हरियाणा सरकार के 30 अप्रैल के नोटिफिकशन के मुताबिक खिलाड़ियों को कमर्शियल एंडोर्समेंट और प्रोफेशनल स्पोटर्स के ज़रिए होने वाली कमाई का एक तिहाई हिस्सा हरियाणा स्टेट स्पोर्ट्स काउंसिल को देने के लिए कहा था. नोटिफिकेशन में कहा गया कि इससे मिलने वाले पैसे का इस्तेमाल राज्य में खेल के विकास के लिए किया जाएगा.
इस पर पहलवान बबीता फोगाट ने कहा कि सरकार को पता है कि एक खिलाड़ी कितनी मेहनत करता है. वो कैसे एक खिलाड़ी से उसकी कमाई का एक तिहाई मांग सकते हैं. मैं इसका समर्थन नहीं करती हूं. सरकार को फैसला लेने से पहले हम से बात करनी चाहिए थी. उन्होंने कहा कि हमारे पास टैक्स कटकर पैसा आता है और सरकार ऐसा करेगी तो इससे खिलाड़ियों का हौसला गिरेगा. उन्होंने कहा कि अगर टैक्स देते हैं तो हिस्सा क्यों? और ये सरकार की ग़लत खेल नीति है.
बबीता फोगट के उक्त ट्वीट के जवाब में सीएम मनोहरलाल खट्टर ने ट्वीट करके नोटिफिकेशन पर रोक लगाने की जानकारी दी. खट्टर ने कहा, खेल विभाग की संबंधित फाइल मुझे दिखाई गई है. 30 अप्रैल को जारी की गई अधिसूचना पर अगले आदेश तक रोक लगाई गई है. हमें अपने खिलाड़ियों के काफी योगदान पर गर्व है और मैं उन्हें आश्वस्त करता हूं कि उन्हें प्रभावित करने वाले सभी मुद्दों पर विचार किया जाएगा.आदरणीय @mlkhattar मुख्यमंत्री जी कब तक आँख मूँद कर बैठे रहेंगे। कब तक सरकार खिलाड़ियों का हक़ मारती रहेगी। अब तो लगता है खिलाड़ी हरियाणा का सम्मान नहीं बोझ बन गये है।आख़िरकार सरकार साबित क्या करना चाहती है??😡 😡
— Babita Phogat (@BabitaPhogat) June 8, 2018
I have asked for the relevant file of Sports Department to be shown to me & the notification dated 30th April to be put on hold till further orders.We are proud of the immense contribution by our sportspersons & I assure them of a just consideration of all issues affecting them.
— Manohar Lal (@mlkhattar) June 8, 2018
हरियाणा सरकार के नोटिफ़िकेशन में खिलाड़ियों की अपनी कमाई का एक तिहाई हिस्सा देने का प्रावधान है. ये कमाई चाहे कमर्शियल विज्ञापन से आई हो या फिर प्रोफेशनल खेलों के ज़रिए कमाई हो. इस पर सरकार की तरफ से दलील दी गई थी कि इस पैसे का इस्तेमाल खेल के विकास के लिए होगा.
पहलवान योगेश्वर दत्त ने ट्वीट करके कहा कि यह बिना सिर-पैर का तुगलकी फरमान है. उन्होंने कहा कि अब इससे हरियाणा के नए खिलाड़ी पलायन करेंगे और साहब इसके लिए आप जिम्मेदार हैं.
ऐसे अफसर से राम बचाए, जब से खेल विभाग में आए है तब से बिना सिर -पैर के तुग़लकी फ़रमान जारी किए जा रहे है।हरियाणा के खेल-विकास में आपका योगदान शून्य है किंतु ये दावा है मेरा इसके पतन में आप शत् प्रतिशत सफल हो रहे है।अब हरियाणा के नए खिलाड़ी बाहर पलायन करेंगे और SAHAB आप ज़िम्मेदार pic.twitter.com/YazW6YLqTB
— Yogeshwar Dutt (@DuttYogi) June 8, 2018
हरियाणा सरकार के इस फैसले पर पहलवान सुशील कुमार ने कहा है कि इससे खिलाड़ियों पर बोझ नहीं आना चाहिए. उन्होंने कहा कि ज़्यादातर खिलाड़ी मिडिल क्लास के हैं और पहले हरियाणा में अच्छी पॉलिसी थी. सरकार को इस पॉलिसी को रिव्यू करना चाहिए. उन्होंने कहा कि सरकार को खिलाड़ियों से राय लेनी चाहिए और सीनियर खिलाड़ियों की कमेटी बने.
VIDEO : खिलाड़ियों की कमाई पर सरकार की नजर
खिलाड़ियों की इन तीखी प्रतिक्रियाओं पर आखिरकार हरियाणा सरकार को अपने फैसले पर पुनर्विचार करने की जरूरत समझ में आ गई है. फिलहाल आदेश पर रोक लगा दी गई है.
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