महाराष्ट्र की राजनीति में बीते कुछ दिनों से एक अलग तरह की हलचल है. शिवसेना जहां अगले कुछ दिनों में ही राज्य सरकार के गिरने का दावा कर रही है वहीं दूसरी तरफ शरद पवार के बयानों को लेकर राजनीतिक गलियारों में कई तरह की चर्चाएं हो रही हैं. महाराष्ट्र में चल रही राजनीतिक गरमा-गरमी के बीच NDTV ने शिवसेना (उद्धव गुट) के राज्यसभा सांसद संजय राउत से खास बातचीत की. उन्होंने इस बातचीत के दौरान वीर सावरकर को लेकर कांग्रेस के बयान से लेकर महाअघाड़ी गठबंधन के भविष्य तक पर बात की. आइये जानते हैं संजय राउत ने और क्या कुछ कहा...
महाराष्ट्र में राजनीतिक तौर पर अस्थिरता है
15 दिन में महाराष्ट्र की सरकार गिर जाएगी, ये कहने की वजह मैं आपको बताता हूं. मैं पहले इतना तो कह दूं कि अगर इस तरह का बयान दिया है तो इसकी वजह तो है ही. महाराष्ट्र की राजनीति में काफी कुछ चल रहा है. मैं आपको बता दूं कि राज्य के मुख्यमंत्री चार दिन की छुट्टी लेकर अपने गांव चले गए हैं. वो सतारा में बैठे हैं. इसका मतलब ये है कि महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री भी वहां बैठकर कुछ नया समीकरण तलाश रहे हैं. राजनीतिक तौर पर महाराष्ट्र पूरी तरह से अनस्टेबल है. राज्य के उपमुख्यमंत्री भी यहां नहीं हैं.वो भी कहां है किसी को नहीं पता. सरकार है या नहीं ये भी कोई बता नहीं सकते. 40 लोगों की सरकार है, 40 लोग पहले ही चले गए हैं.
बीजेपी पर बोझ बने गए हैं शिंदे
संजय राउत ने आगे कहा कि सरकार को बने एक साल होने को है लेकिन अभी तक कैबिनेट का विस्तार तक नहीं कर पाए हैं. अब सबकी नजरें है कि सुप्रीम कोर्ट से क्या निर्णय आता है. इस स्थिति में मैं मानता हूं कि जो प्रयोग बीजेपी ने शिवसेना तोड़कर फोड़कर किया है वो बेकार साबित हुआ है. ये जो सरकार है ये जो मुख्यमंत्री हैं वो बीजेपी पर ही बोझ बन गए हैं. ना तो उनके पास वोट है ना जनता है. आज भी राज्य में शिवसेना को लोगों का प्यार मिल रहा है. उद्धव ठाकरे की रैली में लाखों लाख की संख्या में समर्थक आ रहे हैं. उद्धव जी की रैली में जो लाखों की भीड़ आ रही है उससे फिर एक बार राज्य में सत्ता परिवर्तन की स्थिति बन रही है. उन्होंने कहा कि एकनाश शिंदे अब बीजेपी पर बोझ बन गए हैं. एकनाश शिंदे कभी भी पब्लिक लीडर नहीं थे. वो कभी जनता के नेता नहीं थे. ठीक है 40 लोग उनके साथ चले गए लेकिन उसकी वजह क्या थी ये भी सबको पता है. चाहे केंद्रीय एजेंसियों का दबाव है या पैसे की ताकत है,सब कुछ है. एमएलए चले गए, एमपी चले गए लेकिन जनता नहीं गई. जनता आज भी हमारे साथ है.
सुप्रीम कोर्ट 16 विधायकों को साबित करेगी अयोग्य
उन्होंने कहा कि आने वाले चुनाव में जनता शिंदे को नहीं बीजेपी को सबक सिखाएगी. जो 40 एमएलए उनके साथ गए हैं उनमें से 16 पर जब निर्णय सुप्रीम कोर्ट से आएगा तो मैं ये दावे के साथ कह रहा हूं कि ये अयोग्य साबित होंगे. जब ये अयोग्य साबित होंगे तो सरकार कैसे चलेगी. सीएम भी अयोग्य साबित होने जा रहे हैं. इस लिस्ट में वो भी हैं. सरकार का डेथ वारंट तैयार है सिर्फ हस्ताक्षर होना बाकी है. मैं आपको ये अभी नहीं बोल सकता कि आगे सरकार किसकी बनेगी, लेकिन इतना जरूरी है कि महाराष्ट्र में मुख्यमंत्री तो बदलने जा रहा है. बीजेपी को अब शिंदे को नहीं चलाएगी. शिंदे अब नहीं चल रहे हैं. उनको मुख्यमंत्री तो बदलना ही पड़ेगा.
