नीति आयोग की एक रिपोर्ट आई है. रिपोर्ट के मुताबिक, देश में कई राज्यों में गरीबी रेखा से नीचे जीवन बसर करने वालों की संख्या में कमी आई है. देश में यह दर जहां 13.51 प्रतिशत के हिसाब से घटी है, वहीं बिहार में यह दर 16.65 फीसदी है. अब इसे लेकर बयानबाजी तेज हो गई है. बिहार में किसकी वजह से गरीबी हटी है, इस पर विभिन्न पार्टियों के नेताओं ने अपनी राय व्यक्त की है. भाजपा और सहयोगी दलों के नेता प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को इसका श्रेय दे रहे हैं तो जेडीयू नेता इसके लिए राज्य सरकार और नीतीश कुमार की पीठ थपथपा रहे हैं.
बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री और भाजपा के सांसद सुशील कुमार मोदी ने कहा कि बिहार में जो गरीबी कम हुई है उसमें केंद्र सरकार की सबसे बड़ी भूमिका है. उन्होंने कहा कि जब से नरेंद्र मोदी देश के प्रधानमंत्री बने हैं और जिस प्रकार से बिहार की उन्होंने मदद की है, केंद्रीय करो के हिस्सा में लगभग 4 गुना वृद्धि हुई है. यूपीए काल में जो बिहार को पैसा मिलता था, उससे लगभग 4 गुना ज्यादा पैसा आज मिल रहा है. उन्होंने कहा कि करीब 36,00,000 पीएम आवास बने हैं. विकास योजनाओं के लिए जो बिहार को केंद्र से पैसा मिला है उससे बिहार की काफी प्रगति हुई है. उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार वही योजना लागू कर रहे हैं, जिसमें केंद्र मदद कर रहा है.
उधर, लोक जन शक्ति पार्टी (रामविलास) के सांसद चिराग पासवान ने कहा कि अच्छी बात है कि बिहार की गरीबी कम हुई है, यह सबके लिए खुशी की बात है. प्रधानमंत्री जी ने कई घोषणाएं की है. साथ ही उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्रीजी की नीतियों की बात होती तो यह भी बात होती कि बिहार फिसड्डी राज्यों की श्रेणी में आता है. वहां की स्वास्थ्य व्यवस्था कैसी है और यह सब जो है फेडरल स्ट्रक्चर के हिसाब से अगर देखें तो राज्य सरकार का मामला है. यह किसी से छुपा हुआ नहीं है कि बिहार की हालत काफी खराब है.
यह राज्य सरकार की उपलब्धि : ललन सिंह
जेडीयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह उर्फ राजीव रंजन ने कहा कि केंद्र सरकार गरीबी हटाने या घटाने की कौनसी योजना चला रहे हैं. यह राज्य सरकार की उपलब्धि है, बिहार लगातार विकास कर रहा है
केंद्र की ताकत से आगे बढ़े : रूडी
भाजपा सांसद राजीव प्रताप रूडी ने बिहार को लेकर कहा कि हमारा राज्य ऐसा है, जो प्रतियोगिता में सबसे पीछे होता है. बिहार देश का सबसे गरीब राज्य है, जहां 32 फीसदी लोग गरीबी रेखा से नीचे हैं. यहां दलित को महादलित में बांट दिया जाता है. उन्होंने कहा कि बिहार की हालत सुधरी कहां है. नीतीश कुमार और लालू यादव के कार्यकाल में बिहार के चार करोड़ लोग राज्य छोड़कर जा चुके हैं. आज बिहार देश का सबसे गरीब राज्य है, सबसे ज्यादा बेरोजगारी बिहार में है. केंद्र सरकार की ताकत से हम कुछ आगे बढ़ रहे हैं. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि देश की गति के साथ बिहार आगे बढ़ रहा है.
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