 
                                            ज्योतिर्मठ के शंकराचार्य वासुदेवानंद सरस्वती (फाइल चित्र)
                                                                                                                        
                                        
                                        
                                        केंद्र में सत्तासीन भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की वैचारिक संरक्षक कहे जाने वाले राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के समर्थन से आयोजित होने वाले साधु-संतों के समागम के दौरान ज्योतिर्मठ के शंकराचार्य वासुदेवानंद सरस्वती ने हिन्दुओं की आबादी बढ़ाने का आह्वान करते हुए सुझाव दिया कि प्रत्येक हिन्दू को कम से कम 10 बच्चे पैदा करने चाहिए, और उन्हें पालने-पोसने की चिंता नहीं करनी चाहिए, क्योंकि भगवान निश्चित रूप से उन्हें पाल लेगा.
अंग्रेज़ी दैनिक 'टाइम्स ऑफ इंडिया' में प्रकाशित समाचार के अनुसार, नागपुर में आयोजित धर्म संस्कृति महाकुंभ के दौरान आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत तथा महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस की मौजूदगी में वासुदेवानंद सरस्वती ने हिन्दुओं से ज़्यादा से ज़्यादा बच्चे पैदा करने का आह्वान करने के साथ-साथ राष्ट्रीय जनसंख्या नीति बनाए जाने पर भी ज़ोर दिया. वासुदेवानंद सरस्वती ने कहा कि हिन्दुओं को दो बच्चों की बात को भूल जाना चाहिए, और 10-10 बच्चे पैदा करने चाहिए. उनका दावा था कि इस बात की चिंता नहीं की जानी चाहिए कि उन्हें कौन पालेगा, क्योंकि भगवान उनके बच्चों की देखभाल करेंगे.
ज्योतिर्मठ के शंकराचार्य के रूप में अपनी नियुक्ति को लेकर कानूनी चुनौती का सामना कर रहे वासुदेवानंद सरस्वती ने रविवार को संपन्न हुए तीन-दिवसीय महाकुंभ को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से नोटबंदी यानी विमुद्रीकरण की ही तरह गोहत्या पर प्रतिबंध लगाने के बारे में भी तुरंत निर्णय लेने का आग्रह किया.
इस अवसर पर आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत, महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस तथा असम के राज्यपाल बनवारीलाल पुरोहित के अतिरिक्त विश्व हिन्दू परिषद के पदाधिकारी प्रवीण तोगड़िया भी मौजूद थे.
                                                                        
                                    
                                अंग्रेज़ी दैनिक 'टाइम्स ऑफ इंडिया' में प्रकाशित समाचार के अनुसार, नागपुर में आयोजित धर्म संस्कृति महाकुंभ के दौरान आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत तथा महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस की मौजूदगी में वासुदेवानंद सरस्वती ने हिन्दुओं से ज़्यादा से ज़्यादा बच्चे पैदा करने का आह्वान करने के साथ-साथ राष्ट्रीय जनसंख्या नीति बनाए जाने पर भी ज़ोर दिया. वासुदेवानंद सरस्वती ने कहा कि हिन्दुओं को दो बच्चों की बात को भूल जाना चाहिए, और 10-10 बच्चे पैदा करने चाहिए. उनका दावा था कि इस बात की चिंता नहीं की जानी चाहिए कि उन्हें कौन पालेगा, क्योंकि भगवान उनके बच्चों की देखभाल करेंगे.
ज्योतिर्मठ के शंकराचार्य के रूप में अपनी नियुक्ति को लेकर कानूनी चुनौती का सामना कर रहे वासुदेवानंद सरस्वती ने रविवार को संपन्न हुए तीन-दिवसीय महाकुंभ को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से नोटबंदी यानी विमुद्रीकरण की ही तरह गोहत्या पर प्रतिबंध लगाने के बारे में भी तुरंत निर्णय लेने का आग्रह किया.
इस अवसर पर आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत, महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस तथा असम के राज्यपाल बनवारीलाल पुरोहित के अतिरिक्त विश्व हिन्दू परिषद के पदाधिकारी प्रवीण तोगड़िया भी मौजूद थे.
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