कोरोना के बाद अब भारतीय रेलवे कमाई की राह पर है. पिछले साल के मुकाबले इस साल के 5 महीनो में रेलवे की कुल कमाई 38% बढ़ी है. पैसेंजर से होने वाली कमाई में तो 116 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है, पर आखिर इस बढ़ोतरी की वजह क्या है? कोरोना काल में कमाई की रफ्तार कम हो गई थी, अब ये तेजी से बढ़ रही है.
ये हैं रेलवे की कमाई बढ़ने के कारण
- कोरोना से पहले रोज़ 1768 मेल एक्सप्रेस चलती थीं अब वो बढ़कर 2000 के करीब हो गई हैं.
- फिलहाल 2700 पैसेंजर ट्रेन हैं. इनमें करीब 70% पैसेंजर ट्रेनों के आगे नंबर में शून्य लगा है, यानी उनमें अब भी कोरोना के वक्त लागू मेल एक्सप्रेस का किराया ही लिया जा रहा है.
- इससे रेलवे को 100 से 125 करोड़ की कमाई हो रही है.
- कई कैटेगरी में मिलने वाला रेलवे कंसेशन भी अब सिमट गया है.
- वहीं, कोल, ऑटोमोबिल के रैक्स में पिछले साल की तुलना में काफी इज़ाफा हुआ है.
- साथ ही पार्सल और ई ऑक्शनिंग्ग ने भी राजस्व बढ़ाने में अहम भूमिका निभाई है.
रेलवे के जानकार कैप्टन जेपी सिंह ने कहा कि गाड़ियों की संख्या रोजाना 250 - पौने 300 बढ़ी हैं. कोविड के दौरान जिन पैसेंजर गाड़ियों में बहुत कम किराया लगता था और हमने मेल एक्सप्रेस का किराया लेना शुरू किया था, ऐसी बहुत सारी गाड़ियां हैं, जिसमें हम वही किराया ले रहे हैं. सीनियर सिटीजन को देने वाली सुविधा बंद कर दी. डायनामिक फेयर प्राइसिंग में किराया इतना बढ़ जा रहा है कि किराया पहले से डबल ट्रिपल हो जा रहा है.
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