इंदौर (मध्यप्रदेश): केंद्रीय आवासन और शहरी कार्य विभाग के एक अधिकारी ने बृहस्पतिवार को कहा कि मौजूदा शहरों के संसाधनों पर आबादी के बढ़ते बोझ के मद्देनजर सरकार आठ नये नगर बसाने की योजना पर विचार कर रही है. विभाग की जी 20 इकाई के निदेशक एमबी सिंह ने इंदौर में 'अर्बन 20' (यू20) की एक बैठक के इतर ‘‘पीटीआई-भाषा'' को बताया,‘‘15 वें वित्त आयोग की एक रिपोर्ट में देश में नये शहर विकसित किए जाने की अनुशंसा की गई थी. इसके बाद राज्यों ने 26 नये शहर विकसित किए जाने के प्रस्ताव केंद्र सरकार को भेजे हैं और छंटनी के बाद इनमें से आठ नये शहर बसाए जाने पर विचार किया जा रहा है.''
उन्होंने बताया कि योजना के परीक्षण के बाद सरकार नये शहरों से संबंधित स्थानों और इन्हें विकसित किए जाने की समयसीमा के बारे में विधिवत घोषणा करेगी. सिंह ने कहा,‘‘हमें देश में नये नगर बसाने ही होंगे क्योंकि मौजूदा शहर नागरिकों की जरूरतों का बोझ नहीं उठा पा रहे हैं. मौजूदा शहरों के बाहरी हिस्सों में बेतरतीब विस्तार से इन शहरों का मूल नियोजन प्रभावित हो रहा है.'
उन्होंने कहा कि हर नया शहर बसाए जाने के बाद इसके कम से कम 200 किलोमीटर के दायरे में सामाजिक और आर्थिक गतिविधियां बढ़ेंगी. सिंह ने कहा कि नये शहर बसाए जाने के संबंध में वित्तीय खाका अभी तय नहीं किया गया है, लेकिन इस परियोजना के वित्तपोषण में बड़ा हिस्सा केंद्र सरकार का ही रहेगा.
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