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CJI पर हमले के बहाने AAP की दलित वोटो पर नज़र, बड़ी तैयारी के साथ कर रही काम

सरकार ने साफ़ किया कि दलित समाज के खिलाफ किसी भी तरह का अपमान या अत्याचार पंजाब में बर्दाश्त नहीं होगा. बता दें कि पंजाब में 31.9 प्रतिशत दलित आबादी रहती है. माना जा रहा है कि इसीलिए पंजाब की सरकार ने सीजेआई के ख़िलाफ़ चल रहे सोशल मीडिया कैंपेन पर केस दर्ज किया.

CJI पर हमले के बहाने AAP की दलित वोटो पर नज़र, बड़ी तैयारी के साथ कर रही काम
  • 6 अक्टूबर 2025 को सुप्रीम कोर्ट में मुख्य न्यायाधीश पर जूता फेंकने की कोशिश हुई.
  • प्रधानमंत्री मोदी और सभी राजनीतिक दलों ने इस घटना की तीव्र निंदा की और न्यायाधीश के धैर्य की प्रशंसा की.
  • आम आदमी पार्टी ने पंजाब में दलितों के खिलाफ सोशल मीडिया पर नफरत फैलाने वाले कई मामलों में एफआईआर दर्ज करवाई.
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6 अक्टूबर 2025 देश के इतिहास में ऐसा दिन था, जो आज तक देश ने कभी नहीं देखा. सुप्रीम कोर्ट के अंदर भारत के मुख्य न्यायाधीश पर जूता फेंकने की कोशिश की गई. इस घटना को अंजाम देने वाले वकील राकेश किशोर को मुख्य न्यायाधीश ने माफ कर दिया. घटना के बाद सीजेआई के कहने पर आरोपी वकील को पुलिस ने छोड़ दिया. उनका जूता और अन्य सामान भी लौटा दिया. सीजेआई ने इस घटना को नजरअंदाज करते हुए कहा था कि हम ऐसे मामलों से विचलित नहीं होंगे.

इस घटना की पीएम मोदी समेत सभी राजनीतिक पार्टियों ने निंदा की. पीएम मोदी ने लिखा, "सुप्रीम कोर्ट परिसर में मुख्य न्यायाधीश पर हुए हमले ने पूरे देश के हर नागरिक को व्यथित कर दिया है. हमारे समाज में ऐसी घृणित हरकतों की कोई गुंजाइश नहीं है. यह बेहद निंदनीय है. ऐसे हालात में न्यायमूर्ति गवई द्वारा दिखाए गए धैर्य की मैं हृदय से प्रशंसा करता हूं." 

आम आदमी पार्टी ने इस हमले की निंदा तो की, साथ ही एक कदम आगे बढ़ाते हुए पंजाब में कई जगहों पर एफआईआर दर्ज कर दिया. आप सरकार ने सोशल मीडिया पर दलित समाज और देश के चीफ जस्टिस के खिलाफ चल रहे आपत्तिजनक और नफरती कैंपेन पर सख्त कार्रवाई करते हुए लोगों से मिली शिकायतों के आधार पर कई शहरों में एससी एसटी एक्ट में केस दर्ज किया. 100 से ज्यादा ऐसे सोशल मीडिया अकाउंट्स की पहचान की हुई है. 

सरकार ने साफ़ किया कि दलित समाज के खिलाफ किसी भी तरह का अपमान या अत्याचार पंजाब में बर्दाश्त नहीं होगा. बता दें कि पंजाब में 31.9 प्रतिशत दलित आबादी रहती है. माना जा रहा है कि इसीलिए पंजाब की सरकार ने सीजेआई के ख़िलाफ़ चल रहे सोशल मीडिया कैंपेन पर केस दर्ज किया. साल 2011 के जनसंख्या के आधार पर देश में 20.13 करोड़ दलित आबादी है. पार्टी से जुड़े लोग बताते हैं कि पंजाब में सरकार बचाए रखना आम आदमी पार्टी के लिए सबसे अधिक प्राथमिकता में है. क्योंकि पंजाब में दलित आबादी लगभग 32 प्रतिशत है, इसलिए आप के लिए जरूरी है कि वह दलितों के मुद्दे को उठाए और उसकी मैसेजिंग जनता तक पहुंचे.  

