Harmful effects of mosquito vaporizer: मच्छर से बचने के लिए आजकल लगभग हर घर में मॉस्किटो वेपोराइजर का इस्तेमाल किया जाता है. लिक्विड वेपोराइजर लगाकर हम तो मच्छरों से निश्चिंत हो जाते हैं, लेकिन इन पाए जाने वाले खतरनाक केमिकल्स हमारी सेहत के लिए काफी नुकसानदायक होता है. कई स्टडी में लिक्विड मॉस्किटो वेपोराइजर के चलते सेहत से जुड़ी चिंताओं पर अध्ययन किया गया है. इन्हीं अध्ययनों के आधार पर आज हम आपको वेपोराइजर में मौजूद कुछ खतरनाक केमिकल्स और इनसे सेहत पर पड़ने वाले दुष्प्रभावों के बारे में बताने जा रहे हैं.
लिक्विड वेपोराइजर में कौन से केमिकल्स मौजूद होत हैं | Which chemical is used in mosquito repellent?
1. ट्रांसफ्लूथरिन - यह प्लांट बेस्ड कीटनाशक है जो गुलदाउदी फूल से बनाया जाता है. इस केमिकल से एंग्जाइटी, रेस्पिरेट्री प्रॉब्लम्स, स्नीजिंग, रनी नोज और स्किन एलर्जी जैसी समस्याएं देखी जाती है. यह केमिकल स्किन और सांस के जरिए शरीर में प्रवेश करता है. यूएसईपीए ने इसे कैटेगरी 2 कार्सोजिन के लिस्ट में शामिल किया है. इस केमिकल की वजह से गर्भ में पल रहे बच्चे के ब्रेन में डिफेक्ट आ सकता है साथ ही छोटे बच्चों का इम्यून सिस्टम प्रभावित होता है. पालतू जानवरों के लिए यह केमिकल परेशान करने वाला होता है.
2. ब्यूटाइलेटेड हाइड्रॉक्सी टोलुइन - यह एक सिंथेटिक एंटी-ऑक्सीडेंट है जिससे एंडोक्राइन सिस्टम से संबंधित गंभीर समस्याएं उत्पन्न हो सकती है. कई स्टडीज के मुताबिक, ब्यूटाइलेटेड हाइड्रॉक्सीटोल्यूइन को सेहत के लिए नुकसानदायक नहीं मानने से पहले और रिसर्च की जरूरत है.
3. कई सुगंध रसायनों का मिश्रण - लिक्विड मॉस्किटो वेपोराइजर में कई तरह के सुगंधित केमिकल्स के मिश्रण का प्रयोग किया जाता है जो हमारी सेहत को प्रभावित कर सकते हैं. वेपेराइजर्स में आमतौर पर बेंजिल एसीटल, सिट्रोनेलोल और डाइमिथाइल ऑक्टाडाइन जैसे केमिकल्स का उपयोग किया जाता है जो स्किन एलर्जी के साथ-साथ फेफड़ों को भी नुकसान पहुंचा सकता है.
4. गंधहीन केरोसिन - लिक्विड वेपोराइजर में करीब 96 प्रतिशत गंधहीन केरोसिन का इस्तेमाल किया जाता है. सीडीसी के मुताबिक, गंधहीन केरोसिन से सिर दर्द, एनोरेक्सिया, एकाग्रता में कमी और एडिक्शन जैसी समस्याएं उत्पन्न कर सकता है. वेपोराइजर को ऑन करने के बाद दरवाजे और खिड़कियों को बंद कर लेने से यह आपकी सेहत के लिए ज्यादा नुकसानदायक साबित हो सकते हैं.
लिक्विड वेपोराइजर में मौजूद केमिकल्स के नुकसान | Side effects of electric mosquito repellent
- मच्छरों को भगाने के लिए हम अक्सर खिड़कियों और दरवाजे को बंद कर के ही लिक्विड मॉस्किटो वेपोराइजर को ऑन करते हैं. लंबे समय में यह सेहत के लिए काफी नुकसानदायक साबित हो सकता है.
- लिक्विड वेपराइजर में इस्तेमाल किए जाने वाले इन सभी केमिकल्स के खिलाफ कोई भी एंटीडोट मौजूद नहीं है. इसीलिए वेपराइजर के इस्तेमाल को लेकर सावधान रहना जरूरी है.
- इसमें मौजूद केमिकल्स गर्भवती महिला, बच्चे, उम्रदराज लोग और पालतू जानवरों के लिए खासतौर पर नुकसानदायक होता है.
- इसके कैमिकल्स का बड़े पैमाने पर सेवन गंभीर बीमारियों का कारण बन सकता है. इससे आपको सिरदर्द, आंखों में एलर्जी, जलन, चक्कर, मतली और उल्टी जैसी समस्याएं हो सकती हैं. इसलिए इसे अधिक मात्रा में जलाने से बचें.
मच्छर मारने वाली लिक्विड को कितने घंटे जलाना चाहिए?
आपको इसे 2 से 3 घंटे पहले जलाना चाहिए, लेकिन सोने के समय नहीं। सही तरीका यह है कि सोने से पहले कमरे में इसे 2 से 3 घंटे के लिए ऑन कर दें, जिससे मच्छर मर जाएंगे. फिर जब आप सोने जाएं, तो इसे बंद कर दें और आराम से सोएं. इसे दिन-रात जलाने से बचें, और सोते समय इसे जलाने की कोशिश न करें.
मच्छरों को भगाने के 7 प्राकृतिक उपाय
- नीम का तेल: नीम के तेल को अपनी त्वचा पर लगाएं या इसे कमरे में फैलाएं. मच्छर इससे दूर रहते हैं.
- लैवेंडर: लैवेंडर के तेल का प्रयोग करें या लैवेंडर की पौध लगाएं. इसका सुगंध मच्छरों को दूर भगाने में मदद करता है.
- सरसों का तेल: सरसों के तेल को अपने शरीर पर लगाना भी मच्छरों को भगाने में मददगार होता है.
- अदरक और लहसुन: अदरक और लहसुन का पेस्ट बनाकर उसे कमरे में रखें. इसकी गंध मच्छरों को दूर करती है.
- नींबू और लौंग: एक नींबू को दो हिस्सों में काटें और उसमें लौंग डालकर कमरे में रखें. यह मच्छरों को दूर रखता है.
- तुलसी: तुलसी की पौध लगाएं या तुलसी की पत्तियों को अपने कमरे में रखें. इसकी सुगंध मच्छरों को दूर रखती है.
- पुदीना: पुदीने की पत्तियों का उपयोग करें. इसकी गंध मच्छरों को आकर्षित नहीं करती.
(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)
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