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This Article is From Dec 02, 2022

लुधियाना कोर्ट बम ब्लास्ट के मुख्य साजिशकर्ता आतंकी हरप्रीत सिंह को NIA ने किया गिरफ्तार

जांच में पता चला है कि मोस्ट वॉन्टेड आतंकवादी हरप्रीत सिंह ( Harpreet Singh) उर्फ हैप्पी मलेशिया, लखबीर सिंह रोडे का सहयोगी था. लखबीर सिंह रोडे पाकिस्तान में स्थित इंटरनेशनल सिख यूथ फेडरेशन का प्रमुख है. हरप्रीत सिंह, रोडे के साथ लुधियाना कोर्ट कॉम्प्लेक्स ब्लास्ट के साजिशकर्ताओं में से एक था.

हरप्रीत सिंह पंजाब के अमृतसर का रहने वाला है.

नई दिल्ली:

लुधियाना कोर्ट ब्लास्ट मामले (Ludhiana Court Building blast) में जांच कर रही राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) को बड़ी कामयाबी मिली है. एनआईए ने ब्लास्ट के साजिशकर्ता और मोस्ट वॉन्टेड आतंकवादी हरप्रीत सिंह ( Harpreet Singh)उर्फ हैप्पी मलेशिया को गिरफ्तार कर लिया है. एनआईए ने उसकी गिरफ्तारी नई दिल्ली के इंदिरा गांधी इंटरनेशनल एयरपोर्ट से की. वह मलेशिया की फ्लाइट से भारत लौटा था. जांच में पता चला है कि मोस्ट वॉन्टेड आतंकवादी हरप्रीत सिंह ( Harpreet Singh) उर्फ हैप्पी मलेशिया, लखबीर सिंह रोडे का सहयोगी था. लखबीर सिंह रोडे पाकिस्तान में स्थित इंटरनेशनल सिख यूथ फेडरेशन का प्रमुख है. हरप्रीत सिंह, रोडे के साथ लुधियाना कोर्ट कॉम्प्लेक्स ब्लास्ट के साजिशकर्ताओं में से एक था. रोडे के इशारे पर काम करते हुए उसने कस्टम-मेड IED की डिलीवरी की थी. इसे पाकिस्तान से भारत भेजा गया था. इसी का उपयोग लुधियाना कोर्ट कॉम्प्लेक्स के विस्फोट में किया गया था.

दिसंबर 2021 में लुधियाना जिला अदालत में बम विस्फोट हुआ था. इस विस्फोट में पंजाब पुलिस का बर्खास्त कर्मचारी गगनदीप सिंह मारा गया था. वहीं घटना में छह अन्य लोग घायल हो गए थे. इसे लेकर मामला 23 दिसंबर 2021 को जिला लुधियाना आयुक्तालय, पंजाब में दर्ज किया गया था. वहीं NIA ने मामले को 13 जनवरी 2021 को फिर से रजिस्टर्ड किया था.

क्या था मामला
लुधियाना की जिला अदालत में 23 दिसंबर 2021 की दोपहर 12.25 बजे हुए बम ब्लास्ट में इम्प्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव डिवाइस (IED) का इस्तेमाल किया गया था. इस धमाके में 1 आदमी की मौत हो गई, जबकि 6 अन्य घायल हुए थे. ब्लास्ट की जांच के लिए दिल्ली से NSG, NIA और नेशनल बम डाटा सेंटर की टीमें मौके पर पहुंची थी. ब्लास्ट के 10 घंटे बाद, रात 10.15 बजे NSG टीम ने मलबे में पड़ी बॉडी को वहां से हटवाकर सिविल अस्पताल की मॉर्चरी में रखवाया था.

एनआईए के अधिकारियों ने कहा, "रोडे के निर्देश पर काम करते हुए हरप्रीत ने कस्टम-मेड आईईडी की डिलीवरी की, जिसे पाकिस्तान से उसके भारत स्थित सहयोगियों को भेजा गया था. इसका इस्तेमाल लुधियाना कोर्ट कॉम्प्लेक्स विस्फोट में किया गया था." 

रखा गया था 10 लाख का इनाम
एनआईए ने हरप्रीत सिंह पर 10 लाख रुपये का इनाम घोषित किया था. उसके खिलाफ विशेष एनआईए अदालत से गैर-जमानती वारंट जारी किया गया था और एक लुक-आउट सर्कुलर भी जारी हुआ था.

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