सुप्रीम कोर्ट के वकील शशांक शेखर झा और विशाल तिवारी ने जनहित याचिका दाखिल की है.
पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद में हिंसा मामले में सुप्रीम कोर्ट में दो याचिकाएं दाखिल की गई हैं. सुप्रीम कोर्ट मुर्शिदाबाद हिंसा को लेकर इन याचिकाओं पर 21 अप्रैल को सुनवाई करेगा. जस्टिस सूर्यकांत और जस्टिस एन कोटेश्वर सिंह की बेंच सुनवाई करेगी. मुर्शिदाबाद हिंसा में तीन लोगों की मौत हो गई थी और कई लोग घायल हुए हैं. साथ ही इस मामले ने राजनीतिक रूप से भी तूल पकड़ लिया है.
मुर्शिदाबाद हिंसा की अदालत की निगरानी में जांच की मांग को लेकर सुप्रीम कोर्ट में जनहित याचिका दाखिल की गई है.
याचिकाओं में क्या है?
एक याचिका में मांग की गई थी कि सुप्रीम कोर्ट के रिटायर्ड जज की निगरानी में एक एसआईटी के तहत मामले की जांच हो.
वहीं दूसरी याचिका में मांग की गई कि सुप्रीम कोर्ट के रिटायर्ड जज की निगरानी में पांच सदस्यों का एक न्यायिक आयोग बनाया जाए और मामले की जांच की जाए. इसके अलावा पश्चिम बंगाल सरकार से स्टेटस रिपोर्ट मांगी जाए और वहां पर कानून-व्यवस्था की स्थिति में विफलता के लिए पश्चिम बंगाल सरकार से स्पष्टीकरण मांगने की भी मांग की गई है.
सुप्रीम कोर्ट के वकील शशांक शेखर झा और विशाल तिवारी ने जनहित याचिका दाखिल की है.
3 की मौत, 274 से अधिक गिरफ्तार
वक्फ (संशोधन) अधिनियम के खिलाफ 11 और 12 अप्रैल को मुर्शिदाबाद के शमशेरगंज, सुती, धुलियान और जंगीपुर सहित अन्य इलाकों में हिंसा भड़क उठी थी. इस हिंसा में पिता-पुत्र समेत कम से कम तीन लोगों की मौत हो गई थी और कई अन्य घायल हुए थे.
साथ ही करीब 400 लोग धुलियान, शमशेरगंज स्थित अपना घर-बार छोड़कर मालदा के वैष्णवनगर चले गए थे. इनमें ज्यादातर महिलाएं और बच्चे थे.
इसके बाद इस सिलसिले में 274 से अधिक लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है.
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