
- रूस ने यूक्रेन के लगभग 19 प्रतिशत क्षेत्र पर कब्जा जमा लिया है, जिसमें क्रीमिया और पूर्वी क्षेत्र शामिल हैं.
- क्रीमिया पर रूस का कब्जा 2014 में विवादित जनमत संग्रह के बाद हुआ, जिसका क्षेत्रफल लगभग 27 हजार वर्ग किमी है.
- पुतिन ने शांति के लिए शर्त रखी है कि यूक्रेन रूसी कब्जे वाले क्षेत्रों से हटे और नाटो में शामिल न हो.
Russia Ukraine War: रूस और यूक्रेन के बीच जंग शुरू हुए 3 साल से अधिक का वक्त गुजर गया है लेकिन शांति की उम्मीद अभी भी बहुत धुंधली नजर आ रही है. शुक्रवार को अलास्का में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और रूसी राष्ट्रपति सीजफायर पर वार्ता के लिए आमने-सामने की बैठक करेंगे. हालांकि जबसे व्हाइट हाउस ने कहा है कि ट्रंप इस शिखर सम्मेलन में केवल सुनने जा रहे हैं, तब से रूस-यूक्रेन के बीच शीघ्र युद्धविराम समझौते की उम्मीदें कम हो गई हैं. इस बीच ट्रंप ने यह भी कहा है कि किसी सीजफायर पर पहुंचने के लिए रूस और यूक्रेन, दोनों को जमीन छोड़नी होगी.
ऐसे में सवाल उठता है कि रूस ने यूक्रेन में कितने क्षेत्र पर कब्जा कर लिया है, उसे अपने कंट्रोल में कर लिया है?

रूस का कहना है कि क्रीमिया, डोनेट्स्क, लुहान्स्क, जापोरीजिया और खेरसॉन अब रूस के हिस्से हैं. जबकि इस सभी क्षेत्रों को सोवियत संघ के पतन के बाद मास्को ने यूक्रेन के हिस्से के रूप में मान्यता दी थी. यूक्रेन ने बार-बार कहा है कि वह अपनी भूमि पर रूसी कब्जे को कभी मान्यता नहीं देगा, और अधिकांश देश 1991 की सीमाओं के आधार पर ही यूक्रेन के क्षेत्र को मान्यता देते हैं.
तो हम आपको नीचे बताते हैं कि यूक्रेन के किन क्षेत्रों में रूस ने कितना कब्जा जमा लिया है.
क्रीमिया
2014 में रूसी सेना ने क्रीमिया पर नियंत्रण कर लिया था. क्रीमिया दक्षिणी यूक्रेन में काला सागर तक फैला हुआ है. रूस में शामिल होने पर एक विवादित जनमत संग्रह के बाद, मास्को ने इस क्षेत्र को रूस में समाहित कर लिया. इसका क्षेत्रफल लगभग 27,000 वर्ग किमी है.

रूस का कहना है कि क्रीमिया कानूनी तौर पर रूस का हिस्सा है. यूक्रेन की स्टैंड यह है कि क्रीमिया यूक्रेन का हिस्सा है. हालांकि निजी तौर पर कुछ यूक्रेनी अधिकारी स्वीकार करते हैं कि बलपूर्वक क्रीमिया को यूक्रेन के नियंत्रण में वापस लाना बहुत कठिन होगा. 18वीं शताब्दी में कैथरीन द ग्रेट द्वारा क्रीमिया को रूसी साम्राज्य में समाहित कर लिया गया था. इसके तुरंत बाद सेवस्तोपोल में रूस का काला सागर नौसैनिक अड्डा स्थापित किया गया.
डोनबास
पूर्वी यूक्रेन के डोनबास क्षेत्र के लगभग 46,570 वर्ग किमी या 88% हिस्से को रूस नियंत्रित करता है. इस कब्जे वाले डोनबास क्षेत्र में पूरा लुहान्स्क क्षेत्र और 75% डोनेट्स्क क्षेत्र शामिल है.
लगभग 6,600 वर्ग किमी क्षेत्र अभी भी यूक्रेन द्वारा नियंत्रित है, लेकिन रूस अपनी अधिकांश ताकत डोनेट्स्क में मोर्चे पर केंद्रित कर रहा है. डोनेट्स्क और लुहान्स्क क्षेत्रों में रूसी समर्थित अलगाववादी 2014 में यूक्रेनी सरकार के नियंत्रण से अलग हो गए और खुद को स्वतंत्र "पीपुल्स रिपब्लिक" घोषित कर दिया था.

