स्वाति मालीवाल के साथ बदसलूकी मामले में कोर्ट द्वारा शनिवार को बिभव कुमार को पांच दिन की पुलिस रिमांड में भेज दिया गया है. सूत्रों के मुताबिक आरोपी बिभव कुमार पर पुलिस ने IPC की धारा 201 यानी सबूतों को नष्ट करने की धारा भी लगा सकती है. पुलिस को शक है कि बिभव ने जानबूझकर अपना मोबाइल फॉर्मेट किया है. मोबाइल फोन को फॉर्मेट किए जाने की टाइमिंग और उनके पासवर्ड न बताने को लेकर पुलिस सवाल उठा रही है.
इसके अलावा सीएम हाउस में लगे सीसीटीवी कैमरों की डीवीआर को हासिल करने के लिए पुलिस नियमित रूप से पीडब्लूडी से संपर्क कर रही है लेकिन उन्हें अभी तक इसमें कोई सहयोग नहीं मिला है. कहा जा रहा है कि सेलेक्टिव और एडिटेड सीसीटीवी फुटेज और मोबाइल फोन की वीडियो को वायरल किया जा रहा है. साथ ही पुलिस मामले में अन्य लोगों की भूमिका की भी जांच कर रही है.
पुलिस ने ऐसे बिभव कुमार को किया गिरफ्तार
पुलिस को एक शख्स द्वारा बिभव कुमार के सीएम हाउस में होने की जानकारी प्राप्त हुई थी. जानकारी मिलते ही दिल्ली पुलिस ने तुरंत उत्तरी दिल्ली पुलिस की स्पेशल टीम को सीएम हाउस पहुंचने के लिए कहा. उत्तरी जिले की महिला आईपीएस अफसर और एडिशनल डीसीपी सिविल लाइंस के एसएचओ के साथ सीएम हाउस पहुंची.
पुलिस के अंदर पहुंचते ही बिभव खुद ही अपने कमरे से बाहर निकल कर आ गया और उसके बाद पुलिस ने बिभव को गिरफ्तार कर लिया. उस वक्त वहां राघव चड्ढा और संजीव झां भी मौजूद थे लेकिन किसी ने पुलिस की कार्रवाई का विरोध नहीं किया. इसके बाद पुलिस बिभव को पकड़कर एसएचओ सिविल लाइंस पर सीएम हाउस के पीछे के गेट से निकलकर उन्हें थाने ले गई. जानकारी के मुताबिक पुलिस यह पता लगा रही है कि आखिर शनिवार को बिभव किस काम से सीएम हाउस गया था. स्वाति मालीवाल की शिकायत के बाद बिभव, सीएम केजरीवाल के साथ लखनऊ, अमृतसर और मुंबई होते हुए लखनऊ आया था.
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