असम-मेघालय सीमा पर हिंसा से निपटने के लिए असम पुलिस की आलोचना करते हुए मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने बुधवार को कहा कि उसने 'अकारण, अनियंत्रित और मनमाने' तरीके से बल प्रयोग किया. मुख्यमंत्री सरमा के पास गृह विभाग भी है. उन्होंने यह भी कहा कि असम-मेघालय सीमा पर शांति है और हाल ही में अंतरराज्यीय सीमा पर स्थानीय लोगों और वन रक्षकों के बीच झड़पें हुई थीं.
मुख्यमंत्री हिमंत बिश्व सरमा ने यहां एक कार्यक्रम से इतर संवाददाताओं से कहा, ‘‘ मुझे महसूस होता है कि उस हद तक पुलिस को गोलियां चलाने की कोई जरूरत नहीं थी. कुछ हद तक गोलीबारी अकारण थी. पुलिस नियंत्रित तरीके से काम कर सकती थी.'
सरमा ने कहा कि पुलिस के अनुसार झड़प के दौरान बचाव में बल प्रयोग किया गया था. उन्होंने कहा, ‘‘... हालांकि, मेरे विचार से, यह कुछ हद तक मनमाने ढंग से किया गया। ऐसा नहीं होना चाहिए था.' असम-मेघालय सीमा पर वेस्ट कार्बी आंगलोग जिले में कथित तौर पर अवैध लकड़ी ले जा रहे एक ट्रक को मंगलवार तड़के असम के वनकर्मियों द्वारा रोकने के बाद हिंसा भड़क गई थी. हिंसा में एक वन कर्मी सहित 6 लोगों की मौत हो गई.
सरमा ने कहा कि असम सरकार 'पूरी ईमानदारी' से अपना काम करने की कोशिश कर रही है. पहले ही पश्चिम कार्बी आंगलोंग जिले के पुलिस अधीक्षक का तबादला कर दिया गया है. वहीं, कुछ अन्य अधिकारियों को निलंबित कर दिया गया है. उन्होंने कहा कि असम सरकार ने न्यायिक जांच का आदेश दिया है और केंद्र से केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) या राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) जांच कराने का आग्रह किया है।
सरमा ने कहा, 'हमने इसे प्रतिष्ठा के विषय के रूप में नहीं लिया है. अगर असम पुलिस के कर्मियों की गलती थी, तो वे भी जांच के दायरे में आएंगे.' उन्होंने कहा कि यह घटना पूर्वोत्तर के दोनों राज्यों के बीच लंबे समय से चले आ रहे सीमा विवाद से संबंधित नहीं है. उन्होंने कहा, ‘‘मैं मेघालय के मुख्यमंत्री के संपर्क में हूं... असम-मेघालय सीमा शांतिपूर्ण है और हमेशा शांतिपूर्ण रही है.'
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