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"पोस्टल बैलेट से दिया वोट, प्रचार के लिए मुझे पूछा ही नहीं": पार्टी से मिले नोटिस के जवाब में बीजेपी नेता जयंत सिन्हा

बीजेपी सांसद जयंत सिन्हा ने कहा कि वो कारण बताओ नोटिस मिलने से "आश्चर्यचकित" थे, जिसमें उनसे पूछा गया था कि उन्होंने मौजूदा लोकसभा चुनाव में मतदान क्यों नहीं किया.

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"पोस्टल बैलेट से दिया वोट, प्रचार के लिए मुझे पूछा ही नहीं": पार्टी से मिले नोटिस के जवाब में बीजेपी नेता जयंत सिन्हा
जयंत सिन्हा ने कारण बताओ नोटिस का दिया जवाब
हजारीबाग:

बीजेपी ने जयंत सिन्हा को हजारीबाग सीट से मनीष जायसवाल को उम्मीदवार घोषित किये जाने के बाद प्रचार में भाग नहीं लेने और पार्टी की छवि को ‘‘खराब'' करने के लिए कारण बताओ नोटिस जारी किया था. अब इस बारे में पूर्व केंद्रीय मंत्री और भारतीय जनता पार्टी सांसद जयंत सिन्हा ने प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने कहा कि वो कारण बताओ नोटिस मिलने से "आश्चर्यचकित" थे, जिसमें उनसे पूछा गया था कि उन्होंने मौजूदा लोकसभा चुनाव में मतदान क्यों नहीं किया और चुनाव प्रचार में हिस्सा क्यों नहीं लिया.

पोस्टल बैलेट से किया वोट, नोटिस मिलने से हैरान जयंत

बुधवार को बीजेपी के झारखंड महासचिव आदित्य साहू के पत्र का जवाब देते हुए, जयंत सिन्हा ने कहा कि उन्होंने मतदान किया, लेकिन पोस्टल बैलेट के माध्यम से, क्योंकि वह "व्यक्तिगत प्रतिबद्धताओं" के चलते विदेश में थे. उन्होंने अपने लिखे पत्र में कहा, "मुझे आपका पत्र पाकर बहुत आश्चर्य हुआ और पता चला कि आपने इसे मीडिया में भी जारी कर दिया है," पूर्व केंद्रीय वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा के बेटे जयंत सिन्हा हजारीबाग से मौजूदा सांसद हैं. दरअसल साहू ने आरोप लगाया है कि जब से मनीष जायसवाल को हज़ारीबाग़ लोकसभा सीट से उम्मीदवार घोषित किया गया है तब से जयंत सिन्हा "संगठनात्मक कार्य और चुनाव प्रचार" में भाग नहीं ले रहे हैं.

जयंत ने कहा कि मुझे प्रचार के लिए नहीं बुलाया गया

इस पर सिन्हा ने जवाब देते हुए कहा कि उन्हें "किसी भी पार्टी कार्यक्रम, रैलियों या संगठनात्मक बैठकों" में आमंत्रित नहीं किया गया था. उन्होंने कहा, “पार्टी ने 2024 के लोकसभा चुनाव के लिए मनीष जायसवाल को अपना उम्मीदवार घोषित किया. मेरे समर्थन के बारे में तब साफ हो गया जब मैंने 8 मार्च, 2024 को जयसवाल जी को बधाई दी. ”"अगर पार्टी चाहती कि मैं किसी भी चुनावी गतिविधियों में भाग लूं, तो आप निश्चित रूप से मुझसे संपर्क कर सकते थे. हालांकि, झारखंड से एक भी वरिष्ठ पार्टी पदाधिकारी या सांसद/विधायक मेरे पास नहीं पहुंचे. मुझे किसी भी पार्टी कार्यक्रम, रैलियों या संगठनात्मक बैठकों में आमंत्रित नहीं किया गया."

मनीष जायसवाल के घर पर जाने की बात भी कही

सिन्हा ने यह भी कहा कि 30 अप्रैल को, उन्हें जायसवाल का फोन आया था, जिसमें उन्हें 1 मई को अपनी नामांकन रैली में आमंत्रित किया गया था, लेकिन वह देर से सूचना मिलने के कारण शामिल नहीं हो सके. सिन्हा ने कहा, "मैंने 2 मई को हज़ारीबाग़ की यात्रा की और अपना सम्मान व्यक्त करने के लिए सीधे जायसवाल जी के आवास पर गया, लेकिन वह मौजूद नहीं थे, इसलिए मैंने अपना संदेश उनके परिवार को दिया."

मुझे कभी भी कर सकते थे फोन

इसके साथ ही जयंत सिन्हा ने कहा, "हम निश्चित रूप से आपकी किसी भी शंका को दूर करने के लिए किसी भी समय व्यक्तिगत रूप से या फ़ोन पर बात कर सकते थे. हज़ारीबाग लोकसभा चुनाव के लिए जिम्मेदार पार्टी पदाधिकारी के रूप में आप किसी भी समय मुझसे संपर्क कर सकते थे. चुनाव ख़त्म होने के बाद मुझे पत्र भेजना समझ से परे है."

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