पुतिन ने 2022 में यूक्रेन पर हमले से कुछ दिन पहले ही उन्हें स्वतंत्र राज्य के रूप में मान्यता दी थी.
जापोरीजिया और खेरसॉन
रूसी सेना दक्षिणपूर्वी यूक्रेन के जापोरीजिया और खेरसॉन क्षेत्रों के लगभग 74% या लगभग 41,176 वर्ग किमी पर नियंत्रण रखती है. यूक्रेन दोनों क्षेत्रों में लगभग 14,500 वर्ग किमी को नियंत्रित करता है.

खार्किव, सुमी और निप्रॉपेट्रोस
रूस यूक्रेन के खार्किव, सुमी, मायकोलाइव और निप्रॉपेट्रोस क्षेत्रों के छोटे हिस्सों पर भी नियंत्रण रखता है. सुमी और खार्किव क्षेत्रों में, रूस लगभग 400 वर्ग किमी क्षेत्र को नियंत्रित करता है. निप्रॉपेट्रोस में रूस की सीमा के पास एक छोटा सा क्षेत्र है. रूस ने कहा है कि वह अपने कुर्स्क क्षेत्र को यूक्रेनी हमले से बचाने के लिए सुमी में एक बफर जोन बना रहा है.

पुतिन क्या चाहते हैं?
2024 में पुतिन ने कहा था कि वह शांति के लिए सहमत होने को तैयार होंगे यदि यूक्रेन उन सभी क्षेत्रों से हट जाए जिन पर रूस ने दावा किया है लेकिन रूस द्वारा पूरी तरह से नियंत्रित नहीं है. यह क्षेत्र वर्तमान में लगभग 21,000 वर्ग किमी है. साथ में पुतिन की शर्त है कि यूक्रेन आधिकारिक तौर पर नाटो में शामिल होने की अपनी महत्वाकांक्षाओं को त्याग दे.
रॉयटर्स ने 2024 में बताया कि पुतिन ट्रंप के साथ यूक्रेन युद्धविराम समझौते पर चर्चा करने के लिए तैयार थे, लेकिन उन्होंने किसी भी बड़ी क्षेत्रीय रियायतें देने से इनकार कर दिया. यानी वो यूक्रेन को जमीन नहीं देना चाहते हैं. साथ ही उन्होंने जोर देकर कहा कि यूक्रेन को नाटो में शामिल होने की महत्वाकांक्षा किसी भी कीमत पर छोड़नी होगी. दो सूत्रों ने कहा कि पुतिन यूक्रेन उन हिस्से से हटने के इच्छुक हो सकते हैं जहां रूस का कब्जा अपेक्षाकृत छोटा है.
शांति के लिए पुतिन की शर्त में शामिल है कि नाटो यह कानूनी प्रतिज्ञा ले कि वो पूर्व की ओर विस्तार नहीं करेगा. यूक्रेन तटस्थ रहे और अपनी सेना कम करे, अपने यहां रहने वाले रूसी भाषियों की सुरक्षा करे और रूस के क्षेत्रीय कब्जे को स्वीकार करे. सूत्रों ने इस साल की शुरुआत में न्यूज एजेंसी रॉयटर्स को यह बताया था.
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