भूपेश बघेल होंगे छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री
नई दिल्ली:
छत्तीसगढ़ के सीएम के नाम पर पिछले कई दिनों से जारी सस्पेंस अब खत्म हो गया है और भूपेश बघेल छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री होंगे. कांग्रेस ने रविवार को आधिकारिक तौर पर ऐलान कर दिया कि छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष भूपेश बघेल (Bhupesh Baghel) की राज्य के मुख्यमंत्री होंगे. भूपेश बघेल बतौर सीएम सोमवार शाम करीब पांच बजे मुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे. बघेल को विधायक दल का भी नेता चुना गया है.. मुख्यमंत्री की रेस में बघेल के अलावा टीएस सिंहदेव, ताम्रध्वज साहू और चरण दास महंत थे.
रविवार दोपहर विधायक दल की बैठक में बघेल के नाम पर मुहर लगाई गई. राज्य में पार्टी ने 15 साल बाद दो तिहाई बहुमत के साथ दोबारा सत्ता हासिल की है. बता दें, छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को 90 सदस्यीय विधानसभा में 68 सीटें हासिल हुई हैं.
जानिए कौन हैं भूपेश बघेल, जिन्हें कांग्रेस ने बनाया छत्तीसगढ़ का मुख्यमंत्री
रमन सिंह को हराना कांग्रेस के लिए जितना आसान रहा उतना ही राज्य के नए मुखिया के चुनाव में मुश्किलों का सामना करना पड़ा. 11 दिसंबर को मतों की गिनती के बाद 12 तारीख को रायपुर के एक होटल में नव निर्वाचित विधायक दल की बैठक की गई. इस बैठक में अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के पर्यवेक्षक मल्लिकार्जुन खड़गे, छत्तीसगढ़ प्रभारी पीएल पुनिया, प्रभारी सचिव चंदन यादव और अरुण उरांव मौजूद थे. इस दौरान कांग्रेस के पर्यवेक्षक मालिकार्जुन खड़गे ने बताया की कांग्रेस विधायकों ने प्रस्ताव पास किया है कि राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी जिसे भी विधायक दल का नेता चुनेंगे हमें स्वीकार होगा. हालांकि, विधायकों से रायशुमारी भी ली गई.
कौन हैं भूपेश बघेल:
छत्तीसगढ़ में भूपेश बघेल ही प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष हैं. भूपेश बघेल का जन्म 23 अगस्त 1961 को छत्तीसगढ़ के दुर्ग जिले के पाटन तहसील में हुआ है. कुर्मियों में अच्छा जनाधार माना जाता है. 1985 से कांग्रेस से जुड़कर राजनीति कर रहे हैं. पहली बार 1993 में विधायक बने थे. मध्य प्रदेश की दिग्विजय सिंह सरकार में कैबिनेट मंत्री भी रह चुके हैं. वर्ष 2000 में जोगी सरकार में भी कैबिनेट मंत्री रहे. बघेल की दावेदारी इसलिए भी मजबूत बताई जा रही, क्योंकि उन्होंने इस बार विधानसभा चुनाव में संगठन में गुटबाजी को काफी कम करने में अहम भूमिका निभाई और ये ओबीसी जाति से आते हैं. राज्य का एक धड़ा उन्हें सीएम के रूप में देखना चाहता है. हालांकि पिछले साल बीजेपी सरकार के एक मंत्री की कथित सेक्स सीडी सामने आई थी. इस मामले में कथित कनेक्शन होने के आरोप में उनकी गिरफ्तारी भी हो चुकी है.
दरअसल, राज्य के नए मुख्यमंत्री के लिए नेता प्रतिपक्ष टीएस सिंहदेव, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष भूपेश बघेल, अन्य पिछड़ा वर्ग के प्रमुख नेता और दुर्ग लोकसभा सीट से सांसद ताम्रध्वज साहू और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता चरणदास महंत को प्रमुख दावेदार माना जा रहा था.
ये भी थे दावेदार:
ताम्रध्वज साहू (Tamradhwaj Sahu)
ताम्रध्वज साहू कांग्रेस के सांसद हैं. वह पार्टी में ओबीसी चेहरे के तौर पर देखे जाते हैं. दुर्ग ग्रामीण सीट से साहू इस को मुख्यमंत्री पद का दावेदार माना जा रहा है.
