मोहम्‍मद ज़ुबैर मामले में HC ने दिल्ली पुलिस को नोटिस जारी किया

सुनवाई के दौरान वृंदा ग्रोवर ने पूछताछ के तरीके पर सवाल उठाए. उन्‍होंने कहा कि उनके मुवक्किल को रात को 10 बजे ड्यूटी मजिस्ट्रेट के यहां पेश किया गया.

नई दिल्‍ली :

दिल्ली पुलिस को मोहम्‍मद ज़ुबैर मामले में दिल्ली हाई कोर्ट ने नोटिस जारी किया है. दिल्ली पुलिस को दो हफ़्ते में जवाब दाखिल करना होगा फिर एक हफ्ते में ज़ुबैर को दिल्ली पुलिस के जवाब पर रेजॉइंडर देना होगा. मामले की अगली सुनवाई 27 जुलाई को होगी. गौरतलब है कि गिरफ्तारी के मामले में मोहम्‍मद जुबैर (Mohammed Zubair)ने पुलिस रिमांड को दिल्‍ली हाईकोर्ट (Delhi High Court)में चुनौती दी है. ऑल्ट न्यूज के को-फाउंडर ज़ुबैर की ओर से मामले में वरिष्‍ठ वकील वृंदा ग्रोवर ने पक्ष रखा. कोर्ट ने कहा, "जब कल आपकी पुलिस रिमांड कल ख़त्म हो रही है तो ऐसे में इस मामले में सुनने से कोई खास फायदा नहीं होगा. ये कोई बेल का मामला नहीं है, इस मामले की शेल्फ लाइफ बहुत छोटी होगी. आप उचित कोर्ट में मामले रखें कल जब कोर्ट में पेशी होगी."

वृंदा ने अपने मुवक्किल की ओर से सवाल किया, "क्या मेरा पासपोर्ट, मोबाइल, मेरा लैपटॉप ज़ब्त किया जा सकता है? मेरा ट्वीट तो ट्विटर के सर्वर पर है. मैंने तो फ़ोन से ट्वीट किया था तो मेरा लैपटॉप से क्यों ज़ब्त किया?  रिमांड आर्डर में भी लिखा है कि लैपटॉप ज़ब्त कर सकते हैं. मैं एक पत्रकार हूं, वो मेरे लैपटॉप में क्या ढूंढ़ रहे हैं?" सुनवाई के दौरान वृंदा ग्रोवर ने पूछताछ के तरीके पर सवाल उठाए. उन्‍होंने कहा कि उनके मुवक्किल को रात को 10 बजे ड्यूटी मजिस्ट्रेट के यहां पेश किया गया. उसे कभी रिमांड एप्लीकेशन नहीं दी. दिल्‍ली पुलिस की ओर से सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने ऑनलाइन पक्ष रखा.

वृंदा ग्रोवर ने कहा, "हनुमान भक्त नाम के ट्विटर यूजर ने पहला ही ट्वीट इस शिकायत के साथ किया. उस समय इसका केवल 1 फॉलोवर था.  इस ट्वीट को उठाने के लिए अलग तरीके के मॉनिटरिंग चाहिए.  क्या कोर्ट ने इस बात को देखा कि पहली नज़र में कोई मामला बनता भी है?"  इस पर कोर्ट ने कहा- रिमांड कल खत्म हो सकती है तो वृंदा ने कहा-आप नोटिस जारी कर दें.  सुनवाई के दौरान तुषार मेहता ने कहा कि पता नहीं लैपटॉप को लेकर क्या चिंता है तोवृंदा- मैं सरकार को अपनी प्राइवेसी में दखल नहीं देने दूंगी. मेरे पास छिपाने को कुछ नहीं है. दिल्‍ली पुलिस की ओर से पेश हुए सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने इस पर कहा कि पुलिस कोई पक्षपात नहीं कर रही.  FIR दर्ज हुई है और कुछ डाक्यूमेंट्स मिले हैं.  जांच शुरू की है.  केवल इस ट्वीट के मामले नहीं बल्कि इस तरह के ट्वीट्स का मामला है.  रिकॉर्ड बताते हैं कि केवल ये 4 ट्वीट्स नहीं, कुछ और भी मिला है." हाईकोर्ट ने पूछा क्या पुलिस रिमांड बढ़ाने के लिए कहेगी तो SG ने कहा, "ये मेरे लिए अनुमान लगाने वाली बात है. ये पुलिस ही तय करेगी क्योंकि जांच चल रही है. तुषार मेहता ने कहा कि अगर नोटिस जारी करेंगे तो मैं नोटिस का जवाब दूंगा. कोई दिक्कत नहीं. जस्टिस नरूला ने कहा मैं इस मामले में नोटिस जारी करने का इच्छुक हूं. 

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