लॉकडाउन में देश भर में फंसे मजदूरों और छात्रों को अपने-अपने घर वापस ले जाने के लिए सरकार ने विशेष ट्रेने चलाने का फैसला किया है. गृह मंत्रालय द्वारा जारी गाइडलाइन के अनुसार आज मजदूर दिवस के दिन से प्रवासी मजदूरों, तीर्थयात्रियों, पर्यटकों, छात्रों व लॉकडाउन में अलग-अलग जगहों पर फंसे अन्य लोगों को उनके गंतव्य स्थान तक पहुंचाने के लिए श्रमिक स्पेशल ट्रेनें चलाने का फैसला किया गया है. इन विशेष ट्रेनों को ऐसे फंसे हुए व्यक्तियों को भेजने और लाने के लिए मानक प्रोटोकॉल के अनुसार संबंधित राज्य सरकारों के अनुरोध पर एक जगह से दूसरी जगह के बीच चलाया जाएगा. रेलवे और राज्य सरकारें इन "श्रमिक स्पेशल" के समन्वय और सुचारू संचालन के लिए वरिष्ठ अधिकारियों को नोडल अधिकारी नियुक्त करेंगी.
गृह मंत्रालय के प्रवक्ता ने ट्वीट कर बताया कि विभिन्न स्थानों पर फंसे प्रवासी श्रमिकों, तीर्थयात्रियों, पर्यटकों, छात्रों और अन्य व्यक्तियों के आवागमन को भी विशेष ट्रेनों के जरिए कराए जाने की अनुमति है. राज्य/केंद्र शासित प्रदेशों के साथ समन्वय के लिए रेल मंत्रालय नोडल अधिकारी (एस) को नामित करेगा.
Movement of migrant workers, pilgrims, tourists, students & other persons, stranded at different places, is also allowed by #SpecialTrains to be operated by @RailMinIndia. MoR to designate nodal officer(s) for coordinating with States/ UTs for their movement#lockdown #Covid_19 pic.twitter.com/UvEvDH1Ibj
— Spokesperson, Ministry of Home Affairs (@PIBHomeAffairs) May 1, 2020
बता दें कि देश में प्रवासी मजदूरों को उनके घर भेजने का सिलसिला शुरू हो गया है. लॉकडाउन के बीच रेलवे ने आज पहली ट्रेन चलाई है. सुबह साढ़े चार बजे तेलंगाना से 1200 प्रवासी मजदूरों को लेकर ट्रेन झारखंड के हटिया के लिए रवाना हो गई. सोशल डिस्टेंसिंग का ख्याल रखते हुए हर बोगी में 72 की जगह 54 लोगों को बिठाया गया है, यानी मिडिल बर्थ को हटा दिया गया है. इस बीच रेलवे और स्पेशल ट्रेनें चलाने की तैयारी कर रहा है. इसे लेकर रेल मंत्री और रेलवे बोर्ड के चेयरमैन और दूसरे अधिकारियों के बीच आज बातचीत भी हुई है.
उधर केरल से करीब 12,00 प्रवासी मजदूरों को लेकर यहां के अलुवा रेलवे स्टेशन से एक विशेष ट्रेन ओडिशा के भुवनेश्वर के लिए शुक्रवार शाम को रवाना होगी. राज्य मंत्री वीएस सुनील कुमार ने यह जानकारी दी. उन्होंने बताया कि लॉकडाउन लागू होने के बाद से ही ओडिशा के प्रवासी मजदूर एर्नाकुलम जिले के राहत कैंपों में ठहरे हुए थे. कुमार ने कहा कि सरकारी दिशा-निर्देशों के तहत प्रवासी मजदूरों को सरकारी बसों के जरिए स्टेशन तक लाया जाएगा.
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