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This Article is From Jun 20, 2019

बिहार में दूसरे एम्स के निर्माण के लिए नीतीश सरकार ने नहीं दी जमीन

नीतीश कुमार की सरकार चार साल में एम्स के लिए जमीन आवंटित नहीं कर पाई तो केंद्र ने दरभंगा मेडिकल कॉलेज को अपग्रेड करने का फैसला लिया

बिहार में दूसरे एम्स के निर्माण के लिए नीतीश सरकार ने नहीं दी जमीन
बिहार की नीतीश कुमार सरकार ने चार साल में एम्स के निर्माण के लिए जमीन आवंटित नहीं की.
  • साल 2015-16 के बजट भाषण में हुई थी दूसरे एम्स की घोषणा
  • बिहार सरकार से 3-4 वैकल्पिक स्थान बताने के लिए कहा गया था
  • यदि जगह मिल जाती को बिहार में अब तक एक और एम्स बन जाता
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नई दिल्ली:

बिहार में दिमागी बुखार  (एक्यूट एनसिफेलाइटिस सिंड्रोम) का कहर जारी है. इस बीच यह महत्वपूर्ण बात सामने आई है कि बिहार में दूसरा नया एम्स नहीं बन पाया क्योंकि नीतीश सरकार चार साल तक राज्य में दूसरे प्रस्तावित एम्स के लिए ज़मीन आवंटित नहीं कर पाई. इसके बाद भारत सरकार ने दरभंगा मेडिकल कालेज एंड हास्पिटल को ही एम्स की तर्ज़ पर अपग्रेड करके का फैसला किया. यह महत्वपूर्ण है कि 28 नवंबर 2014 को स्वास्थ्य मंत्रालय ने PMSSY के तीसरे चरण में जिन 39 अस्पतालों को अपग्रेड करने का फैसला किया था उसमें दरभंगा अस्पताल भी शामिल था.

बिहार में दिमागी बुखार के कहर से वहां की चरमराती स्वास्थ्य व्यवस्था का सच सामने आ गया है. हैरानी की बात यह है कि चार साल पहले मोदी सरकार ने बिहार में दूसरा एम्स खोलने का ऐलान किया था लेकिन बिहार सरकार इसके लिए जरूरी जगह मुहैया नहीं करा पाई.

साल 2015-16 के अपने बजट भाषण में तत्कालीन वित्त मंत्री अरुण जेटली ने बिहार में एक नया एम्स खोलने का ऐलान किया था. इसके बाद स्वास्थ्य मंत्रालय ने बार-बार बिहार सरकार से गुज़ारिश की कि 3-4 वैकल्पिक जगहों की जानकारी दें, लेकिन चार साल तक नीतीश सरकार इसकी पहचान ही नहीं कर पाई.

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19 दिसंबर 2017 को राज्य सभा में दिए लिखित जवाब में स्वास्थ्य राज्यमंत्री अश्विनी चौबे इस बात की पुष्टि कर चुके हैं.13 नए प्रस्तावित एम्स के स्टेटस के बारे में विस्तृत जानकारी देते हुए बिहार में प्रस्तावित नए एम्स पर उन्होंने राज्य सभा को बताया - "राज्य सरकार से बिहार में एक नया एम्स खोलने के लिए 3-4 वैकल्पिक जगहों की पहचान करने की गुज़ारिश की गई है, लेकिन राज्य सरकार ने अब तक वैकल्पिक जगहों की पहचान नहीं की है."

जब राज्य सरकार ने जमीन नहीं दी तो तत्कालीन स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा ने लोकसभा चुनावों से ठीक पहले दो मार्च, 2019 को पटना में दरभंगा हास्पिटल को दूसरे एम्स के तर्ज़ पर विकसित करने का ऐलान कर दिया.

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ख़बर थी कि स्वास्थ्य राज्यमंत्री अश्विनी चौबे अपने गढ़ भागलपुर में नया एम्स खुलवाना चाहते थे जबकि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार इसके लिए तैयार नहीं थे.

बुधवार को आयुष मामलों के केन्द्रीय मंत्री श्रीपद नायक ने एनडीटीवी से कहा अगर बिहार सरकार ने समय पर ज़मीन दे दी होती तो आज बिहार में एक नया एम्स बन रहा होता और दिमागी बुखार जैसी बीमारियों से लड़ने की क्षमता और मज़बूत होती.  

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साफ है जमीन न मिलने का नतीजा ये हुआ कि बिहार में एक नया एम्स नहीं बन पाया.

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