संयुक्त राष्ट्र:
संयुक्त राष्ट्र महासचिव बान की-मून ने सऊदी अरब में महिलाओं को मताधिकार दिए जाने के निर्णय का स्वागत किया है। समाचार एजेंसी सिन्हुआ के मुताबिक मून के प्रवक्ता द्वारा गुरुवार को जारी वक्तव्य के मुताबिक मून ने कहा कि वह सऊदी अरब में दो पवित्र मस्जिदों के संरक्षक, शाह अब्दुल्ला बिन अब्दुल-अजीज अल सऊद की हाल की घोषणाओं का स्वागत करते हैं। इनमें देश में पहली बार महिलाओं को मतदान का अधिकार देने और नगरपालिका चुनाव लड़ने का अधिकार देने का निर्णय शामिल है तथा इसके अलावा वे शूरा परिषद की सदस्य भी बन सकेंगी। सऊदी अरब में शूरा परिषद एक अनिर्वाचित सलाहकार निकाय है जो कानूनों की जांच करती है लेकिन उसके पास कोई बाध्यकारी शक्ति नहीं है। मून ने कहा कि इस निर्णय के बाद सऊदी अरब की महिलाओं को उनके मौलिक नागरिक व राजनीतिक अधिकार हासिल करने में मदद मिलेगी। सऊदी अरब में महिलाओं पर किसी पुरुष रिश्तेदार की अनुमति के बिना यात्रा करने या वाहन चलाने पर पाबंदी है। मानवाधिकार कार्यकर्ता लम्बे समय से महिलाओं को और अधिकार दिए जाने की लड़ाई लड़ रहे हैं। शाह अब्दुल्ला ने शूरा परिषद में अपने सम्बोधन में यह घोषणा की। उन्होंने कहा कि उनका देश महिलाओं को समाज के सभी क्षेत्रों में हाशिए पर रखने से इनकार करता है।
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