रची थी जिसमें 166 लोग मारे गए थे। पर, वह पाकिस्तान में खुला घूम रहा है।
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