आप के विधायकों पर सिविल लाइंस थाने में बीएनएस की कई धारओं के तहत केस दर्ज किया गया है. शनिवार को बस मार्शल के मुद्दे पर सिविल लाइंस थाने में हाइ वोल्टेज ड्रामा हुआ था और इस दौरान बीजेपी विधायक विजेंद्र गुप्ता का रास्ता रोका गया था. दिल्ली सरकार की कैबिनेट ने शनिवार को दिल्ली के मार्शल की बहाली को लेकर कैबिनेट से प्रस्ताव मंजूर किया था.
इस प्रस्ताव को लेकर दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी समेत तमाम विधायक उपराज्यपाल के घर जा रहे थे. तभी आतिशी बीजेपी विधायक विजेंद्र गुप्ता की गाड़ी में जबरन जाकर बैठ गईं. आम आदमी पार्टी के अन्य विधायक और मंत्री भी विजेंद्र गुप्ता का रास्ता रोकने लगे और उन्हें एलजी हाउज जाने के लिए बोलते रहे. इस दौरान आम आदमी पार्टी के नेताओं ने विजेंद्र गुप्ता का कई बार रास्ता रोका.
इसके बाद अब पुलिस मामले की जांच कर रही है.
क्या है पूरा मामला?
दरअसल, दिल्ली ट्रांसपोर्ट कॉर्पोरेशन (DTC) के 10 हजार बस मार्शल की बहाली और उन्हें परमानेंट करने की मांग को लेकर शनिवार को दिल्ली सचिवालय में हाई वोल्टेज ड्रामा हुआ था. जानकारी के मुताबिक बीजेपी विधायकों ने इस मामले को लेकर सीएम आतिशी से मुलाकात की थी और इसके बाद सीएम ने इमरजेंसी मीटिंग बुलाई थी और डीटीसी बस मार्शलों को रेगुलराइज करने और रेजोल्यूशन किया था. इसके बाद आप के विधायकों ने बीजेपी विधायकों को एलजी वीके सक्सेना के दस्तावेज कराने के लिए एलजी ऑफिस चलने के लिए कहा था लेकिन सचिवालय के बाहर विपक्ष नेता विजेंद्र गुप्ता आनाकानी करने लगे थे. इसी को लेकर AAP और BJP विधायकों के बीच हाइवोल्टेज ड्रामा शुरू हो गया. यहां तक कि दिल्ली सरकार में स्वास्थ्य मंत्री सौरभ भारद्वाज ने विजेंद्र गुप्ता के पैर तक पकड़ लिए थे.
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं