नॉवेल कोरोनावायरस से फैली कोविड-19 महामारी की दवा के लिए दुनिया भर में रिसर्च हो रहे हैं. ऐसे में रोग की रोकथाम करने के लिए रिसर्चर्स ने नया केमिकल मॉलिक्यूल (Molecule) खोजा है. रिसर्चर्स को एक नए मॉलिक्यूल का पता चला है, जो इस वायरस के खिलाफ कारगर साबित हो सकता है. रिसर्चर्स ने इस वायरस का कोरोनावायरस के ऊपर टेस्ट भी किया है, जिसके रिजल्ट अच्छे आए हैं. यह कोविड 19 की कारगर दवा बनाने में अहम खोज है.
अमेरिका में यह मेथड Calxinin के नाम से पेटेंट हुआ है. इस रिसर्च में दिल्ली यूनिवर्सिटी के हंसराज कॉलेज, यूनिवर्सिटी आफ लॉयला, शिकॉगो और यूनिवर्सिटी ऑफ न्यू मैक्सिको ने हिस्सा लिया है. हंसराज कॉलेज में केमिस्ट्री डिपार्टमेंट के असिस्टेंट प्रोफेसर डॉक्टर ब्रजेश राठी मॉलिक्यूल खोजने वाली इस टीम के मुख्य रिसर्चर हैं.
इस मॉलिक्यूल का टेस्ट करोनावायरस पर हो चुका है, जिसके रिजल्ट काफी अच्छे रहे हैं. अब इस मॉलिक्यूल का क्लीनिकल ट्रायल शुरु होगा जो ब्रिटेन की दो कंपनियां- Redcliffe Bio science's Limited और Future Therapeutic Limited करेंगी. दवा बनाने में क्लीनिकल ट्रायल अंतिम चरण है.
बता दें कि अभी तक करोना संक्रमित बीमारी में फिलहाल दो दवा प्रचलित है एक hydroxide chloroquine (हाइड्रोक्सी क्लोरोक्वीन) और Remdesivir (रेमडेसीविर). लेकिन अब डॉक्टर ब्रजेश राठी का दावा है कि अभी तक के रुझानों में इन दोनों दवा के मुकाबले नया मॉलिक्यूल ज्यादा कारगर दिख रहा है.
कौन हैं डॉक्टर ब्रजेश राठी?
डॉक्टर ब्रजेश राठी हंसराज कॉलेज में असिस्टेंट प्रोफेसर कैमस्ट्री में हैं. उन्हें यंग साइटिस्ट अवार्ड, अरिली कैरियर रिसर्च अवार्ड और UGC रमन फेलोशिप, CAPES फेलोशिप मिल चुकी है. दिल्ली विश्वविद्यालय उन्हें Excellence Teacher Award 2018 का सम्मान दे चुकी है. वो हंसराज कॉलेज से पहले विजिटिंग प्रोफेसर MIT कैंब्रिज में रह चुके हैं. फिलहाल डॉक्टर राठी लॉयला यूनिवर्सिटी शिकागो में Adjunct Professor हैं.
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