- पिछले दो साल से विराट के बल्ले से शतक नहीं आया
- विराट कोहली ने खेली बेहद धीमी पारी
- 2012 में लगाया था सबसे धीमा अर्धशतक
टेस्ट क्रिकेट अच्छे से अच्छे बल्लेबाज को भी दबाव में ला देता है चाहे फिर वो विराट कोहली ही क्यों ना हो. भारत और साउथ अफ्रीका के बीच केपटाउन (Slowest Test) में जारी तीसरे और निर्णायक टेस्ट मैच में कप्तान विराट कोहली (Virat Kohli) एक अलग ही अंदाज में नजर आए. पिछले दो साल से शतक ना लगा पाने के अपने दाग को धोने के लिए विराट कोहली ने तीसरे टेस्ट की पहली पारी में बड़ी ही सतर्रकता से साथ बल्लेबाजी की. यह उनके करियर की दूसरी सबसे स्लो हॉफ सेंचुरी रही.
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केपटाउन में जारी तीसरे टेस्ट की पहली पारी में विराट कोहली ने कप्तानी पारी खेली हैं. उन्होंने कुल 201 गेंदों का सामना करते हुए 79 रन बनाए हैं. अपने अर्धशतक में विराट ने आज 158 गेंदों का सामाना किया. इससे पहले उन्होंने सबसे स्लो अर्धशतक 2012-13 में नागपुर में इंग्लैंड के खिलाफ लगाया था जिसमें विराट ने 171 गेंदों का सामना किया था. भारत के टेस्ट कप्तान विराट कोहली ने केपटाउन के न्यूलैंड्स में श्रृंखला के निर्णायक तीसरे टेस्ट मैच के पहले दिन दक्षिण अफ्रीकी तेज गेंदबाजों का मुकाबला करते हुए धैर्य और अनुशासन दिखाया और इस प्रक्रिया में अपना दूसरा सबसे धीमा टेस्ट अर्धशतक बनाया.
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कोहली, जो पीठ की ऐंठन से उबरने के बाद निर्णायक के लिए टीम में लौटे विराट आज अपने स्वाभाविक आक्रमण वाली प्रवृत्ति में नहीं दिखे. भारत के सलामी बल्लेबाज केएल राहुल और मयंक अग्रवाल के हारने के बाद विराट ने भारतीय पारी को बखूबी संभाला. आज विराट कोहली ने अपना खाता खोलने के लिए 16 गेंदें खेली. इस टेस्ट मैच में कोहली की फॉर्म पर सवालिया निशान थे क्योंकि दाएं हाथ के बल्लेबाज ने पिछले 26 महीनों से शतक नहीं बनाया है, लेकिन 33 वर्षीय भारतीय कप्तान ने अपना संयम बनाए रखा और अपने व्यवसाय को बेहतरीन तरीके से अंजाम दिया.
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