चरण दास महंत (charan das mahant)
चरणदास महंत सक्ती विधानसभा सीट से जीत तय है. मुख्यमंत्री पद के दावेदारों में से एक हैं.
त्रिभुनेश्वर शरण सिंहदेव (TS Singhdeo)
मौजूदा विधानसभा चुनाव में विपक्ष के नेता हैं. टीएस बाबा के नाम से जाने जाते हैं. सरगुजा के राज परिवार से संबंध रखते हैं.
रविवार दोपहर विधायक दल की बैठक में बघेल के नाम पर मुहर लगाई गई. राज्य में पार्टी ने 15 साल बाद दो तिहाई बहुमत के साथ दोबारा सत्ता हासिल की है. बता दें, छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को 90 सदस्यीय विधानसभा में 68 सीटें हासिल हुई हैं.
जानिए कौन हैं भूपेश बघेल, जिन्हें कांग्रेस ने बनाया छत्तीसगढ़ का मुख्यमंत्री
रमन सिंह को हराना कांग्रेस के लिए जितना आसान रहा उतना ही राज्य के नए मुखिया के चुनाव में मुश्किलों का सामना करना पड़ा. 11 दिसंबर को मतों की गिनती के बाद 12 तारीख को रायपुर के एक होटल में नव निर्वाचित विधायक दल की बैठक की गई. इस बैठक में अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के पर्यवेक्षक मल्लिकार्जुन खड़गे, छत्तीसगढ़ प्रभारी पीएल पुनिया, प्रभारी सचिव चंदन यादव और अरुण उरांव मौजूद थे. इस दौरान कांग्रेस के पर्यवेक्षक मालिकार्जुन खड़गे ने बताया की कांग्रेस विधायकों ने प्रस्ताव पास किया है कि राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी जिसे भी विधायक दल का नेता चुनेंगे हमें स्वीकार होगा. हालांकि, विधायकों से रायशुमारी भी ली गई.
कौन हैं भूपेश बघेल:
छत्तीसगढ़ में भूपेश बघेल ही प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष हैं. भूपेश बघेल का जन्म 23 अगस्त 1961 को छत्तीसगढ़ के दुर्ग जिले के पाटन तहसील में हुआ है. कुर्मियों में अच्छा जनाधार माना जाता है. 1985 से कांग्रेस से जुड़कर राजनीति कर रहे हैं. पहली बार 1993 में विधायक बने थे. मध्य प्रदेश की दिग्विजय सिंह सरकार में कैबिनेट मंत्री भी रह चुके हैं. वर्ष 2000 में जोगी सरकार में भी कैबिनेट मंत्री रहे. बघेल की दावेदारी इसलिए भी मजबूत बताई जा रही, क्योंकि उन्होंने इस बार विधानसभा चुनाव में संगठन में गुटबाजी को काफी कम करने में अहम भूमिका निभाई और ये ओबीसी जाति से आते हैं. राज्य का एक धड़ा उन्हें सीएम के रूप में देखना चाहता है. हालांकि पिछले साल बीजेपी सरकार के एक मंत्री की कथित सेक्स सीडी सामने आई थी. इस मामले में कथित कनेक्शन होने के आरोप में उनकी गिरफ्तारी भी हो चुकी है.
दरअसल, राज्य के नए मुख्यमंत्री के लिए नेता प्रतिपक्ष टीएस सिंहदेव, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष भूपेश बघेल, अन्य पिछड़ा वर्ग के प्रमुख नेता और दुर्ग लोकसभा सीट से सांसद ताम्रध्वज साहू और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता चरणदास महंत को प्रमुख दावेदार माना जा रहा था.
ये भी थे दावेदार:
ताम्रध्वज साहू (Tamradhwaj Sahu)
ताम्रध्वज साहू कांग्रेस के सांसद हैं. वह पार्टी में ओबीसी चेहरे के तौर पर देखे जाते हैं. दुर्ग ग्रामीण सीट से साहू इस को मुख्यमंत्री पद का दावेदार माना जा रहा है.
चरण दास महंत (charan das mahant)
चरणदास महंत सक्ती विधानसभा सीट से जीत तय है. मुख्यमंत्री पद के दावेदारों में से एक हैं.
त्रिभुनेश्वर शरण सिंहदेव (TS Singhdeo)
मौजूदा विधानसभा चुनाव में विपक्ष के नेता हैं. टीएस बाबा के नाम से जाने जाते हैं. सरगुजा के राज परिवार से संबंध रखते हैं.
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