शिमला के एक मस्जिद में बीते कुछ सालों में किए गए अवैध निर्माण का मामला अब और तूल पकड़ता दिख रहा है. मस्जिद में हुए अवैध निर्माण को लेकर शिमला के स्थानीय लोगों और हिंदू संगठन के कई कार्यकर्ताओं ने बुधवार को प्रदर्शन किया था. इस प्रदर्शन के दौरान जब भीड़ बेकाबू हुई तो पुलिस ने उन्हें रोकने के लिए लाठीचार्ज किया. पुलिस की इस कार्रवाई को लेकर अब गुरुवार को शिमला में बाजार बंद रखा गया है.
बेरिकेडिंग तोड़ने की हुई थी कोशिश
मस्जिद में हुए अवैध निर्माण के खिलाफ बुधवार को भी प्रदर्शन हुआ था. इस प्रदर्शन के दौरान प्रदर्शनकारियों की एक बड़ी संख्या पुलिस बेरिकेडिंग के पास पहुंच गई थी. इस दौरान उन्होंने बेरिकेड तोड़ने और अंदर जाने की भी कोशिश की. शुरू-शुरू में पुलिस ने भीड़ को काबू करने की कोशिश की लेकिन जब भीड़ को संभालना मुश्किल हुआ तो पुलिस ने कुछ प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज कर दिया. पुलिस इस दौरान हिंदू संगठन के कुछ कार्यकर्ताओं को हिरास में भी लिया था.
मारपीट के बाद माहौल बिगड़ने का शक
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार कहा जा रहा है कि शिमला के संजौली इलाके में करीब 15 दिन पहले स्थानीय दुकानदारों के साथ मारपीट की एक घटना सामने आई थी.बताया जाता है कि उस दौरान विशेष समुदाय के कुछ लोगों ने स्थानीय दुकानदारों के साथ मारपीट की, और बाद में इसी मस्जिद में जाकर छिप गए. यह खबर आसपास फैली और बाद में इसके बाद इस मस्जिद के बाहर प्रदर्शन का दौर शुरू हुआ. हालांकि, इस खबर की अभी तक किसी आधिकारिक तौर पर पुष्टि नहीं की है.
ढाई मंजिल तक निर्माण करने की थी मंजूरी, पांच मंजिल बना दिए गए
इस मस्जिद को लेक जो विवाद है वो सीधे तौर पर अवैध निर्माण से जुड़ा है. स्थानीय लोगों और हिंदू संगठनों का कहना है कि इस मस्जिद के अंदर नियमों को ताक पर रखकर अवैध निर्माण कराया गया है. मिल रही जानकारी के अनुसार शिमल नगर निगम के अनुसार इस इलाके में तीन मंजिल से नीचे-नीचे ही निर्माण कार्य करने की अनुमति है. इस मस्जिद में अभी तक पांच मंजिल तक का निर्माण कार्य किया जा चुका है. लोग इस बात की ही विरोध कर रहे हैं.
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