विज्ञापन
This Article is From Jan 21, 2023

एग्रीगेटर कंपनियों को कंटेट के लिए न्यूज पब्लिशर्स को करना चाहिए पेमेंट- सरकार

सूचना और प्रसारण मंत्रालय के सचिव अपूर्व चंद्रा ने कहा कि ऑस्ट्रेलिया, कनाडा, फ्रांस और यूरोपीय संघ ने अलग-अलग कदम उठाकर यह सुनिश्चित किया है कि क्रिएटर और एग्रीगेटर के बीच राजस्व का उचित बंटवारा हो. उन्होंने उम्मीद जताई कि यह समारोह भारत के संदर्भ में महत्वपूर्ण सुझाव लेकर आएगा.

एग्रीगेटर कंपनियों को कंटेट के लिए न्यूज पब्लिशर्स को करना चाहिए पेमेंट- सरकार
डिजिटल न्यूज पब्लिशर्स एसोसिएशन में राज्यमंत्री राजीव चंद्रशेखर ने न्यूज इंडस्ट्री पर दिया बड़ा बयान.
नई दिल्ली:

केंद्र सरकार ने बड़ी टेक कंपनियों को अपने राजस्व का 'उचित हिस्सा' प्रिंट न्यूज पब्लिशर्स के डिजिटल प्लेटफॉर्म को देने को कहा है. डिजिटल न्यूज पब्लिशर्स एसोसिएशन (DNPA) के एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सूचना और प्रसारण मंत्रालय के सचिव अपूर्व चंद्रा ने इसे 'पत्रकारिता के भविष्य' से जोड़ा. इसी कार्यक्रम में दिए अपने भाषण में इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी (Electronics and Information Technology) राज्यमंत्री राजीव चंद्रशेखर (Rajeev Chandrasekhar) ने भी चंद्रा की बातों से सहमति जताई. 

डिजिटल और प्रिंट न्यूज इंडस्ट्री की कमजोर आर्थिक सेहत का हवाला देते हुए चंद्रा ने कहा कि न्यूज इंडस्ट्री के विकास के लिए यह जरूरी है कि इन सभी प्रकाशकों (जो असली कंटेट क्रिएटर हैं) के डिजिटल न्यूज प्लेटफॉर्म को बड़ी कंपनियों से राजस्व का एक बड़ा हिस्सा मिले. क्योंकि ये कंपनियां दूसरे के क्रिएट किए गए कंटेट की एग्रीगेटर हैं.

सूचना और प्रसारण मंत्रालय के सचिव अपूर्व चंद्रा ने एनडीटीवी समेत 17 प्रमुख भारतीय समाचार प्रकाशकों के संगठन डिजिटल न्यूज पब्लिशर्स एसोसिएशन (DNPA) के सम्मेलन में बोलते हुए इस मुद्दे को मीडिया कंपनियों की "आर्थिक स्थिति" से जोड़ा. चंद्रा ने कहा कि ऑस्ट्रेलिया, कनाडा, फ्रांस और यूरोपीय संघ ने अलग-अलग कदम उठाकर यह सुनिश्चित किया है कि क्रिएटर और एग्रीगेटर के बीच राजस्व का उचित बंटवारा हो. उन्होंने उम्मीद जताई कि यह समारोह भारत के संदर्भ में महत्वपूर्ण सुझाव लेकर आएगा.

केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी राज्य मंत्री राजीव चंद्रशेखर ने कहा, 'हम ट्रिलियन डॉलर डिजिटल अर्थव्यवस्था बनाना चाहते हैं. इसके लिए कुछ कानून जरूरी हैं. हम डिजिटल डाटा संरक्षण विधेयक लेकर आए हैं. इसके कानून बनने के बाद नागरिकों को अपने डाटा के संरक्षण का अधिकार मिलेगा. दूसरा महत्वपूर्ण प्रयास यह है कि मौजूदा सूचना प्रौद्योगिकी कानून आने वाले महीनों में नए और प्रासंगिक डिजिटल इंडिया कानून में तब्दील होगा. इन्हीं दो प्रयासों के आधार पर डिजिटल अर्थव्यवस्था और डिजिटल के पारिस्थितिक तंत्र को दिशा मिलेगी.'  

चंद्रा की बातों पर सहमति जताते हुए चंद्रशेखर ने कहा, "हम कंटेंट क्रिएशन और इसके पब्लिकेशन, एड-टेक कंपनियों के बीच असंगत नियंत्रण और असंतुलन के इस मुद्दे को खत्म करने की उम्मीद करते हैं."

इस समारोह में ऑस्ट्रेलियाई सांसद पॉल फ्लेचर भी शामिल हुए थे. वो उस समय ऑस्ट्रेलिया के संचार मंत्री थे, जब वहां ऐतिहासिक न्यूज मीडिया बारगेनिंग कोड नाम से कानून लाया गया था. उन्होंने कहा कि जब सबसे पहले इस कानून को फेसबुक और गूगल के साथ साझा किया गया, तो उन्हें काफी विरोध का सामना करना पड़ा था. गूगल ने ऑस्ट्रेलिया में सर्च सर्विस बंद करने की चेतावनी दी, वहीं फेसबुक ने कई महत्वपूर्ण पेज बंद कर दिए थे.

उन्होंने कहा कि यह कानून पास होने के बाद से गूगल और फेसबुक दोनों ने न्यूज मीडिया के साथ कमर्शियल समझौते किए हैं. यानी कंटेट के बदले पैसे दिए जा रहे हैं.

ये भी पढ़ें:-

"मुक्त एवं स्वतंत्र इंटरनेट पर दुनियाभर के कई देशों में हो रहे हमले" : गूगल चीफ सुंदर पिचई ने किया 'आगाह'

Google के खिलाफ भारत में जांच का आदेश, न्‍यूज पब्लिशर्स ने लगाए हैं आरोप

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com