सीजेआई  मुद्दे पर हमलावार आप

आप के मुखिया अरविंद केजरीवाल सोमवार से लेकर गुरुवार तक 4 पोस्ट सोशल मीडिया पर सीजेआई के मामले में कर चुके हैं. इस दौरान उन्होंने कुछ पोस्ट अपने पार्टी के नेताओं का शेयर किया है, जिसमें उन्होंने सीजेआई से जुड़े मुद्दों को उठाया है. अब इस मामले में हरियाणा के दलित आईपीएस अधिकारी का भी मुद्दा जुड़ गया है. अधिकारी पूरन कुमार ने सीनियर अधिकारियों पर जाति के आधार पर भेदभाव का आरोप लगाकर आत्महत्या कर लिया. आम आदमी पार्टी ने दोनों मुद्दों को लेकर प्रेस कॉन्फ्रेंस कर रही है. साथ ही आम आदमी पार्टी के दिल्ली अध्यक्ष सौऱभ भारद्वाज 'जय भीम' यात्रा चला रहे हैं. वहीं उत्तर प्रदेश के सभी जिलों में प्रदर्शन भी किया जा रहा है. 

अरविंद केजरीवाल ने सीजेआई के मामले में एक वीडियो भी जारी किया है. केजरीवाल ने कहा कि सीजेआई गवई एक दलित समाज से आते हैं और कुछ लोगों को यह सहन नहीं हो रहा है कि एक दलित समाज से जुड़ा शख्स न्यायपालिका की टॉप पोस्ट तक पहुंच गया. केजरीवाल ने सवाल करते हुए क्या ये हरकतें दलित समाज को डराने व अपमानित करने की कोशिश नहीं है. इसके बाद एक आम दलित किससे न्याय की आस करेगा. क्या इससे दलितों पर अत्याचार व उनसे नफरत करने वालों के हौसले बुलंद नहीं होंगे.

85 प्रतिशत दलित सीट पर आप की जीत

दलितों के प्रतिनिधि पार्टी के रूप में अस्तित्व में आई बहुजन समाज पार्टी के संस्थापक कांशीराम भी पंजाब के रहने वाले थे. पंजाब के बड़े क्षेत्र मालवा में जाटव और मजहबी सिख बड़ी तादाद में हैं. माझा क्षेत्र में ज्यादातर मजहबी सिख और ईसाई दलित हैं और दोआबा में जाटव और वाल्मीकि समूह बड़ी तादाद में हैं. 117 सीट वाले पंजाब विधानसभा में 34 सीट एससी आरक्षित है. अगर बात साल 2022 के चुनावों की करें तो आम आदमी पार्टी को 34 में से 29 सीटों पर जीत हासिल हुई थी, वहीं 4 सीट कांग्रेस को और 1 सीट अकाली दल को मिली थी. 

पंजाब में दलित आबादी 39 अलग-अलग जातियों में बंटी है. मालवा क्षेत्र की सभी दलित सीटों पर आम आदमी पार्टी को जीत हासिल हुई. बता दें कि साल 2022 के चुनाव में आम आदमी पार्टी को 92 सीट पर जीत हासिल हुई थी. सीएसडीएस की माने तो हिंदू दलित आबादी ने 2022 के चुनावों में 32 प्रतिशत ने आप को वोट किया था, वहीं सिख दलित ने 46 प्रतिशत आम आदमी पार्टी को वोट किया था. यानी कि दोनों ही धर्म के दलित आबादी ने आप के पक्ष में वोट किया. 


पार्टी का ध्यान पंजाब में सत्ता को बचाए रखना है. साथ ही विस्तार के तौर पर गुजरात, गोवा उनकी प्राथमिकता में है. गुजरात में 8 प्रतिशत दलित आबादी है. संख्या के लिहाज से यह कम है लेकिन समुदाय का सियासी ताकत रखता है. बता दें कि NCRB की रिपोर्ट के मुताबिक साल 2023 में देश भर में दलितों के खिलाफ अपराध के 57,789 मामले दर्ज हुए हैं. जिसमें सबसे ज्यादा उत्तर प्रदेश में हुआ. यहां दलितों के खिलाफ अपराध के 15,130 मामले दर्ज हुए, जो कि देश में सबसे ज्यादा हैं. हरियाणा की बात करें तो यहां 1539 मामले सामने आए वहीं पंजाब में 116 मामले सामने आए है. 

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