भारत के दूसरे 'विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस' के मौके पर भाजपा ने कांग्रेस पार्टी पर निशाना साधते हुए एक वीडियो जारी किया है, जिसमें भाजपा ने 1947 की घटनाओं पर अपना वर्जन जारी किया है. सात मिनट के इस वीडियो में भारत के बंटवारे के लिए जवाहर लाल नेहरू को जिम्मेदार बताया गया है. मोहम्मद अली जिन्ना के नेतृत्व वाली मुस्लिम लीग की पाकिस्तान बनाने की मांग के आगे नेहरू को झुकने के लिए जिम्मेदार ठहराया गया है.
कांग्रेस ने इस वीडियो पर पलटवार किया है. कांग्रेस के महासचिव जयराम रमेश ने कहा कि '14 अगस्त को विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस के रूप में मनाने के पीछे प्रधानमंत्री की वास्तविक मंशा सबसे दर्दनाक ऐतिहासिक घटनाओं को अपने राजनीतिक लाभ के लिए इस्तेमाल करना है.'
साथ ही उन्होंने कहा, 'देश को बांटने के लिए आधुनिक दौर के सावरकर और जिन्ना का प्रयास आज भी जारी है.'
जिन लोगों को भारत की सांस्कृतिक विरासत, सभ्यता, मूल्यों, तीर्थों का कोई ज्ञान नहीं था, उन्होंने मात्र तीन सप्ताह में सदियों से एक साथ रह रहे लोगों के बीच सरहद खींच दी।
— BJP (@BJP4India) August 14, 2022
उस समय कहाँ थे वे लोग जिन पर इन विभाजनकारी ताक़तों के ख़िलाफ़ संघर्ष करने की ज़िम्मेदारी थी?#विभाजन_विभीषिका pic.twitter.com/t1K6vInZzQ
पिछले साल 14 अगस्त को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ऐलान किया था कि 1947 में विभाजन के दौरान भारतीयों के कष्टों और बलिदानों की देश को याद दिलाने के लिए हर साल 14 अगस्त को 'विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस' के रूप में मनाया जाएगा. पीएम मोदी ने रविवार सुबह भी इसको लेकर ट्वीट किया है.
Today, on #PartitionHorrorsRemembranceDay, I pay homage to all those who lost their lives during Partition , and applaud the resilience as well as grit of all those who suffered during that tragic period of our history.
— Narendra Modi (@narendramodi) August 14, 2022
भाजपा के वीडियो में Cyril John Radcliffe को दिखाया गया है, जिनके विभाजन के नक्शे ने पंजाब और बंगाल को लगभग आधे हिस्से में विभाजित कर दिया था. इसके साथ ही सवाल किया गया कि एक व्यक्ति जिसे भारतीय सांस्कृतिक विरासत का कोई जानकारी नहीं है, उसे केवल कुछ हफ्तों में भारत को बाटंने की अनुमति कैसे दी गई. पूरे वीडियो में नेहरू के दृश्य दिखाए गए हैं, इसके साथ ही वॉयस ओवर में बंटवारे की भयावहता को बयां किया गया है.
भाजपा ने इस वीडियो के साथ ट्वीट करते हुए लिखा है, 'जिन लोगों को भारत की सांस्कृतिक विरासत, सभ्यता, मूल्यों, तीर्थों का कोई ज्ञान नहीं था, उन्होंने मात्र तीन सप्ताह में सदियों से एक साथ रह रहे लोगों के बीच सरहद खींच दी. उस समय कहां थे वे लोग जिन पर इन विभाजनकारी ताकतों के खिलाफ संघर्ष करने की जिम्मेदारी थी?'
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश ने इस वीडियो पर पलटवार करते हुए एक के बाद एक कई ट्वीट किए और उन्होंने कहा कि सच यह है कि दो राष्ट्र का सिद्धांत सावरकर ने दिया था.
जयराम रमेश ने ट्वीट करते हुए लिखा है, 'सच ये है कि सावरकर ने दो राष्ट्र का सिद्धांत दिया और जिन्ना ने इसे आगे बढ़ाया. पटेल ने लिखा था, 'मुझे लगता है कि अगर विभाजन स्वीकार नहीं किया गया, तो भारत कई टुकड़ों में बंट जाएगा.'
1. 14 अगस्त को विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस के रूप में मनाने के पीछे प्रधानमंत्री की वास्तविक मंशा सबसे दर्दनाक ऐतिहासिक घटनाओं को अपने राजनीतिक लाभ के लिए इस्तेमाल करना है। लाखों लाख लोग विस्थापित हुए और जानें गईं। उनके बलिदानों को भुलाया या अपमानित नहीं किया जाना चाहिए।
— Jairam Ramesh (@Jairam_Ramesh) August 14, 2022
साथ ही उन्होंने पूछा है, 'क्या प्रधानमंत्री आज जनसंघ के संस्थापक श्यामा प्रसाद मुखर्जी को भी याद करेंगे, जिन्होंने शरत चंद्र बोस की इच्छा के खिलाफ बंगाल के विभाजन का समर्थन किया था, और स्वतंत्र भारत के पहले कैबिनेट में शामिल हुए, जब विभाजन के दर्दनाक परिणाम स्पष्ट रूप से सामने आ रहे थे?'
'बंटवारे की त्रासदी का दुरुपयोग नफरत और पूर्वाग्रह की भावना को भड़काने के लिए नहीं होना चाहिए. लाखों लाख लोग विस्थापित हुए और जानें गईं. उनके बलिदानों को भुलाया या अपमानित नहीं किया जाना चाहिए.'
साथ ही उन्होंने कहा, 'भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस गांधी, नेहरू, पटेल और अन्य नेताओं की विरासत को आगे बढ़ाते हुए राष्ट्र को एकजुट करने का प्रयास जारी रखेगी. नफरत की राजनीति हारेगी.'
भाजपा के वीडियो में विभाजन के लिए भारतीय कम्युनिस्टों को भी दोषी ठहराया गया है. भाजपा का दावा है कि उनके नेताओं ने मुस्लिम लीग का समर्थन किया और एक अलग मुस्लिम देश की मांग को सही ठहराया.
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