India vs Pakistan: पाकिस्तान के कप्तान सरफराज अहमद का ननिहाल भारत में हैं.
नई दिल्ली:
आप यह जानकर थोड़ा अचरज में पड़ सकते हैं. सरफराज अहमद का ननिहाल भारत में हैं. पाकिस्तान टीम के कप्तान के मामा महबूब हसन उत्तर प्रदेश के प्रतापगढ़ जिले के कुंडा में रहते हैं. इससे भी दिलचस्प बात यह है कि सरफराज अहमद कई बार अपने ननिहाल आ चुके हैं. यानी उनका भारत से गहरा नाता है. ये भी पढ़ें: धोनी की गोद में पाकिस्तानी कप्तान सरफराज अहमद का बेटा, तस्वीर हुई वायरल पाकिस्तान के कप्तान Sarfraz ahmed कई बार उत्तर प्रदेश के प्रतापगढ़ जिले में स्थित अपने ननिहाल आ चुके हैं.
प्रतापगढ़ के स्थानीय अखबारों में छपि खबर के मुताबिक महबूब हसन ने बताया कि उन्हें अपने भांजे सरफराज से काफी लगाव है, लेकिन देश पहले आता है. इसलिए वह टीम इंडिया को जीतते देखना चाहते हैं.पूरे टूर्नामेंट में भांजे के शानदार खेल और कप्तानी से वे काफी खुश हैं. पाकिस्तान के कप्तान सरफाराज के अहमद के दादा मूल रूप से उत्तर प्रदेश के फतेहपुर जिले के रहने वाले थे.
महबूब हसन का कहना है कि सरफराज के दादा हाजी वकील अहमद मूल रूप से उत्तर प्रदेश के फतेहपुर के रहने वाले थे. यहां तक की सरफरारज के दादा आजादी के बाद पहले ग्राम पंचायत चुनाव में जीतकर प्रधान बने थे. हालांकि साल 1952-53 में वह पाकिस्तान के कराची में जाकर बस गए थे. 70 के दशक में उनके बेटे शकील अहमद के साथ महबूब हसन की बहन शकीला का विवाह हुआ था. ये भी पढ़ें: आईसीसी के इस टूर्नामेंट के फाइनल में सरफराज और इमाद ने हरा दिया था भारत को
सरफराज अहमद के मामा महबूब हसन करीब 27 साल से इटावा के बाबा साहब भीमराव अंबेडकर कृषि इंजीनियरिंग कॉलेज में वरिष्ठ लिपिक के पद पर कार्यरत हैं.
प्रतापगढ़ के स्थानीय अखबारों में छपि खबर के मुताबिक महबूब हसन ने बताया कि उन्हें अपने भांजे सरफराज से काफी लगाव है, लेकिन देश पहले आता है. इसलिए वह टीम इंडिया को जीतते देखना चाहते हैं.पूरे टूर्नामेंट में भांजे के शानदार खेल और कप्तानी से वे काफी खुश हैं.
महबूब हसन का कहना है कि सरफराज के दादा हाजी वकील अहमद मूल रूप से उत्तर प्रदेश के फतेहपुर के रहने वाले थे. यहां तक की सरफरारज के दादा आजादी के बाद पहले ग्राम पंचायत चुनाव में जीतकर प्रधान बने थे. हालांकि साल 1952-53 में वह पाकिस्तान के कराची में जाकर बस गए थे. 70 के दशक में उनके बेटे शकील अहमद के साथ महबूब हसन की बहन शकीला का विवाह हुआ था. ये भी पढ़ें: आईसीसी के इस टूर्नामेंट के फाइनल में सरफराज और इमाद ने हरा दिया था भारत को
सरफराज अहमद के मामा महबूब हसन करीब 27 साल से इटावा के बाबा साहब भीमराव अंबेडकर कृषि इंजीनियरिंग कॉलेज में वरिष्ठ लिपिक के पद पर कार्यरत हैं.
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