विज्ञापन
This Article is From Aug 03, 2020

सुशांत सिंह राजपूत केस की जांच 'पटना पुलिस VS मुंबई पुलिस' में उलझ रही है?

सुशांत सिंह राजपूत के मामले में पटना और मुंबई आमने-सामने है. ताजा मामले में पटना पुलिस के एसपी बिनय तिवारी को क्ववरंटाइन कर लिया गया है. उनको इस मामले की जांच के लिए बिहार सरकार ने नियुक्त किया है. लेकिन एयरपोर्ट से बाहर आने के बाद कोरोना वायरस की रोकथाम के लिए बनाए प्रोटोकॉल के तहत गोरेगांव स्थित एक गेस्ट हाउस में रखा गया है.

सुशांत सिंह राजपूत केस की जांच 'पटना पुलिस VS मुंबई पुलिस' में उलझ रही है?
नई दिल्ली:

सुशांत सिंह राजपूत के मामले में पटना और मुंबई आमने-सामने है. ताजा मामले में पटना पुलिस के एसपी बिनय तिवारी को क्ववरंटाइन कर लिया गया है. उनको इस मामले की जांच के लिए बिहार सरकार ने नियुक्त किया है. लेकिन एयरपोर्ट से बाहर आने के बाद कोरोना वायरस की रोकथाम के लिए बनाए प्रोटोकॉल के तहत गोरेगांव स्थित एक गेस्ट हाउस में रखा गया है. हालांकि इससे पहले भी एक टीम बिहार से मुंबई घरेलू फ्लाइट से आई थी लेकिन उसके साथ इस तरह का बर्ताव नहीं किया गया था. इसलिए इस ताजा घटनाक्रम पर सवाल उठ रहे हैं. वहीं बिहार के सीएम नीतीश कुमार ने भी बयान दिया है कि जो हुआ ठीक नहीं हुआ है और इस पर डीजीपी वहां (मुंबई) के अधिकारियों से बात करेंगें. लेकिन बिहार के डीजीपी गुप्तेश्वर पांडेय भी इस पूरे प्रकरण से खासे नाराज हैं. उनका कहना है कि बिहार के पुलिस के एसपी को जबरदस्ती क्वरंटाइन किया गया है. 

इससे पहले उन्होंने दो दिन पहले कहा था, 'मैं जांच के बारे में आपको सारी बातें नहीं बता सकता.  लेकिन सुशांत सिंह राजपूत को न्याय दिलाने में कोई कसर नहीं छोड़ेंगे जो न केवल बिहार के बल्कि हिंदुस्तान के बेटे थे.  पूरे देश की भावनाएं और संवेदनाएं उनके साथ हैं.'  उधर एसपी विनय तिवारी ने रविवार को मुंबई हवाईअड्डे पर पहुंचने के बाद संवाददाताओं से कहा कि वह अपनी टीम का नेतृत्व करने यहां आये हैं और मामले में सभी संभव कोणों से जांच करेंगे. उन्होंने कहा, 'मुंबई पुलिस अपनी शैली में मामले की जांच कर रही है और हम अपने तरीके से तफ्तीश करेंगे.  जरूरत पड़ी तो हम बॉलीवुड हस्तियों के बयान भी दर्ज करेंगे जिनके बयान मुंबई पुलिस ने दर्ज किये हैं.'

एक सवाल के जवाब में तिवारी ने कहा कि यह कहना उचित नहीं है कि बिहार पुलिस के दल को मुंबई पुलिस से सहयोग नहीं मिल रहा. उन्होंने कहा, 'जांच सही तरीके से आगे बढ़ रही है और हम सही दिशा में आगे बढ़ रहे हैं. हमारा दल यहां मामले से जुड़े सभी महत्वपूर्ण दस्तावेज हासिल करने आया है.'

वहीं मुंबई पुलिस कमिश्नर परमबीर सिंह का कहना है, असयोग का कोई सवाल ही नहीं है. हम कानूनी तौर पर इसकी जांच कर रहे हैं. चाहे या उनके (बिहार पुलिस) के न्याय क्षेत्र में आता हो या नहीं. लेकिन अगर उनको इसकी परमीशन मिल गई है तो उनको इसे साबित करना चाहिए.'

वहीं दूसरी ओर मुंबई पुलिस से जुड़े सूत्रों का कहना है कि पटना से आई टीम का उनकी ओर से पूरा सहयोग किया गया है जबकि लेकिन दूसरे राज्य के पुलिस के इलाके में जांच करने की आई ये टीम प्रोटोकॉल का पालन नहीं कर रही है जबकि एक यहां पहले से ही एक जांच जारी है.

सुशांत सिंह राजपूत की जांच जबसे पटना शुरू की है राजनीतिक बयानबाजी भी उसी रफ्तार से बढ़ी है. बिहार के डिप्टी सीएम, सुशील कुमार मोदी, मंत्री संजय पासवान और तेजस्वी यादव के बयान आ चुके हैं. उधर महाराष्ट्र के सीएम उद्धव ठाकरे भी अपील कर चुके हैं कि राज्य की पुलिस पर भरोसा रखिए. महाराष्ट्र के गृहमंत्री अनिल देशमुख ने कहा कि महाराष्ट्र पुलिस पेशेवर तरीके से मामले की जांच कर रही है और सच्चाई सामने लाने में सक्षम है और मामले में कोई कसर नहीं छोड़ेगी. 

लेकिन अगर बात करें कानूनी पहलू की तो इस मामले में एक ही मामले में दो राज्यों की पुलिस की जांच मामले को और पेंचीदा बना सकती है और ऐसे मामले फिर कोर्ट में उलझते हैं और साथ राजनीतिक नफा-नुकसान में भी खूब इस्तेमाल होते हैं. लेकिन एक सवाल ये भी है कि सुशांत सिंह राजपूत की मौत मुंबई में हुई इस हिसाब से जांच का जिम्मा वहां के पुलिस के हाथों है ऐसे में पटना पुलिस का अलग से जांच करना कानूनी रूप से कितना उचित है? (इनपुट भाषा से भी)

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com