कोविड-19 को फैलने से रोकने के लिए लगाये गये 21 दिन के राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन के मद्देनजर हरियाणा सरकार ने राज्य में प्रवासी मजदूरों और बेघर लोगों के लिए अस्थायी सामुदायिक आश्रयगृहों में रहने और खाने-पीने का प्रबंध करने का फैसला लिया है. राज्य के राजस्व एवं आपदा प्रबंधन विभाग के प्रवक्ता ने शुक्रवार को यहां कहा कि इन अस्थायी आश्रय गृहों में बैठने की व्यवस्था एक दूसरे से दूरी बनाकर रखने के नियमों के अनुसार की जाएगी और उसका कड़ाई से पालन किया जाएगा. उन्होंने कहा कि संबंधित जिला प्रशासन इन अस्थायी सामुदायिक आश्रय गृहों में उनके ठहरने का इंतजाम करेंगे तथा उन्हें वहां भोजन एवं दवाइयां जैसी जरूरी चीजें भी उपलब्ध करायी जाएंगी.
कोरोनावायरस: तो क्या ट्रेन की स्लीपर बोगियों को बनाया जाएगा आइसोलेशन सेंटर?
प्रवक्ता ने कहा कि फैक्टरी श्रमिकों, निर्माण मजदूरों, ईंट भट्ठों के मजदूरों, रेहड़ीवालों, दिहाड़ी जीविकोपार्जकों, रिक्शाचालकों जैसे प्रवासी मजूदरों की आवाजाही रोकने और उन्हें ऐसे आश्रयगृहों में ठहराने के लिए निर्देश जारी किये गये हैं. उन्होंने कहा कि ऐसे मजदूरों को सामुदायिक केंद्रों, बारातघरों, पंचायत घरों, विद्यालयों, कॉलेजों आदि में ठहराय जाए जहां शौचालय एवं पेयजल का उपयुक्त इंतजाम है.
Video: लॉकडाउन के बीच लोगों की मदद के लिए आगे आए राजनेता
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं