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बुखार में तपते अमित शाह ने बरसाई 'आग', वोट चोरी पर विपक्ष को कैसे किया ढेर, पढ़ें पूरी इनसाइड स्टोरी

अमित शाह एक-एक करके आरोपों का जवाब देते गए. राहुल गांधी से उनकी तीखी बहस भी हुई और बीच में टोका-टाकी करने वाले एक सांसद को उन्होंने कहा कि जब दो बड़े बोलते हों तब बीच में नहीं बोलना चाहिए.

बुखार में तपते अमित शाह ने बरसाई 'आग', वोट चोरी पर विपक्ष को कैसे किया ढेर, पढ़ें पूरी इनसाइड स्टोरी
  • अमित शाह ने लोकसभा में राहुल गांधी के चुनावी वोट चोरी के आरोपों का तथ्यों के साथ विस्तार से जवाब दिया
  • सरकार ने SIR मुद्दे पर चर्चा से बचने के लिए चुनाव सुधारों को बहस का विषय बनाया.
  • अमित शाह ने लोकसभा में बुखार के बावजूद भाषण दिया और राहुल गांधी के आरोपों पर आक्रामक और सटीक बहस की
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नई दिल्ली:

केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह बुधवार को लोकसभा में बेहद आक्रामक अंदाज में दिखे. लोकसभा में दिए अपने भाषण के दौरान उन्होंने चोरी के मुद्दे पर विपक्ष खासतौर से राहुल गांधी को जबर्दस्त ढंग से आड़े हाथों लेते हुए एक-एक आरोप का तथ्यों के साथ जवाब दिया. उनके करीब डेढ़ घंटे के भाषण में एसआईआर और चुनाव आयोग में नियुक्तियों से लेकर हर मुद्दे पर खुल कर बात रखी गई. सूत्रों के अनुसार शुरुआत में सरकार इस पक्ष में नहीं थी कि विशेष पुनरीक्षण अभियान यानी SIR पर संसद में किसी भी तरह से बहस हो. दरअसल, वरिष्ठ मंत्री नहीं चाहते थे कि विपक्षी दल संसद के मंच का इस्तेमाल चुनाव आयोग जैसी संवैधानिक संस्था पर हमला करने के लिए करें. इसीलिए पिछला सत्र केवल इसी मांग को खारिज करने के कारण धुल गया था. इस बार यह रास्ता निकाला गया कि एसआईआर के बजाए चुनाव सुधारों पर चर्चा करा ली जाए और एसआईआर का मुद्दा चर्चा के दौरान उठा लिया जाए.

आज सबकी नजरें इस बात पर थीं कि अमित शाह राहुल गांधी के आरोपों का क्या जवाब देते हैं. राहुल गांधी कथित वोट चोरी के मुद्दे पर कई प्रेस कांफ्रेंस कर चुके हैं. इनमें हुए खुलासों की तुलना वे एटम बम, हाइड्रोजन बम आदि से करते हैं. बिहार चुनाव में उन्होंने इसी मुद्दे को लेकर यात्रा भी निकाली थी. मंगलवार को लोक सभा में उन्होंने सरकार और चुनाव आयोग को कठघरे में खड़ा किया था और चुनाव आयुक्तों को चेतावनी दी थी कि उन्हें बख्शा नहीं जाएगा. आज जब अमित शाह लोक सभा में इन आरोपों का जवाब देने खड़े हुए तो वे पूरी तैयारी से आए थे. हालांकि सूत्रों के अनुसार वे उस समय 102 डिग्री बुखार में तप रहे थे. लोकसभा में जाने से पहले डॉक्टरों ने उनका चेकअप किया और बुखार उतारने के लिए इंजेक्शन भी लगाया गया था.

अमित शाह एक-एक करके आरोपों का जवाब देते गए. राहुल गांधी से उनकी तीखी बहस भी हुई और बीच में टोका-टाकी करने वाले एक सांसद को उन्होंने कहा कि जब दो बड़े बोलते हों तब बीच में नहीं बोलना चाहिए. राजस्थान से सांसद हनुमान बेनीवाल जब उनके भाषण के बीच पूर्व प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू को लेकर उनके भाषण के बारे में कुछ बोलने लगे तो उन्होंने कहा कि “वे चाहें कुछ भी कर लें, कांग्रेस उन्हें टिकट नहीं देगी. राहुल गांधी से उन्होंने आक्रामक अंदाज में कहा कि संसद में आपकी मुन्सफी नहीं चलेगी. मेरे यहां बोलने का क्रम मैं तय करुंगा. उन्होंने कहा कि कोई पत्रकार का सवाल पसंद न आए तो उसे बीजेपी का एजेंट बोल देते हो. समझ का कोई इंजेक्शन नहीं होता कि दे दो और समझ जाएं. इतने सारे वकीलों को राज्य सभा दे रखी है वे क्यों नहीं समझाते. विपक्ष को कहा कि आप जब जीतते हो तो टक से नए कपड़े पहन कर शपथ ले लेते हो. जब विपक्ष ने वॉकआउट किया तो शाह ने कहा जब मैं नेहरू, इंदिरा, राजीव और सोनिया गांधी पर बोला तब विपक्ष के नेता बाहर नहीं गए, लेकिन जब घुसपैठियों को बाहर करने की बात की थी तो विपक्ष के नेता बाहर चले गए.

अमित शाह ने लोकसभा में यह भी बताया कि आज के भाषण से पहले उन्होंने चुनाव आयोग में बात की. यह इसलिए आवश्यक था क्योंकि वे यह पता करना चाहते थे कि राहुल गांधी ने अपने लोक सभा के भाषण में चुनाव सुधारों को लेकर जो सुझाव दिए , वे आयोग को दिए थे या नहीं. अमित शाह ने इसका जिक्र करते हुए कहा कि 2014 से कांग्रेस ने एक भी सुझाव आयोग को नहीं दिया. शाह के मुताबिक राहुल गांधूी को ये सुझाव आयोग को देने चाहिए थे ताकि वह उस पर अमल करता. 

सूत्रों के मुताबिक इससे पहले भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ बैठक में अमित शाह राहुल गांधी पर चुटकी ले चुके थे. आज दोपहर करीब एक बजे संसद भवन में प्रधानमंत्री कार्यालय में नए मुख्य सूचना आयुक्त, आठ सूचना आयुक्त और एक सतर्कता आयुक्त की नियुक्ति को लेकर प्रधानमंत्री, गृह मंत्री और नेता विपक्ष लोक सभा की बैठक हुई थी. यह बैठक करीब डेढ़ घंटे चली. आपको बता दें कि मंगलवार को राहुल गांधी ने चुनाव सुधार पर अपने भाषण में कहा था कि ऐसी बैठकों में वे केवल छत की ओर देखा करते हैं क्योंकि पीएम और शाह पहले से ही सब कुछ तय करके आते हैं. सूत्रों के अनुसार आज की बैठक में शाह ने इसी बात पर राहुल गांधी की चुटकी ली. शाह ने कहा कि कॉलेज के दिनों में वे काफी हैंडसम दिखते थे. तब उनके सिर पर बाल भी थे. इसलिए राहुल गांधी को छत की ओर देखने की बजाए उनकी ओर देखना चाहिए. यह सुनकर पीएम मोदी और राहुल गांधी दोनों ही मुस्करा उठे. 

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