विज्ञापन

CJI चंद्रचूड़ ने सुनाया पिताजी के फ्लैट वाला किस्सा, आप भी जान लीजिए क्या मिली थी नसीहत

CJI चंद्रचूड़ ने कहा कि मेरे पिताजी ने मुझे ये भी कहा था कि वकील या जज रहते हुए कभी भी ये सोचकर अपने सिद्धांत से समझौता मत करना कि तुम्हारे पास अपना घर नहीं है. 

CJI चंद्रचूड़ ने सुनाया पिताजी के फ्लैट वाला किस्सा, आप भी जान लीजिए क्या मिली थी नसीहत
सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़ ने साझा किया अपने पिताजी का वो किस्सा
नई दिल्ली:

मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ आज (10 नवंबर) को रियाटर हो रहे हैं. डीवाई चंद्रचूड़ के लास्ट वर्किंग डे यानी 8 नवंबर (शुक्रवार) को उनके लिए सुप्रीम कोर्ट परिसर में ही एक विदाई समारोह का आयोजन किया. इस मौके पर सीजेआई चंद्रचूड़ समेत सुप्रीम कोर्ट के तमाम वरिष्ठ जस्टिस मौजूद थे. इस मौके पर सीजेआई ने अपने निजी अनुभव भी साझा किए. इसी दौरान उन्होंने अपने पिताजी का एक किस्सा सभी से साझा किया. इस विदाई समारोह के मौके पर सीजेआई चंद्रचूड़ ने कहा कि मैं दिल से सुप्रीम कोर्ट बार एसोसिएशन को धन्यवाद देना चाहता हूं. मेरी मां मुझे बचपन में कहा करती थीं कि मैंने तुम्हारा नाम धनंजय रखा है. वो ये भी बताती थी कि तुम्हारे नाम में जो धन है वो भौतिक संपत्ति नहीं है. मैं चाहती हूं कि तुम ज्ञान अर्जित करो. 

Latest and Breaking News on NDTV

"उन्होंने कहा था कभी अपने सिद्धांत से समझौता मत करना "

अपने पिताजी का जिक्र करते हुए सीजेआई चंद्रचूड़ ने कहा कि मेरे पिता ने पुणे में एक छोटा सा फ्लैट खरीदा था. मैनें उनसे पूछा कि आप यहां फ्लैट क्यों खरीद रहे हैं? तो उन्होंने कहा कि इस फ्लैट को तब तक रखो जब तक तुम एक जज के तौर पर रियार नहीं हो जाते. ऐसा इसलिए भी ताकि तुम्हें पता हो कि अगर तुम्हारी नैतिकता पर कोई आंच आए, तो तुम्हारे पास सिर छुपाने की जगह तो है. मेरे पिताजी ने मुझे ये भी कहा था कि वकील या जज रहते हुए कभी भी ये सोचकर अपने सिद्धांत से समझौता मत करना कि तुम्हारे पास अपना घर नहीं है. 

Latest and Breaking News on NDTV

जस्टिस चंद्रचूड़ का दो साल का कार्यकाल समाप्त 

सीजेआई चंद्रचूड़ ने 9 नवंबर, 2022 को पदभार ग्रहण किया था. उन्होंने आज अपने दो साल के कार्यकाल के समाप्त होने के बाद अपने पद से विदाई ली. पिछली शाम को अपने रजिस्ट्रार न्यायिक के साथ एक हल्के-फुल्के पल को याद करते हुए उन्होंने कहा, "मैंने सोचा कि शुक्रवार को दोपहर 2 बजे इस कोर्ट में कोई होगा या नहीं. या मैं स्क्रीन पर खुद को देखूंगा. जब मैं छोटा था तो मैं देखता था कि कैसे बहस करनी है और कोर्ट क्राफ्ट सीखना है. हम यहां काम करने के लिए तीर्थयात्री के रूप में हैं और हम जो काम करते हैं वह मामलों को बना या बिगाड़ सकता है. ऐसे महान न्यायाधीश हुए हैं जिन्होंने इस न्यायालय को सुशोभित किया है और इसकी गरिमा को आगे बढ़ाया है. जब मैं इस कोर्ट को छोड़ता हूं तो कोई फर्क नहीं पड़ने वाला है क्योंकि जस्टिस खन्ना जैसे स्थिर और बहुत सम्मानित व्यक्ति कार्यभार संभालेंगे."वकीलों ने जस्टिस चंद्रचूड़ को रॉक स्टार, चार्मिंग और हैंडसम जज बताया. उन्होंने उनके धैर्य, विवेकशील और शांत व्यक्तित्व की तारीफ की.

Latest and Breaking News on NDTV

चीफ जस्टिस नामित जस्टिस संजीव खन्ना ने कहा था कि मुझे कभी जस्टिस चंद्रचूड़ की अदालत में पेश होकर कुछ कहने का कभी मौका नहीं मिला. इन्होंने वंचित युवाओं और जरूरतमंदों के लिए जो किया वह अतुलनीय है. इन्होंने इसके अलावा मिट्टी कैफे, महिला वकीलों के लिए बार रूम, सुप्रीम कोर्ट के सौंदर्यीकरण जैसे कई ऐतिहासिक काम किए. समोसे इनके प्रिय हैं. हर एक मीटिंग में हमें उनका स्वाद मिला है लेकिन वे खुद मीटिंग में नहीं खाते.''

हमारी बातें धैर्य के साथ पूरी सुनी गईं : तुषार मेहता

सेरेमोनियल बेंच में सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने सीजेआई चंद्रचूड़ के फेयरवेल के मौके पर कहा कि हमें ही पता है कि आपकी विदाई कितनी दुखद है. आपके दोनों  बेटे कभी नहीं जान पाएंगे कि उन्होंने क्या हासिल किया और हमने क्या खोया. सरकार ने कई मुकदमे जीते और कई हारे, लेकिन इस बात की हमें संतुष्टि है कि हमारी बातें धैर्य के साथ पूरी सुनी गईं.''

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com