पीएम नरेन्द्र मोदी ने ट्वीट कर सरदार सरोवर में जलस्तर 134 फीट तक पहुंचने को भले ही ऐतिहासिक बताया लेकिन वहीं सामाजिक कार्यकर्ता मेधा पाटकर “नर्मदा चुनौती सत्याग्रह” में चौथे दिन भी अनशन पर बैठी हुई हैं. बुधवार को मध्यप्रदेश के गृहमंत्री बाला बच्चन ने आंदोलन का समर्थन करते हुए मेधा पाटकर से आंदोलन खत्म करने की गुजारिश की और कहा कि वे आंदोलनकारियों की मांग को मुख्यमंत्री के सामने रखेंगे.
आंदोलनकारी बड़वानी जिले के गांव छोटा बड़दा में 25 अगस्त से “नर्मदा चुनौती सत्याग्रह” पर बैठे हैं. सत्याग्रहियों की मांग है कि बांध के गेट खोलकर जलस्तर 130 मीटर तक कम कर 32 हजार प्रभावितों के पुनर्वास की प्रक्रिया तुरंत प्रारंभ की जाए. आंदोलनकारियों का कहना है कि बिना पुनर्वास के बांध में 138.68 मीटर तक पानी भरना एक जीती-जागती सभ्यता की जल हत्या होगी, जो प्रभावितों के संवैधानिक अधिकारों के हनन के साथ नर्मदा ट्रिब्यूनल के फैसले, न्यायालयीन आदेशों और पुनर्वास नीति का खुला उल्लंघन होगा.
News that will make you thrilled!
— Narendra Modi (@narendramodi) August 28, 2019
Happy to share that the water levels at the Sardar Sarovar Dam have reached a historic 134.00 m.
Sharing some pictures of the breathtaking view, with the hope that you will go visit this iconic place and see the ‘Statue of Unity.' pic.twitter.com/nfH67KcrHR
आंदोलनकारियों की मांग है कि मध्यप्रदेश सरकार प्रभावितों के अधिकारों के खिलाफ सर्वोच्च न्यायालय और उच्च न्यायालय में जारी याचिकाओं को वापस ले ताकि प्रभावितों की दशकों से जारी प्रताड़ना पर रोक लगे. उन्होंने यह भी मांग की कि पुनर्वास का सारा खर्च गुजरात सरकार को वहन करना है इसलिए गुजरात सरकार से पुनर्वास, वैकल्पिक वनीकरण आदि का खर्च वसूल करे. प्रभावितों को किए गए भुगतान की सूचियां वेबसाइट पर सार्वजनिक की जाएं.
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प्रभावितों ने बताया कि सरकार ने अभी तक सिर्फ राजघाट और जांगरवा में शिविर लगाए. हम आपको बता दें कि विस्थापितों को हटाने के दौरान जांगरवा में 62 साल के एक शख्स की मौत हो चुकी है. परिजनों का आरोप है कि प्रशासन की जोर जबर्दस्ती से उन्हें दिल का दौरा पड़ा. प्रभावितों ने सरकार को उनके 33 बिंदुओं के मांग पत्र पर तुरंत कार्रवाई की बात कही है, नहीं तो साफ किया है कि जब तक सरकार प्रभावितों की न्याायपूर्ण और वैधानिक मांगों को नहीं मानती सत्याग्रह जारी रहेगा.
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