महाविकास अघाड़ी गठबंधन के दल साथ रहेंगे
संजय राउत ने कहा कि महाविकास अघाड़ी की सरकार फिलहाल हम महाराष्ट्र नहीं बनने जा रही है. हम बनाने भी नहीं वाले हैं. महाविकास अघाड़ी में अब कोई फूंट नहीं होने वाली है. जिनको जाना था वो पहले ही चले गए हैं. बीजेपी के पास अब क्या बचा है. उन्होंने पहले शिवसेना को तोड़ा अब एनसीपी को तोड़ने में लगे हैं. बीजेपी की ये कोशिश हमेशा सी रही है. बीजेपी के पास अपना कुछ ऑरिजनल नहीं बचा है. अरे खुदकी पार्टी बनाइये, खुदका कैडर बनाइये, दूसरों को तोड़कर आप क्या ही करना चाह रहे हैं. बात अगर अजित पवार की है तो उन्होंने कुछ दिन पहले ही कहा है कि मैं मरते दम तक एनसीपी में ही रहूंगा. उन्होंने कहा है कि मैं पहले भी एनसीपी में था, अब भी हूं और आगे भी रहूंगा. अगर इतनी बात अजित जी कहते हैं तो हमे उनपर हमेशा से ही विश्वास रहा है. हम उनपर विश्वास करते हैं. अघाड़ी है और आगे भी रहेगी. अघाड़ी में कोई बिगाड़ी नहीं होगा.
"सब लोग साथ रहेंगे"
संजय राउत ने शरद पवार के बयान पर भी टिप्पणी की. उन्होंने कहा कि पवार साहेब के बयान को लेकर थोड़ी गलतफहमी है. पवार जी ने कहा कि हम एक साथ लड़ेंगे और लड़ना चाहते हैं लेकिन अब लोगसभा का सीट शेयरिंग नहीं हुआ है लेकिन जब तक ये नहीं होता है तब तक लोग ऐसी बातें करते हैं. पवार साहेब ने बयान देकर साफ कर दिया है कि सब लोग साथ रहेंगे. महाविकास अघाड़ी ही पवार साहेब की है. मुंबई की रैली का आयोजन शिवसेना कर रही है. एक मई महाराष्ट्र का स्थापना दिवस है. इस दिन का हमारे लिए बड़ा महत्व है. इस रैली का होस्ट शिवसेना है. हम सब जिसमे पवार साहेब हैं शिवसेना है और कांग्रेस है, मिलकर ही चुनाव लड़ेंगे. ये डर बीजेपी का है इसलिए वो महाविकास अघाड़ी को लेकर ऐसी अफवाह फैला रही है.
"वीर सावरकर का करते हैं सम्मान"
उन्होंने कहा कि सीएम शिंदे के मन में हमारी बातों का डर है, हमारे संगठन का डर है, वो इस डर के कारण ही ऐसे बयान देते हैं. ये सरकार भी पीएम मोदी के हिसाब से चलती है. वो विपक्ष को डरा कर रखना चाहते हैं. सावरकर को लेकर दिए गए बयान पर कांग्रेस से बात हुई है. बातचीत के दौरान हर स्तर पर चर्चा हुई है. कांग्रेस के नेताओं ने हमेशा उद्धव जी को समर्थन देने की बात कही है. आने वाले दिनों में इस मुद्दे पर आने वाले दिनों में बातचीत जारी रहेगी. हो सकता है आने वाले वाले दिनों में राहुल गांधी उद्धव ठाकरे से मिल सकते हैं. वीर सावरकर हमारे लिए आदर्श रहे हैं. हमनें कभी उन्हें लेकर समझौता नहीं किया है. हमने तो बीजेपी से मांग की है कि वो सावरकर को भारत रत्न दें.
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